महंगा होगा UPI पेमेंट, ट्रांजेक्शन पर लगेगी मर्चेंट फीस? इन दावों पर सरकार ने क्या कहा
MDR on UPI Payments वित्त मंत्रालय ने उन रिपोर्ट्स और अटकलों पर सफाई दी है जिनमें यूपीआई के जरिए 3000 रुपये से ज्यादा के ट्रांजेक्शन पर मर्चेंट डिस्काउंट रेट (MDR) चार्ज लगाने का दावा किया जा रहा था। फाइनेंस मिनिस्ट्री ने X पर एक पोस्ट में इस तरह के दावों को खारिज कर दिया है।

नई दिल्ली। 11 जून को आई एक खबर ने यूपीआई ट्रांजेक्शन करने वाले करोड़ों लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी थी, क्योंकि दावा किया जा रहा था कि सरकार यूपीआई के जरिए 3000 रुपये से ज्यादा के ट्रांजेक्शन पर मर्चेंट डिस्काउंट रेट (MDR) चार्ज लगाने पर विचार कर रही है। हालांकि, अब इस दावे पर सरकार ने सफाई दी है। वित्त मंत्रालय ने उन रिपोर्टों को खारिज कर दिया जिनमें कहा जा रहा था कि सरकार बड़े यूपीआई लेनदेन पर मर्चेंट डिस्काउंट रेट (MDR) लगाने की योजना बना रही है।
मंत्रालय ने एक बयान में इन रिपोर्टों को 'झूठी और निराधार' बताया। फाइनेंस मिनिस्ट्री ने X पर एक पोस्ट में कहा, "यह अटकलें और दावे कि यूपीआई लेनदेन पर एमडीआर लगाया जाएगा, पूरी तरह से झूठे, निराधार और भ्रामक हैं। इस तरह की निराधार और सनसनी पैदा करने वाली अटकलें जनता के बीच अनावश्यक अनिश्चितता, भय और संदेह पैदा करती हैं। वित्त मंत्रालय ने कहा कि सरकार यूपीआई के माध्यम से डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
मीडिया रिपोर्ट्स में किया जा रहा था ये दावा
दरअसल,सरकार की ओर से यह सफाई, उन मीडिया रिपोर्ट्स के सामने आने के बाद आई है, जिनमें दावा किया गया था कि सरकार बैंकों और पेमेंट सॉल्युशन प्रोवडर्स को सहायता प्रदान करने के लिए 3,000 रुपए और उससे अधिक मूल्य के लेनदेन पर एमडीआर लागू करने की योजना बना रही है।
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