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    शिक्षकों को स्कूल जाने से मिली छूट, विधानसभा चुनाव को मतदाता सूची के पुनरीक्षण में लगे टीचरों के लिए फैसला

    पुनरीक्षण कार्य में बीएलओ के तौर पर लगे कर्मियों को अपने मूल कार्य स्थल पर जाने से फिलहाल छूट दी गई है। उन्हें समय से घर-घर भ्रमण कर निर्वाचकों का सत्यापन कार्य करने का निर्देश गया है ताकि निर्धारित अवधि तक मतदाता सूची का गहन पुनरीक्षण कार्य पूरा हो सके।

    By dhanjay kumar Edited By: Akshay Pandey Updated: Tue, 01 Jul 2025 05:20 PM (IST)
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    पुनरीक्षण में लगे शिक्षकों को स्कूल जाने से छूट दी गई है। सांकेतिक तस्वीर।

    जागरण संवाददाता, सासाराम (रोहतास)। जिले में चल रहे मतदाता सूची गहन पुनरीक्षण कार्य में बीएलओ के तौर पर लगे कर्मियों को अपने मूल कार्य स्थल पर जाने से फिलहाल छूट दी गई है।

    उन्हें समय से घर-घर भ्रमण कर निर्वाचकों का सत्यापन कार्य करने का निर्देश गया है, ताकि निर्धारित अवधि तक मतदाता सूची का गहन पुनरीक्षण कार्य पूरा हो सके।

    इस संबंध में अपर समाहर्ता सह चेनारी सुरक्षित विधान सभा क्षेत्र के निर्वाची पदाधिकारी ललित भूषण रंजन ने आदेश जारी किया है।

    एडीएम ने कहा है कि निर्वाचक सूची गहन पुनरीक्षण कार्य को प्राथमिकता के आधार पर पूरा किया जाना है। इसलिए बीएलओ के रूप में कार्य कर रहे कर्मियों को विद्यालय, आंगनबाड़ी केंद्र या अपने कार्यालय में पहले जाना अनिवार्य नहीं है।

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    वे समय से आवंटित गांवों में पहुंच घर-घर भ्रमण कर निर्वाचकों का सत्यापन कार्य करेंगे। इस दौरान वे गणना प्रपत्र में निर्धारित सूचनाएं भरेंगे। उन्हें इस बात का ध्यान अवश्य रखना होगा कि इस कार्य में पूरी तरह से पारदर्शिता बनी रहे।

    बताते चले कि भारत निर्वाचन आयोग के निर्देश पर जिले में मतदाता सूची गहन पुनरीक्षण कार्य 26 जुलाई तक चलाया जा रहा है। रोहतास जिला में फिलहाल 2296430 मतदाता हैं, जो इस बार विधानसभ चुनाव मताधिकार का प्रयोग करेंगे, जिसमें 1198502 पुरूष तथा 1097860 महिला एवं 61 अन्य मतदाता हैं।

    बीएलओ को निर्देश दिया गया है कि एक जुलाई 1987 से 03 दिसंबर 2004 के बीच भारत में जन्म होने पर अपना तथा माता अथवा पिता का जन्म तिथि, जन्म स्थान प्रमाणित करने का साक्ष्य देना होगा दो दिसंबर 2004 के बाद भारत में जन्म होने पर स्वयं अपना माता तथा पिता का जन्म तिथि व जन्म स्थान प्रमाणित करने का साक्ष्य देना होगा।

    निर्वाचकों को केंद्रीय, राज्य व पीएसयू के नियमित कर्मचारी, पेंशनभोगी को निर्गत कोई पहचान पत्र या पेंशन भुगतान आदेश की छायाप्रति देना होगा।

    सरकार, स्थानीय प्राधिकार, बैंक, डाक घर एलआइसी, पीएसयू द्वारा देश में एक जुलाई 1987 से पूर्व निर्गत किया गया कोई भी पहचान प्रमाण पत्र, दस्तावेज, सक्षम प्राधिकार द्वारा निर्गत जन्म प्रमाण पत्र, पासपोर्ट, मान्यता प्राप्त बोर्ड व विश्वविद्यालयों द्वारा निर्गत मैट्रिकुलेशन का शैक्षणिक प्रमाण पत्र का प्रविधान है।

    इसी तरह सक्षम राज्य प्राधिकार द्वारा निर्गत स्थायी निवास प्रमाण पत्र, वन अधिकार प्रमाण पत्र, सक्षम प्राधिकार द्वारा निर्गत ओबीसी, एससी, एसटी या कोई जाति प्रमाण पत्र, राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर, राज्य व स्थानीय प्राधिकारों द्वारा तैयार किया गया पारिवारिक रजिस्टर, सरकार की कोई भी भूमि, मकान आवंटन प्रमाण पत्र में से कोई एक दस्तावेज देना अनिवार्य होगा।