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    समस्तीपुर के किसानों के लिए वरदान साबित हो रही मुख्यमंत्री निजी नलकूप योजना, 633 किसानों के आवेदन रद

    Updated: Sun, 05 Oct 2025 05:01 PM (IST)

    समस्तीपुर जिले में मुख्यमंत्री निजी नलकूप योजना के तहत किसानों को सिंचाई सुविधा प्रदान की जा रही है। अब तक 2928 किसानों ने आवेदन किया है जिसमें 633 रद हुए। लघु जल संसाधन विभाग बोरवेल और मोटर पंप स्थापना के लिए वित्तीय सहायता दे रहा है। सरकारी सिंचाई साधनों की स्थिति चिंताजनक है लेकिन यह योजना किसानों के लिए उम्मीद की किरण बनी हुई है।

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    किसानों के लिए वरदान साबित हो रही मुख्यमंत्री निजी नलकूप योजना। (जागरण)

    जागरण संवाददाता, समस्तीपुर। जिले में मुख्यमंत्री निजी नलकूप योजना के तहत अब तक 2928 किसानों ने आवेदन दिये, जिनमें से 633 आवेदन रद कर दिये गए हैं।

    यह योजना किसानों को सिंचाई की सुविधा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से शुरू की गई है। लघु जल संसाधन विभाग द्वारा किसानों को बोरवेल निर्माण और मोटर पंप स्थापना के लिए वित्तीय सहायता दी जा रही है।

    किसानों के लिए वरदान बनी यह योजना 

    इस योजना से किसानों को अपने खेतों की सिंचाई के लिए पानी की सुविधा मिलती है। विभाग की रिपोर्ट के अनुसार, अब तक 727 आवेदनों का सर्वे किया गया है, जिनमें से 669 का निरीक्षण पूरा हो चुका है।

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    वहीं, महिला किसान भी इस योजना के लाभार्थी बन रही हैं। यह योजना बिहार सरकार के हर खेत तक सिंचाई का पानी अभियान का अहम हिस्सा है।

    सरकारी सिंचाई साधनों की स्थिति चिंताजनक 

    जिले में सरकारी सिंचाई साधनों की हालत बेहतर नहीं है। कई वर्षों से मानसून उम्मीदों पर खरा नहीं उतर रहा है। नहरों के सूख जाने से किसानों के सामने बड़ी चुनौती खड़ी हो गई है।

    वर्तमान में जिले के अधिकतर किसान भूमिगत जल पर ही निर्भर हैं, जिससे सिंचाई की पूरी व्यवस्था किसानों को स्वयं करनी पड़ रही है।

    राजकीय नलकूपों की स्थिति दयनीय 

    लघु जल संसाधन विभाग के आंकड़ों के अनुसार, जिले में 436 राजकीय नलकूप स्थापित किये गये हैं। इनमें से कई नलकूप 1950-52 के दशक में लगाये गये थे। फिलहाल इनमें से 60 नलकूप परित्यक्त हो चुके हैं, जबकि 229 ही चालू हालत में हैं।


    बाकी नलकूपों में से 5 विद्युत दोष, 38 यांत्रिक दोष, और 97 विद्युत एवं यांत्रिक दोनों दोषों के कारण बंद पड़े हैं। इसके अलावा 8 नलकूप अन्य कारणों से निष्क्रिय हैं। इस प्रकार कुल 148 राजकीय नलकूप बंद अवस्था में हैं।

    किसानों के लिए राहत की उम्मीद 

    इन परिस्थितियों में मुख्यमंत्री निजी नलकूप योजना किसानों के लिए जीवनरेखा साबित हो रही है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य हर खेत तक सिंचाई के लिए पानी की उपलब्धता सुनिश्चित करना है।

    योजना के तहत किसानों को बोरवेल निर्माण और मोटर पंप की स्थापना के लिए सरकार की ओर से आर्थिक अनुदान दिया जा रहा है। इससे जिले के किसान अपनी फसल की सिंचाई बेहतर तरीके से कर सकेंगे और कृषि उत्पादन में वृद्धि की उम्मीद की जा रही है।

    बंद पड़े ट्यूबवेल को चालू करने की जिम्मेदारी मुखिया को दी गयी थी। इसके बाद कई बंद पड़े हुए ट्यूबवेल को चालू भी कराया गया और उन्हीं के अधीन ट्यूबवेल को देखने की जिम्मेदारी दी गयी है। मुख्यमंत्री निजी नलकूप योजना के तहत किसानों को सिंचाई के लिए ट्यूबवेल लगाने पर अनुदान दिया जा रहा है। इससे किसानों को काफी राहत भी मिलने लगी है। - सुनील कुमार मंडल , कार्यपालक पदाधिकारी नलकूप विभाग, समस्तीपुर