अब नए बाघ की चहलकदमी ने फिर उड़ाई ग्रामीणों की नींद
सरेह में चीता की उपस्थिति लोगों मे चर्चा का विषय बन गया है। वहीं सोशल मीडिया पर भी इस चीते की वीडियो लगातार वायरल हो रही है। सरेह मे इस चीते की उपस्थिति की जानकारी मिल रही है।

गोवर्धन, जागरण ऑनलाइन डेस्क। वीटीआर के गोवर्धना जंगल के समीप के दो गांवों के सरेह में नए बाघ की चहलकदमी ने ग्रामीणों की नींद उड़ा दी है। नरभक्षी बाघ के मारे जाने के बाद आश्वस्त हुए किसान एक बार फिर डर के साए में जीने को मजबूर हैं। यह बाघ परसौनी व मिश्र बरवा के सरेह में चहलकदमी कर रहा है। तीन दिन के भीतर दो लोगों को दिखाई पड़ा है। जिसके चलते किसान सरेह में जाने से डर रहे हैं।
धान की कटाई भी प्रभावित हो रही है। हालांकि वन विभाग बाघ का लोकेशन जंगल में मिलने का दावा कर रहा है। इसके बाद भी ग्रामीणों का भय कम नहीं हुआ है। परसौनी के साथ मिश्र बरवा गांवों में सरेह में मौजूद दो लोगों को बाघ के दर्शन हो चुके हैं। इस घटना के बाद लोग खेतों में जाने से आनाकानी कर रहे है। पशुपालक भी अपने पालतू मवेशियों को इन दिनों सरेह में नहीं ले जा रहे हैं।
इस संबंध में पुनीत कुमार, संतोष कुमार मिश्रा ने बताया कि मिश्र बरवा गांव के सरेह में दो व्यक्तियों को तीन दिन पहले बाघ दिखाई दिया। उसी तरह परसौनी गांव की सरेह में मौजूद गन्ने में बाघ की गुर्राहट सुनी गई। भय के मारे उन दोनों ने सरेह छोड़ दिया। तुरंत गांव के लोगों को सूचित किया। तभी से गांव के लोगों में दहशत का माहौल है।
गोवर्धना रेंज में सूचित करने पर हमारे गांव में दो दिन पहले वनकर्मी पहुंचे। उन्होंने ट्रैकिंग करके उनके पगमार्क मिले लेकिन ये पुराने पगमार्क थे। जो नए पगमार्क मिले उनका लोकेशन जंगल के भीतर मिलना बताया। इस संबंध में गोवर्धना वन कार्यालय के रेंजर सुजीत कुमार के मोबाइल पर संपर्क किया गया।
सरेह में चीता की उपस्थिति लोगों मे चर्चा का विषय बन गया है। सोशल मीडिया पर भी इस चीते की वीडियो लगातार वायरल हो रही है। भैरोगंज थानाक्षेत्र के बांसगांव - मंझरिया पंचायत के नुनियापट्टी ग्राम के संयुक्त सरेह मे इस चीते की उपस्थिति की जानकारी मिल रही है।
हालांकि आभी तक कहीं से किसी तरह की अप्रिय घटना की सूचना नहीं है। वार्ड सदस्य निर्भय सिंह की मानें तो चीता पिछले कई दिनों से उनके घर के पीछे लंबे चौड़े खेतिहर सरेह में डेरा डाले हुए है। उसे कई बार देखा जा चुका है। ग्रामीण रमेश साह और राहुल सिंह का कहना है की वन विभाग की टीम रेस्क्यू के लिए पिछले दिनों आई थी। अभी तक चीते को पकड़ने में सफलता नहीं मिली है।
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