Bihar: तीन संतान मामले में छपरा की मेयर को निर्वाचन आयोग ने पद से हटाया, नगर निगम में कराया जाएगा चुनाव
Chapra Nagar Nigam छपरा नगर निगम की मेयर राखी गुप्ता की कुर्सी छीन गई है। चुनाव आयोग ने गलत शपथ पत्र देने के कारण मेयर को पद से हटा दिया है। राखी गुप्ता को तीन संतान हैं उन्होंने नामांकन में दो संतान का उल्लेख कर गलत शपथ दायर किया था। इसको लेकर निगम की पूर्व मेयर ने शिकायत दर्ज कराई थी।

जागरण संवाददाता, छपरा। नगर निगम गठन के बाद पहली बार जनता के सीधे वोट से पिछले साल दिसंबर में चुनी गई मेयर राखी गुप्ता की कुर्सी गलत शपथ पत्र देने के कारण चली गई। राज्य निर्वाचन आयोग ने तीन संतान होने के मामले में गुरुवार को राखी गुप्ता को पदच्युत करने का निर्णय सुना दिया।
इससे पहले वाद संख्या 13/2023 में सुनवाई के बाद निर्वाचन आयोग ने पांच जुलाई को निर्णय सुरक्षित रखा था। अब छपरा नगर निगम का मेयर पद रिक्त मानते हुए चुनाव कराए जाएंगे।
छपरा नगर निगम की पूर्व मेयर सुनीता देवी ने राज्य निर्वाचन आयोग में 24 फरवरी 2023 को वाद दायर कर कहा था कि राखी गुप्ता को तीन संतान हैं, उन्होंने नामांकन में दो संतान का उल्लेख कर गलत शपथ दायर किया था।
राज्य निर्वाचन आयोग को भेजी शिकायत में उन्होंने एक जमीन का दस्तावेज भी उपलब्ध कराया था, जिसमें राखी गुप्ता और उनके पति वरुण प्रकाश ने अपनी तीसरी संतान पुत्र को दूसरे को गोद देने का उल्लेख किया है। इस कागजात में वरुण प्रकाश एवं राखी गुप्ता समेत दो गवाहों के भी हस्ताक्षर हैं। इसे निबंधन विभाग ने भी सही माना है।
अप्रैल महीने में सदर एसडीओ और जिलाधिकारी सारण ने राज्य निर्वाचन आयोग को भेजी रिपोर्ट में राखी गुप्ता की तीन संतान होने की पुष्टि की थी। डीएम और एसडीओ की रिपोर्ट के बाद से ही मेयर पर कार्रवाई की तलवार लटक रही थी।
राज्य निर्वाचन आयोग में लंबी बहस चली। 10 तिथियों पर सुनवाई हुई। राज्य निर्वाचन आयोग ने मेयर को कई बार नोटिस भेजकर नैसर्गिक न्याय के सिद्धांत के तहत उत्तर देने का अवसर दिया था। इसके बाद आयोग ने अपना निर्णय सुना दिया।
बता दें कि बिहार नगर पालिका अधिनियम 2007 की धारा 18 (1) (ड) के अनुसार चार अप्रैल 2008 के बाद से तीसरी संतान के जन्म देने वाले उम्मीदवार चुनाव नहीं लड़ सकते हैं। राखी गुप्ता की तीसरी संतान 2008 के बाद हुई थी। इसी बात को नामांकन के समय छुपाकर उन्होंने चुनाव लड़ा था। इसको लेकर चुनाव आयोग में चुनौती दी गई थी।
मेयर ने कहा- निर्णय समझ के परे
मेयर राखी गुप्ता ने बताया कि इस मामले में हाईकोर्ट में केस चल रहा है। इसमें तीन तिथियों पर सुनवाई भी हो चुकी है। राज्य निर्वाचन आयोग के प्रतिनिधि भी उसमें उपस्थित रहे हैं। इसी बीच आयोग द्वारा यह निर्णय सुनाया जाना समझ के परे है।
आयोग के इस निर्णय से हाई कोर्ट को अवगत कराएंगे। भाजपा में होने के कारण राज्य सरकार का यह एक नया खेल है। मेयर के पति वरुण प्रकाश राज भाजपा व्यवसायिक प्रकोष्ठ के पूर्व जिलाध्यक्ष हैं।
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