West Champaran: भूमि उपलब्धता का प्रमाणपत्र जरूरी, CO साहब ने दे दिया ऑर्डर; योजनाओं की मांगी लिस्ट
नरकटियागंज में सरकारी कार्यों में पारदर्शिता लाने के लिए अंचलाधिकारी ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। अब किसी भी योजना के शुरू होने से पहले जमीन का हस्तांतरण या सरकारी जमीन की उपलब्धता का प्रमाण पत्र अंचल कार्यालय से लेना अनिवार्य होगा। अंचलाधिकारी ने बीडीओ और नगर परिषद से उन योजनाओं की सूची मांगी है जिनका काम बिना भूमि उपलब्धता प्रमाण पत्र के शुरू किया गया है।

संवाद सहयोगी, नरकटियागंज। प्रखंड सह अंचल और नगर परिषद क्षेत्र अंतर्गत सरकारी कार्यों में पारदर्शिता और प्रशासनिक जवाबदेही सुनिश्चित करने की दिशा में अंचलाधिकारी ने एक महत्वपूर्ण पहल की है।
सीओ ने कहा है कि अब किसी भी योजना को शुरू करने से पहले उससे जुड़ी जमीन का हस्तानांतरण या सरकारी जमीन की उपलब्धता का प्रमाण पत्र संबंधित अंचल कार्यालय से लेना अनिवार्य है। यह नियम इसलिए बनाया गया है, ताकि काम शुरू होने से पहले ही जमीन से जुड़े विवाद खत्म हो जाएं।
इस संबंध में अंचलाधिकारी सुधांशु शेखर ने प्रखंड विकास पदाधिकारी और नगर कार्यपालक पदाधिकारी को एक पत्र भी लिखा है। जिसमें उन्होंने सरकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में भूमि विवाद को लेकर चिंता जताई है।
उन्होंने अपने पत्र में स्पष्ट किया है कि किसी भी सरकारी योजना को शुरू करने से पहले, संबंधित भूमि के हस्तांतरण या सरकारी भूमि की उपलब्धता का प्रमाण पत्र अंचल (राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग) से प्राप्त करना अनिवार्य है।
सीओ ने कहा कि अक्सर यह देखा गया है कि बिना भूमि उपलब्धता प्रमाण पत्र प्राप्त किए ही पंचायतों में अथवा नगर परिषद क्षेत्र में सरकारी योजनाओं का काम शुरू कर दिया जाता है, जिससे बाद में भूमि विवाद उत्पन्न होते हैं। इन विवादों से न केवल विधि व्यवस्था की समस्या खड़ी होती है, बल्कि सरकारी धन के दुरुपयोग की संभावना भी बनी रहती है।
पत्र में सीओ ने बीडीओ और नप ईओ से उन सभी योजनाओं की सूची भी मांगी है, जिनका काम बिना भूमि उपलब्धता प्रमाण पत्र के शुरू किया गया है।
साथ ही, उन्होंने भविष्य में किसी भी नई योजना को शुरू करने से पहले नियमानुसार अंचल से भूमि संबंधी विवरण और उपलब्धता प्रमाण पत्र प्राप्त करना सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है। सीओ ने जोर दिया कि इस नियम का पालन करने से सरकारी योजनाओं का क्रियान्वयन सुचारू रूप से हो पाएगा और भूमि विवादों को रोका जा सकेगा।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।