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    सारण के मढ़ौरा में पांच विद्यालयों में ही डिजिटल क्लास, 89 विद्यालय के छात्र को सुविधाएं नहीं

    छात्राओं के बीच आधुनिक दूरी को कम करने के उद्देश्य से मध्य और माध्यमिक उच्चतर विद्यालयों में शुरू किए गए कंप्यूटर लैब की सुविधाएं मात्र पांच विद्यालयों के छात्र छात्राओं को ही मिल पाई है। प्रखंड के उत्क्रमित मध्य विद्यालय नेथूआ उत्क्रमित मध्य विद्यालय सलीमापुर हिन्दी मध्य विद्यालय मिर्जापुर उत्क्रमित मध्य विद्यालय रूपराहिमपुर और उत्क्रमित मध्य विद्यालय उजरी सेंदुआरी विद्यालय का नाम शामिल है।

    By Bipin Kumar Mishra Edited By: Akshay Pandey Updated: Mon, 07 Jul 2025 04:06 PM (IST)
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    नेथूआ में इनवर्टर खराब होने से बंद पड़ी डिजिटल क्लास। जागरण।

    बिपिन कुमार मिश्रा, मढ़ौरा, सारण। मढ़ौरा में सामाजिक और भौगोलिक कारणों से पिछड़े छात्र छात्राओं के बीच आधुनिक दूरी को कम करने के उद्देश्य से मध्य और माध्यमिक उच्चतर विद्यालयों में शुरू किए गए कंप्यूटर लैब की सुविधाएं मात्र पांच विद्यालयों के छात्र छात्राओं को ही मिल पाई है।

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    प्रखंड में 23 उच्च विद्यालय और 71 मध्य विद्यालय है, जिनमें कुल 35 हजार छात्र छात्राएं शामिल है। इन 35 हजार बच्चों में से मात्र 19 सौ बच्चे ही इससे लाभान्वित हो रहे है, जबकि 33 हजार बच्चे आज भी कम्प्यूटर शिक्षा से विद्यालय में वंचित हो रहे है।

    पहली बार में प्रखंड के उत्क्रमित मध्य विद्यालय नेथूआ, उत्क्रमित मध्य विद्यालय सलीमापुर हिन्दी, मध्य विद्यालय मिर्जापुर, उत्क्रमित मध्य विद्यालय रूपराहिमपुर और उत्क्रमित मध्य विद्यालय उजरी सेंदुआरी विद्यालय का नाम शामिल है।

    उनके कम्प्यूटर शिक्षा की व्यवस्था छठी से लेकर ऊपर तक के छात्र छात्राओं को आधुनिक ज्ञान प्रदान करने के उद्देश्य से संचालित होता है, जबकि अन्य विद्यालयों में अब तक इसकी शुरुआत नहीं हो सकी है।

    नेथूआ में इनवर्टर खराब होने से बंद है कंप्यूटर शिक्षा

    जिन पांच विद्यालयों में कंप्यूटर सुविधाएं है, उनमें सबसे ज्यादा छात्र छात्राएं नेथूआ विद्यालय में है, लेकिन विभागीय लापरवाही का आलम यह है कि नेथूआ स्थित इस विद्यालय में करीब डेढ़ माह से अधिक समय से इस कंप्यूटर कक्ष का इनवर्टर खराब है।

    इसको लेकर प्रधानाध्यापिका मीना कुमारी द्वारा कई बार विभाग को इससे अवगत कराया गया, मेल भी किया गया, लेकिन अब तक मेल का कोई जवाब नहीं आया। उसके कारण खराब पड़े इनवर्टर की वजह से विद्यालय के करीब 6 सौ छात्र छात्राएं सभी सुविधाओं के बावजूद इस आधुनिक पढ़ाई से वंचित हो रहे हैं। इस पर विभाग की ओर से ध्यान नहीं दिया जा रहा है, और मामूली खराबी आने से बच्चों की पढ़ाई बाधित है।

    शुरुआती दौर में शुरू हुए पांच विद्यालयों में कम्प्यूटर पढ़ाई के बाद 89 विद्यालयों में इसके तहत कब कम्प्यूटर शिक्षा की पढ़ाई शुरू होगी और करीब 33 हजार छात्र छात्राएं कब इस शिक्षा से लाभान्वित होंगे, यह बड़ा सवाल है।

    विभागीय स्तर पर विद्यालयों में इस आधुनिक क्लास की शुरुआत की दिशा में कोई सराहनीय प्रयास होता नजर नहीं आ रहा है। जरूरत है कि सभी विद्यालयों में तत्काल ही कम्प्यूटर शिक्षा व्यवस्था को लागू किया जाए ताकि इस आधुनिकता के युग में बच्चों में आधुनिक ज्ञान हो और समाज में हो रहे साइबर फ्राड से निजात और अन्य विधाओं में भी सभी छात्र छात्राएं निपुण हो।

    अभी तक प्रखंड के मात्र पांच विद्यालयों में ही कम्प्यूटर शिक्षा की शुरुआत हुई है। धीरे धीरे सभी विद्यालयों में इसकी शुरुआत की जायेगी। विभाग सभी विद्यालयों में इसकी शुरुआत पर कार्य कर रहा है। जल्द ही सभी विद्यालयों के छात्र - छात्राएं लाभान्वित होेंगे।

    मदन मोहन साह

    प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी, मढ़ौरा