Move to Jagran APP

भारतीय पूंजी बाजार में पार्टिसिपेटरी नोट्स के जरिये विदेशी निवेश 14 महीने के उच्च स्तर पर पहुंचा

भारतीय पूंजी बाजार में पार्टिसिपेटरी नोट्स (पी-नोट्स) के जरिये विदेश से आए निवेश का स्तर 14 महीने के उच्च स्तर पर पहुंच गया है। सेबी से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार अक्टूबर में पी-नोट्स के जरिये घरेलू बाजार में 78686 करोड़ रुपये का निवेश आया।

By Pawan JayaswalEdited By: Published: Fri, 20 Nov 2020 01:15 PM (IST)Updated: Fri, 20 Nov 2020 05:14 PM (IST)
भारतीय पूंजी बाजार में पार्टिसिपेटरी नोट्स के जरिये विदेशी निवेश 14 महीने के उच्च स्तर पर पहुंचा
विदेशी निवेश के लिए प्रतीकात्मक तस्वीर PC: Pixabay

नई दिल्ली, पीटीआइ। भारतीय पूंजी बाजार में पार्टिसिपेटरी नोट्स (पी-नोट्स) के जरिये विदेश से आए निवेश का स्तर 14 महीने के उच्च स्तर पर पहुंच गया है। सेबी से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, अक्टूबर में पी-नोट्स के जरिये घरेलू बाजार में 78,686 करोड़ रुपये का निवेश आया। इससे पहले अगस्त, 2019 में पी-नोट्स के जरिये 79,088 करोड़ का निवेश आया था।

loksabha election banner

विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक (एफपीआइ) कुछ तय नियमों के आधार पर पी-नोट्स जारी करते हैं। इनकी मदद से पंजीकरण की जटिल प्रक्रिया से गुजरे बिना विदेशी निवेशकों को भारतीय बाजार में पैसा लगाने का मौका मिलता है।

आंकड़ों के मुताबिक, 78,686 करोड़ रुपये में से 68,415 करोड़ का निवेश इक्विटी बाजार और 10,047 करोड़ का निवेश डेट मार्केट में किया गया। 224 करोड़ का निवेश हाइब्रिड सिक्योरिटी में आया। सितंबर में पी-नोट्स के माध्यम से कुल 69,821 करोड़ रुपये का निवेश किया गया था। विश्लेषकों का कहना है कि विदेशी निवेशकों का भारतीय बाजार में बढ़चढ़ कर हिस्सा लेना यह दर्शाता है कि देश की अर्थव्यवस्था के प्रति वे सकारात्मक हैं।

विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक लगातार भारतीय शेयर बाजारों में निवेश कर रहे हैं। एफपीआई (FPI) ने सितंबर तिमाही में भारतीय शेयर बाजारों में 6.3 बिलियन डॉलर निवेश किये हैं। मॉर्निंग स्टार की एक रिपोर्ट के अनुसार, एफपीआई का यह निवेश आकर्षक वैल्यूएशन, अर्थव्यवस्था के खुलने और कारोबारी गतिविधियों में बहाली के चलते आया है।

इससे पहले जून तिमाही में एफपीआई ने भारतीय शेयर बाजारों में 3.9 बिलियन डॉलर का शुद्ध निवेश किया था। वहीं, मार्च तिमाही में एफपीआई ने भारतीय शेयर बाजारों से 6.38 बिलियन डॉलर की शुद्ध निकासी की थी।

इसके साथ ही, भारतीय शेयरों में एफपीआई निवेश की वैल्यू सितंबर तिंमाही के दौरान काफी अधिक बढ़ी है।सितंबर में समाप्त हुई तिमाही में भारतीय शेयरों में एफपीआई निवेश की कुल वैल्यू 450 बिलियन डॉलर हो गई है। यह इससे पहले की तिमाही में दर्ज किये गए 344 बिलियन डॉलर से काफी अधिक है। इस तरह इसमें करीब 31 फीसद का इजाफा हुआ है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.