Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck

    PSUs में निजीकरण के विरोध में 10 जून से राष्ट्रव्यापी आंदोलन शुरू करेगा भारतीय मजदूर संघ

    By Pawan JayaswalEdited By:
    Updated: Sat, 06 Jun 2020 08:51 AM (IST)

    Bharatiya Mazdoor Sangh की सार्वजनिक क्षेत्रों की राष्ट्रीय समन्वय समिति की बैठक मंगलवार और बुधवार को आयोजित की गई थी।

    PSUs में निजीकरण के विरोध में 10 जून से राष्ट्रव्यापी आंदोलन शुरू करेगा भारतीय मजदूर संघ

    नई दिल्ली, पीटीआइ। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) से जुड़े संगठन भारतीय मजदूर संघ  (BMS) ने कहा है कि वह सरकार के आक्रामक निजीकरण अभियान के खिलाफ 10 जून को राष्ट्रव्यापी आंदोलन शुरू करेगा। एक बयान में भारतीय मजदूर संघ ने कहा कि सरकार सरकारी तंत्र को चलाने के लिए पैसों की भारी आवश्यकता की बात कहकर सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों (PSU) के निजीकरण को सही ठहरा रही है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    यह भी पढ़ें: COVID-19 नियम में सिर्फ 72 घंटे में पूरा होगा EPF निकासी क्लेम का प्रोसेस, इस तरह करें आवेदन

    भारतीय मजदूर संगठन ने कहा, 'सरकार को अपने पूर्ववर्तियों द्वारा बनाई गई राष्ट्रीय संपत्ति को बेचने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। बीएमएस ने कहा कि जब तक सरकार पब्लिक सेक्टर विरोधी और मजदूर विरोधी निर्णयों को नहीं रोक देती, तब तक वह इसके खिलाफ लड़ने के लिए प्रतिबद्ध है। बीएमएस 10 जून 2020 को 'पब्लिक सेक्टर बचाओं, भारत बचाओं' बैनर तले राष्ट्रव्यापी आंदोलन शुरू कर करेगा।'

    भारतीय मजदूर संघ की सार्वजनिक क्षेत्रों की राष्ट्रीय समन्वय समिति की बैठक मंगलवार और बुधवार को आयोजित की गई थी। इस बैठक में कोयला, गैर-कोयला, रक्षा, रेलवे, डाक, बैंकिंग, बीमा, स्टील, समुद्री क्षेत्रों और दूरसंचार, बिजली, भारी इंजीनियरिंग, तेल व गैस, विमानन, रसायन, मुद्रा व सिक्के, परमाणु ऊर्जा आदि सार्वजनिक क्षेत्रों के उपक्रमों में बीएमएस संगठनों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया था।

    यह भी पढ़ें: Amazon ने विक्रेताओं के लिए हिंदी में लॉन्च की  रजिस्ट्रेशन और अकाउंट मैनेजमेंट की सेवाएं, मोबाइल ऐप से कर सकेंगे मैनेज

    केंद्र सरकार द्वारा विभिन्न सेक्टर्स में विभिन्न नामों जैसे- कोयला क्षेत्र का व्यावसायीकरण, रक्षा आयुध कारखाना बोर्ड और रेलवे का कॉरपोरेटाइजेशन, पीएसयूज की रणनीतिक बिक्री, बैंकों का विलय और निजीकरण, एफडीआई सीमा बढ़ाने में आक्रामक रूप से निजीकरण की ओर आगे बढ़ने के विरोध में बीएमएस की कार्रवाई की योजना तय करने के लिए यह बैठक आयोजित की गई थी।