सुपौल में मुखिया सहित 14 वार्ड सदस्यों ने दिया इस्तीफा, सामने आई बड़ी वजह; अब अफसरों पर गिर सकती है गाज
सुपौल जिले के मरौना प्रखंड के गनौरा पंचायत के मुखिया जितेंद्र कुमार सहित सभी 14 वार्ड सदस्यों ने सामूहिक रूप से इस्तीफा दे दिया है। उनका कहना है कि पंचायत स्तरीय कर्मियों का सहयोग नहीं मिलने के कारण पंचायत के काम नहीं हो पा रहे हैं और जनता आक्रोशित हो रही है। इस्तीफा देने वालों में गनौरा पंचायत के मुखिया उपमुखिया और सभी वार्ड सदस्य शामिल हैं।

संवाद सूत्र, मरौना (सुपौल)। सुपौल जिले के मरौना प्रखंड स्थित गनौरा पंचायत के मुखिया जितेंद्र कुमार सहित सभी 14 वार्ड सदस्यों ने मंगलवार को पंचायती राज पदाधिकारी व बीडीओ को सामूहिक रूप से अलग-अलग इस्तीफा सौंप दिया।
त्याग पत्र में जनप्रतिनिधियों ने कहा है कि पंचायत स्तरीय कर्मी का आवश्यक सहयोग पंचायत स्तरीय काम में नहीं मिलता है, जिस वजह से पंचायत स्तरीय काम का निष्पादन नहीं हो पाता है और जनता काफी आक्रोशित हो जाती है, इसलिए अपने-अपने पद से त्यागपत्र दे रहा हूं।
इस्तीफा सौंपने वालों में गनौरा पंचायत के मुखिया जितेंद्र कुमार, उपमुखिया बेचनी देवी, वार्ड सदस्य माला देवी, पूनम देवी, शोभा देवी, सुचिता देवी, रामप्रवेश महतो, पिंकी देवी, अभय कुमार यादव, वीणा देवी, मदन कुमार मंडल, सुरेंद्र सदा, विकास आनंद, विनोद कुमार यादव व ललिता देवी शामिल हैं।
काम के एवज में रिश्वत की मांग का आरोप
- मुखिया जितेंद्र कुमार ने बताया कि पंचायत के तकनीकी सहायक, पंचायत सचिव व कनीय अभियंता के द्वारा विभिन्न विकासात्मक कार्यों को पूर्ण करने के एवज में रिश्वत की डिमांड की जाती है।
- पंचायत में विकास का काम बाधित है। विभिन्न योजनाओं के साथ-साथ जनता की समस्याएं लंबित है। पंचायत सभी वार्ड सदस्यों व उपमुखिया समेत उन्होंने खुद भी जिला पंचायती राज पदाधिकारी व मरौना बीडीओ को त्याग पत्र सौंपा दिया है।
- वहीं, इस मामले में मरौना बीडीओ रचना भारतीय ने बताया कि गनौरा पंचायत के मुखिया के द्वारा कॉल कर यह जानकारी दी गई है। उन्होंने व्हाट्सएप पर त्याग पत्र भेजा है। पंचायत में कुछ इश्यू को लेकर जनप्रतिनिधियों से बातचीत की जा रही है। जल्द ही समस्याओं का निदान किया जाएगा।
बचे हुए इलेक्शन फंड को लगाया जा सकता है देश के विकास कार्यों में
उधर, नारायणपुर के जेपी कॉलेज में सोमवार को एक देश एक चुनाव पर सेमिनार का आयोजन किया गया। मौके पर मुख्य अतिथि केडीएस कालेज गोगरी के सहायक प्राध्यापक ब्रज विनोद गौतम ने विचार रखे। उन्होंने विषय के विभिन्न पक्षों पर विस्तार से प्रकाश डाला।
ब्रज विनोद गौतम ने बताया कि एक देश एक चुनाव समय की मांग है। इससे देश के विकास कार्यों में बचे हुए इलेक्शन फंड को लगाया जा सकता है, जिसके दूरगामी परिणाम होंगे। वहीं डा़ राजीव ने कहा कि देश में क्षेत्रीय समस्या, विषमता एवं विविधता होना, संपूर्ण देश में एक चुनाव जैसे विचार को लागू करना चुनौती भरा होगा।

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