हजारों एकड़ खेत में पानी पहुंचाने वाली सकरी नहर बरबीघा में बना नाला
जागरण संवाददाता शेखपुरा बरबीघा नगर परिषद क्षेत्र में नहर में कचरा भरकर उसे नाले में

जागरण संवाददाता, शेखपुरा:
बरबीघा नगर परिषद क्षेत्र में नहर में कचरा भरकर उसे नाले में तब्दील कर दिया गया है। नाले में नहर के तब्दील होते ही हजारों एकड़ खेत प्यासे रह जाते हैं। प्रत्येक साल किसान त्राहिमाम करते हैं। जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों से गुहार लगाते हैं। हर साल खानापूर्ति हो जाती है। इस वजह से शेरपर, परसोबीघा, नारायणपुर, तोयपर, जगदीशपुर, पांक, पुनेसरा, सरैया, तेतारपुर, बेलदरिया इत्यादि गांव पानी नहीं पहुंच पाता।
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नहर लाने का श्रेय बिहार के प्रथम मुख्यमंत्री को जाता है नवादा जिले के पौरा से होकर बरबीघा तक पहुंचने वाली नहर का श्रेय बिहार के प्रथम मुख्यमंत्री डा. श्री कृष्ण सिंह को जाता है। नहर की वजह से बरबीघा का इलाका धान का कटोरा कहा जाने लगा। धीरे-धीरे नहर का अस्तित्व समाप्त होने के कगार पर है। ऊपरी स्तर पर भी नहर की साफ-सफाई बड़े पैमाने पर नहीं हुई है। जिससे नीचे पानी आने में दिक्कत होती है। नहर में कई जगह बीच में स्थाई निर्माण कर लिया गया। वहीं बरबीघा के तेउसाइन पाइन पर भी नाला बना दिया गया, जिससे कई गांवों का पानी बाधित हुआ।
- क्या कहते हैं किसान प्रत्येक साल किसान गुहार लगाते हैं। नगर नाला बन गया है। नगर में साफ -सफाई के नाम पर खानापूर्ति होती है। इस बार भी जिलाधिकारी के जनता दरबार में शिकायत की तो खानापूर्ति कर दिया गया।
पुरुषोत्तम कुमार, शेरपर 2 नहर की साफ-सफाई और खेतों तक पानी पहुंचाने के लिए लगातार संघर्ष जारी है। अधिकारियों को आवेदन भी दिया गया है। ऊपरी स्तर पर कई जगह पुल-पुलिया को दुरुस्त किया गया है। बांध बांधा गया है। नगर परिषद ध्यान नहीं दे रहे हैं।
रंजीत कुमार, खेतलपूरा, सामाजिक कार्यकर्ता 3 बरबीघा नगर परिषद में कचरे से नहर को बर्बाद कर दिया गया है। नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी से कई बार कहा गया है, परंतु वे ध्यान नहीं देते हैं।
कृष्ण कुमार मिश्रा, कार्यपालक अभियंता, नहर विभाग
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किसानों की समस्याओं को देखते हुए नगर परिषद के द्वारा दो-तीन दिनों तक नारायणपुर मोहल्ले में नहर की साफ- सफाई कराई गई है। आगे भी यह जारी है।
ज्योत प्रकाश, कार्यपालक पदाधिकारी, बरबीघा
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