ETF vs Mutual Fund: दोनों में क्या होता है अंतर, आपके लिए निवेश का कौन सा है बेस्ट ऑप्शन, जानिए पूरी डिटेल
ईटीएफ और म्यूचुअल फंड में बहुत सारी समानताएं हैं लेकिन कुछ अंतर भी हैं। ईटीएफ आमतौर पर कम शुल्क लेते हैं और स्टॉक की तरह इंट्राडे व्यापार कर सकते हैं। हालांकि म्यूचुअल फंड और ईटीएफ दोनों की विविध प्रकार की प्रकृति कम जोखिम उठाने वाले निवेशकों के लिए अच्छा ऑप्शन हो सकती है। चलिए जानते हैं ईटीएफ और म्यूचुअल फंड में क्या है अंतर।

नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क: ETf vs Mutual Fund Difference: आजकल निवेश करने के इतने विकल्प बाजार में मौजूद है कि ज्यादातर लोगों को यह समस्या रहती है कि आखिरकार पैसा कहां लगाएं। इन्हीं में से म्यूचुअल फंड और एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड (ईटीएफ) इंवेस्टमेंट ऑप्शन भी है जिनमें काफी समानताएं हैं लेकिन दोनों के बीच अंतर भी हैं।
आज हम आपको बताएंगें की म्यूचुअल फंड और ईटीएफ में क्या अंतर होता है और आपके लिए कौन सा बेहतर है। लेकिन सबसे पहले आसान शब्दों में समझते हैं कि म्यूचुअल फंड और ईटीएफ क्या होता है।
क्या है म्यूचुअल फंड?
म्यूचुअल फंड एक पेशेवर रूप से प्रबंधित निवेश योजना है, जो आमतौर पर एक एसेट मैनेजमेंट कंपनी द्वारा चलाई जाती है जो लोगों के पैसे को स्टॉक, बॉन्ड और अन्य प्रतिभूतियों में निवेश करती है।
क्या है ईटीएफ?
एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ईटीएफ) म्यूचुअल फंड और स्टॉक की विशेषताओं का एक संयोजन हैं। जैसे आप शेयर बाजार में स्टॉक को ट्रेड करते हैं वैसे ही आप ईटीएफ में भी ट्रेड कर सकते हैं।
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दोनों में क्या है अंतर?
ETF | Mutual Funds |
ईटीएफ को स्टॉक के समान ही एक्सचेंजों पर आप खरीद या बेच सकते हैं। | म्यूचुअल फंड आम तौर पर फंड हाउस से या अधिकृत मध्यस्थों के माध्यम से खरीदी जाती है। |
ईटीएफ को बाजार समय के दौरान किसी भी समय मौजूदा बाजार मूल्य पर खरीदी या बेच सकते हैं। | जबकि म्यूचुअल फंड यूनिट्स को कभी भी खरीदा और बेचा जा सकता है। इसे नेट एसेट वैल्यू (NAV) नियमों के अनुसार निर्धारित किया जाता है। |
ईटीएफ के लिए कोई न्यूनतम लॉक-इन अवधि नहीं है। | म्यूचुअल फंड में भी लॉक-इन अवधि नहीं होती है लेकिन एक निकास शुल्क हो सकता है जो जल्द रिडेंप्शन के लिए लगया जाता है। |
ईटीएफ आमतौर पर पैसिव रूप से मैनेज होते हैं। | म्यूचुअल फंड, फंड के प्रकार और निर्माण के आधार पर एक्टिव या पैसिव दोनों हो सकते हैं। |
आपके लिए कौन सा बेहतर?
यदि आप एक विविध निवेश पोर्टफोलियो बनाना चाहते हैं तो ये दोनों विकल्प आपको एक अच्छा ऑप्शन बन सकते हैं। समय अवधि, जोखिम उठाने की क्षमता और वित्तीय लक्ष्यों के आधार पर, आप यह तय कर सकते हैं कि आपके लिए कौन सा बेहतर है। कुछ निवेशक लॉन्ग टर्म निवेश की तुलना में लिक्विड निवेश को अधिक प्राथमिकता देते हैं।
Disclaimer: (ये जानकारी प्राप्त सूचनाओं पर आधारित है, कृप्या निवेश करने से पहले विशेषज्ञों की राय जरूर लें और अपने जोखिम पर ही निवेश करें।)
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