बिहार में परिवहन विभाग ने लागू किया नया नियम, प्रदूषण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए अब करना होगा ये भी काम
वाहन चालकों को अब ड्राइविंग लाइसेंस और रजिस्ट्रेशन में मोबाइल नंबर अपडेट कराना अनिवार्य होगा। परिवहन विभाग ने यह नियम प्रदूषण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए लागू किया है। मोबाइल नंबर अपडेट नहीं होने पर प्रदूषण प्रमाण पत्र नहीं बनेगा। साथ ही त्रुटि होने पर भी सुधार कराना होगा। ऐसा नहीं करने पर चालान भी कट सकता है। ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से मोबाइल नंबर अपडेट किया जा सकता है।

जागरण संवाददाता, सिवान। वाहन चालक को अपनी ड्राइविंग लाइसेंस और रजिस्ट्रेशन प्रमाण पत्र में मोबाइल नंबर अपडेट कराना होगा। मोबाइल नंबर अपडेट होने के बाद ही किसी वाहन का प्रदूषण प्रमाण पत्र बनेगा।
परिवहन विभाग ने प्रदूषण प्रमाण पत्र बनाने में बदलाव किया है। मोबाइल नंबर अपडेट किए बिना प्रदूषण प्रमाण पत्र जारी नहीं होगा।
परिवहन विभाग ने उन सभी वाहनों के प्रदूषण प्रमाणपत्र पर रोक लगा दी, जिनके मालिक और चालक ने रजिस्ट्रेशन और ड्राइविंग लाइसेंस में मोबाइल नंबर अपडेट नहीं किए हैं।
साथ ही ड्राइविंग लाइसेंस और रजिस्ट्रेशन प्रमाणपत्र पर नाम आदि में त्रुटि होने पर भी प्रदूषण प्रमाणपत्र नहीं बनेगा। पहले त्रुटि सुधार कराना होगा।
प्रभारी डीटीओ रवि रंजन ने बताया कि मोबाइल नंबर अपडेट होने पर ही प्रदूषण प्रमाणपत्र बनने का निर्देश आया है। जल्द ही इसपर काम होगा।
उन वाहन चालक का प्रदूषण प्रमाणपत्र नहीं बनेगा, जिन्होंने मोबाइल अपडेट नहीं किया किया है। ऐसे वाहन चालक प्रदूषण प्रमाणपत्र बनवाने जा रहे हैं तो इसकी जानकारी उन्हें दी जा रही है।
मोबाइल नंबर अपडेट नहीं होने पर पांच हजार तक का कट सकता है चालान
बता दें कि वाहन चालक के ड्राइविंग लाइसेंस और वाहन रजिस्ट्रेशन से लिंक मोबाइल नंबर अपडेट नहीं होगा तो उनके ऊपर अब दो तरह से कार्रवाई होगी। पहला प्रदूषण प्रमाणपत्र का चालान देना होगा।
वहीं, मोबाइल नंबर अपडेट नहीं होने पर पांच हजार तक का चालान कट सकता है। विभाग ने वाहन चालक की सुविधा के लिए ऑनलाइन ही मोबाइल नंबर अपडेट करने को कहा है।
वाहन रजिस्ट्रेशन में मोबाइल नंबर अपडेट के लिए वाहन परिवहन पर और ड्राइविंग लाइसेंस में मोबाइल नंबर अपडेट के लिए सारथी परिवहन पोर्टल पर जा कर करनी होगी।
बता दें कि वाहन चालकों का चालान तो कटता है, लेकिन वे जमा नहीं करते हैं, क्योंकि वाहन चालकों ने जो मोबाइल नंबर दिया है। वे उनके ड्राइविंग लाइसेंस और रजिस्ट्रेशन नंबर से अलग है।
ऐसे में चालान की जानकारी उन्हें नहीं मिल रही है। इससे परिवहन विभाग की ओर से भेजे गए मैसेज वाहन चालक को नहीं मिल रहे हैं। इसको देखते हुए परिवहन विभाग ने पहले कई बार वाहन चालकों को मोबाइल नंबर अपडेट करने को कहा था।
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