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    वित्त मंत्रालय का अहम फैसला, ग्राहकों के आधार बेस्ड वेरिफिकेशन के लिए 22 कंपनियों को मंजूरी

    By Rammohan MishraEdited By: Rammohan Mishra
    Updated: Fri, 05 May 2023 05:52 PM (IST)

    वित्त मंत्रालय ने एक अधिसूचना के माध्यम से जानकारी देते हुए कहा कि 22 कंपनियां को आधार-बेस्ड वेरीफिकेशन करने की अनुमति दी गई है। ग्राहकों का आधार प्रमाणीकरण बैंकिंग कंपनियों के लिए सत्यापन के तरीकों में से एक के रूप में उपलब्ध कराया जा सकेगा। (फाइल फोटो)।

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    Fin Min permits 22 finance cos to undertake Aadhaar-based verification

    नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। वित्त मंत्रालय ने ग्राहकों के आधार-बेस्ड वेरीफिकेशन के लिए Amazon Pay (India) और Hero FinCorp सहित 22 वित्तीय कंपनियों को अनुमति दे दी है। मंत्रालय ने एक अधिसूचना के माध्यम से कहा कि ये 22 कंपनियां, जो पहले से ही पीएमएलए के तहत संस्थाओं की रिपोर्टिंग कर रही हैं, आधार नंबर का उपयोग करके ग्राहकों की पहचान और लाभार्थियों के विवरण को सत्यापित करने में सक्षम होंगी। आइए, इन सभी 22 नामों के बारे में जान लेते हैं।

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    ये कंपनियां कर सकेंगी आधार-बेस्ड वेरीफिकेशन

    मंत्रालय ने एक अधिसूचना के माध्यम से जानकारी देते हुए कहा कि 22 कंपनियां को आधार-बेस्ड वेरीफिकेशन करने की अनुमति प्रदान की गई है। इनमें हीरो फिनकॉर्प गोदरेज फाइनेंस, अमेजन पे (इंडिया) प्राइवेट लिमिटेड, आदित्य बिड़ला हाउसिंग फाइनेंस, टाटा मोटर्स फाइनेंस सॉल्यूशन, आईआईएफएल फाइनेंस और महिंद्रा रूरल हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड शामिल हैं।

    बैंको के अलावा अन्य संस्थाएं कर सकती हैं इस्तेमाल

    इसको लेकर नांगिया एंडरसन एलएलपी पार्टनर संदीप झुनझुनवाला ने कहा कि ग्राहकों का आधार प्रमाणीकरण बैंकिंग कंपनियों के लिए सत्यापन के तरीकों में से एक के रूप में उपलब्ध कराया जा सकेगा। उन्होने कहा कि धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) की मदद से आधार-बेस्ड बैंकिंग के अलावा अन्य संस्थाओं द्वारा भी इसे अपनाया जा सकता है। 

    आधार अधिनियम के तहत ऑफलाइन सत्यापन, पासपोर्ट का उपयोग और कोई अन्य आधिकारिक रूप से मान्य दस्तावेज या पहचान के तरीके शामिल हैं। जैसा कि केंद्र सरकार द्वारा अधिसूचित किया गया है, ग्राहक के पास सत्यापन के तरीके का चयन करने के लिए स्वैच्छिक विकल्प हैं।

    झुनझुनवाला ने कहा, "व्यक्तियों की पहचान की जानकारी और प्रमाणीकरण रिकॉर्ड की सुरक्षा के हित में, मनी लॉन्ड्रिंग अधिनियम रिपोर्टिंग संस्थाओं को ग्राहक की आधार संख्या या कोर बायोमेट्रिक जानकारी संग्रहीत करने से रोकता है, जहां पहचान को सत्यापित करने के लिए आधार का उपयोग किया जाता है।"