Bihar Politics: 'पार्टी के निर्णय के साथ, चुनाव नहीं लड़ूंगी'; टिकट कटने के बाद बोलीं भागीरथी देवी
रामनगर की पूर्व विधायक भागीरथी देवी ने पार्टी द्वारा टिकट न दिए जाने पर भी भाजपा के प्रति निष्ठा जताई है। उन्होंने पार्टी के फैसले का सम्मान करते हुए कहा कि वे पार्टी उम्मीदवार का समर्थन करेंगी और भाजपा की जीत के लिए काम करेंगी। उन्होंने किसी अन्य दल में शामिल होने या निर्दलीय चुनाव लड़ने की संभावना से इनकार किया और पार्टी के प्रति अपने समर्पण को दोहराया।

भागीरथी देवी।
संवाद सूत्र, रामनगर। रामनगर की तीन बार विधायक रह चुकीं भागीरथी देवी ने इस बार विधानसभा चुनाव में पार्टी द्वारा टिकट नहीं दिए जाने के फैसले को पूरी गरिमा के साथ स्वीकार किया है। उन्होंने कहा कि वह शुरू से ही भारतीय जनता पार्टी से जुड़ी रही हैं और पार्टी नेतृत्व के हर फैसले का सम्मान करती हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि पार्टी ने जिसे टिकट दिया है, वह उसी के साथ हैं और भाजपा की जीत सुनिश्चित करने के लिए पूरी मेहनत करेंगी।
उन्होंने कहा कि भाजपा एक अनुशासित और संगठनात्मक रूप से मजबूत पार्टी है, जहां हर कार्यकर्ता सिपाही की तरह काम करता है। पार्टी में जिम्मेदारी निभाना ही प्राथमिकता होती है, न कि पद या टिकट पाना। उन्होंने यह भी कहा कि उनके लिए दल सबसे ऊपर है और वे भाजपा से पूरी निष्ठा के साथ जुड़ी हैं।
2010 से रामनगर सुरक्षित सीट से विधायक रहीं भागीरथी देवी को क्षेत्र में जनता का भरपूर प्यार और समर्थन मिला। अपने ठेठ भोजपुरी अंदाज और बेबाक अंदाज के लिए प्रसिद्ध रही विधायक सड़क से लेकर सदन तक आम जनमानस की आवाज उठाने के लिए जानी जाती हैं। उनकी सामाजिक सेवाओं के लिए उन्हें पद्म श्री सम्मान से भी नवाजा गया है।
इस बार उनके बढ़ती उम्र और स्वास्थ्य को देखते हुए पार्टी ने टिकट नहीं दिया है, लेकिन उन्होंने इसे सहजता से लिया है। उन्होंने साफ किया कि न तो वे किसी और पार्टी में जा रही हैं और न ही निर्दलीय चुनाव लड़ेंगी। जब अन्य दलों में टिकट कटने के बाद असंतोष की स्थिति दिख रही है, तब भागीरथी देवी का पार्टी के साथ खड़ा रहना अनुशासन और समर्पण का उदाहरण है।
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