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    दारोगा जी, ये तो घूसखोरी हो गई...; सिवान में पुल‍िस अधिकारी पर नहीं हो सकी लक्ष्‍मी जी की मेहरबानी!

    By Shashi Bhushan Upadhyay (siswan) Edited By: Vyas Chandra
    Updated: Tue, 23 Dec 2025 03:27 PM (IST)

    बिहार के सिवान में एक पुल‍िस अधिकारी घूस लेते निगरानी के हत्‍थे चढ़ गया है। केस से नाम हटाने के लिए वह 40 हजार रुपये की रिश्‍वत ले रहा था तभी रंगे हाथ ...और पढ़ें

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    रिश्‍वत लेते पकड़ा गया दारोगा। सांकेत‍िक तस्‍वीर

    संंवाद सूत्र, सिसवन (सिवान)। Police Officer Arrested: भ्रष्‍ट अधिकारियों व कर्मियों पर लगातार शिकंजा कसा जा रहा है। आए दिन ऐसे सरकारी सेवक भ्रष्‍टाचार के आरोप में पकड़े जा रहे हैं, बावजूद घूसखोरों में जैसे कोई भय ही नहीं है। 

    सिसवन थाना में तैनात एसआई कन्हैया सिंह को निगरानी अन्वेषण ब्यूरो (Vigilance Investigation Bureau) की पटना की टीम ने मंगलवार की सुबह 40 हजार र‍िश्‍वत लेते दबोचा।

    रंगे हाथ गिरफ्तारी के बाद दारोगा को टीम अपने साथ ले गई। इस कार्रवाई से यहां के पुल‍िस व‍िभाग में हड़कंप मच गया। मिली जानकारी के अनुसार, कन्हैया सिंह से जुड़े मारपीट के विवाद केस से नाम हटाने के लिए रिश्‍वत ले रहा था। 

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    सिसवन थाना कांड संख्या 309/25 जमीनी विवाद में मारपीट के मामले में आवेदक राजीव कुमार सिंह की बहन जयंती कुमारी नामजद आरोपित हैं। केस से नाम हटाने एवं केस डायरी के एवज में पीड़ित पक्ष राजीव कुमार सिंह से दारोगा कन्‍हैया सिंह ने 40,000 रुपए की रिश्वत की थी। 

    पीड़ित व्यक्ति ने इस संबंध में निगरानी अन्वेषण ब्यूरो में 18 दिसंंबर 2025 को शिकायत दर्ज कराई थी। इस मामले की जांच पड़ताल के बाद निगरानी थाना में प्राथमिकी कांड संख्या 117/25 दर्ज किया गया।

    इसके बाद मामले को गंभीरता से लेते हुए निगरानी टीम ने तुरंत कार्रवाई की योजना बनाई और जाल बिछाकर एसआई को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। 

    कार्रवाई के बाद पुलिस महकमे में हड़कंप 

    जानकारी के मुताबिक, निगरानी विभाग को जैसे ही शिकायत मिली, टीम ने प्लानिंग के तहत पीड़ित को रुपये के साथ एसआई के पास भेजा।

    निगरानी डीएसपी विप्लव कुमार ने बताया कि जैसे ही एसआई ने रिश्वत के 40,000 रुपये लिए, निगरानी टीम ने मौके पर ही दबिश देकर उसे गिरफ्तार कर लिया।

    इसके बाद एसआई को अपनी कस्टडी में लेते हुए पटना मुख्यालय ले जाया गया, जहां अब उससे पूछताछ और आगे की कानूनी प्रक्रिया की जाएगी।टीम में एसआई रविशंकर कुमार, राकेश कुमार, आदित्य कुमार और योगेंद्र कुमार शामिल थे।