Updated: Sun, 21 Sep 2025 06:06 PM (IST)
सारण जिले की छात्राओं के लिए अजीम प्रेमजी फाउंडेशन ने छात्रवृत्ति योजना शुरू की है। प्रथम वर्ष के छात्रों को 30000 रुपये प्रति वर्ष मिलेंगे। आवेदन ऑनलाइन किए जा सकते हैं जिसके लिए 10वीं और 12वीं कक्षा सरकारी स्कूल से उत्तीर्ण होना अनिवार्य है। यह योजना गरीब छात्राओं को शिक्षा प्राप्त करने में सहायक होगी।
जागरण संवाददाता, छपरा। अब सारण जिले के गांव-देहात की बेटियों के सपने भी साकार होंगे। अजीम प्रेमजी फाउंडेशन ने स्नातक प्रथम वर्ष में नामांकित छात्राओं के लिए विशेष अजीम प्रेमजी स्कॉलरशिप की शुरुआत की है।
यह योजना उन छात्राओं के लिए उम्मीद की नई किरण है जो पढ़ने का जुनून रखती हैं लेकिन आर्थिक तंगी के कारण अक्सर बीच में ही पढ़ाई छोड़ने को मजबूर हो जाती हैं। इस स्कालरशिप के तहत चयनित छात्राओं को स्नातक या डिप्लोमा की पूरी अवधि (दो से पांच वर्ष) तक हर साल 30,000 रुपये की राशि दी जाएगी।
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यह रकम ट्यूशन फीस, किताबें, छात्रावास या अन्य शैक्षणिक जरूरतों पर खर्च की जा सकेगी। इस संबंध में उच्च शिक्षा निदेशक प्रो. (डॉ.) एन.के. अग्रवाल ने जेपी विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. नारायण दास समेत सूबे के सभी विश्वविद्यालय के कुल सचिवों को पत्र भेजा है।
इसमें कहा कि यह योजना ग्रामीण और कमजोर वर्ग की बेटियों को पढ़ाई जारी रखने में बड़ी मदद करेगी। स्कालरशिप के आवेदन की प्रक्रिया: इस स्कालरशिप के लिए आवेदन पूरी तरह निशुल्क और आनलाइन है।
इच्छुक छात्राएं अजीम प्रेमजी फाउंडेशन की वेबसाइट- azimpremjifoundation.org/what-we-do/education/azim-premji-scholarship/ पर जाकर आवेदन कर सकती हैं। आवेदन दो चरणों में होंगे पहला 10 से 30 सितम्बर 2025 तक और दूसरा 10 से 31 जनवरी 2026 तक होगा।
स्कॉलरशिप के लिए पात्र कौन-कौन
इस स्कालरशिप के लिए 10वीं और 12वीं कक्षा नियमित रूप से किसी सरकारी विद्यालय से पूरी की होनी चाहिए। जिन्होंने सत्र 2025-26 में किसी मान्यता प्राप्त स्नातक डिग्री या डिप्लोमा पाठ्यक्रम (दो से पांच वर्ष की अवधि) के प्रथम वर्ष में प्रवेश लिया हो।
सरकारी स्कूल में पढ़ने वाली छात्राओं को मिलेगी सहायता
यह स्कालरशिप गाव की उस बेटी के लिए है जो सरकारी स्कूल से पढ़कर कालेज पहुंची है लेकिन किताबें खरीदने तक में कठिनाई होती है। यह मदद उस लड़की के सपनों को सच करने का जरिया बनेगी जो डाक्टर बनकर गांव की सेवा करना चाहती है या वह जो इंजीनियर बनकर देश के विकास में योगदान देना चाहती है।
उच्च शिक्षा निदेशालय ने जेपी विश्वविद्यालय समेत राज्य के सभी विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों को निर्देश दिया है कि वे छात्राओं को इस योजना की जानकारी दें और व्यापक प्रचार-प्रसार करें, ताकि कोई भी पात्र छात्रा इस अवसर से वंचित न रह जाए।
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