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    152 वर्ष का सफर तय कर सासाराम नगरपालिका बन गया नगर निगम

    By JagranEdited By:
    Updated: Tue, 09 Mar 2021 10:26 PM (IST)

    अंग्रेजी शासन में स्वायत्तशासी संस्था बनाने के क्रम में 1869 में सासाराम नगर पालिका क्षेत्र का गठन किया गया था। आरंभ में छह वार्डों से शुरू नगर पालिका क्षेत्र 152 वर्ष का सफर के बाद अब 40 वार्डों वाला नगर निगम बन चुका है।

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    152 वर्ष का सफर तय कर सासाराम नगरपालिका बन गया नगर निगम

    सतीश कुमार, सासाराम : अंग्रेजी शासन में स्वायत्तशासी संस्था बनाने के क्रम में 1869 में सासाराम नगर पालिका क्षेत्र का गठन किया गया था। आरंभ में छह वार्डों से शुरू नगर पालिका क्षेत्र 152 वर्ष का सफर के बाद अब 40 वार्डों वाला नगर निगम बन चुका है। नगर निगम के नए परिसीमन के बाद वर्तमान नगर परिषद क्षेत्र में अब सदर प्रखंड सासाराम की नौ पंचायत और शिवसागर प्रखंड की एक पंचायत के कुल 82 गांव शामिल हो गए है। वर्तमान परिसीमन में वर्ष 2011 की जनसंख्या के आधार पर कुल आबादी 263579 हो गई है। नगर परिषद सासाराम में वर्तमान पदस्थापित ईओ का पद अब नगर निगम आयुक्त के पद से जाना जाने लगा है। सरकारी दस्तवाजों के अनुसार अब तक 57 चेयरमैन हुए हैं ।

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    तत्कालीन बंगाल सरकार के प्रभारी सचिव द्वारा 24 मार्च 1869 को एक्ट वीसी 1868 के टाउन एक्ट की धारा दो व पांच के तहत सासाराम नगरपालिका के गठन की अधिसूचना कोलकाता गजट द्वारा जारी की थी । एक अप्रैल 1869 से सासाराम नगर पालिका ने अपना काम शुरू कर दिया। दस्तावेजों के अनुसार समय-समय पर इसका सीमा क्षेत्र भी बढ़ता गया। 1975 में छह से बढ़ कर वार्डों की संख्या 25 हो गई।

    2002 में नगरपालिका से बना था नगर परिषद:

    पंचायती राज एक्ट 2002 के तहत नगर पालिका क्षेत्र नगर परिषद में तब्दील हो गया। तब वार्डों की संख्या 30 हो गई। वर्ष 2007 में वार्डों की संख्या बढ़कर 40 तक हो गई है। अबतक 57 चेयरमैनभी हुए हैं। वर्ष 1920 से पहले चेयरमैन सामान्यत: सासाराम के एसडीओ हुआ करते थे एसएस लोरेंस पहले चेयरमैन थे। 13 वें चेयरमैन केदारनाथ दत्त पहले भारतीय चेयरमैन बने ।

    1920 में रामबहादुर बार -एट- लॉ पहले निर्वाचित चेयरमैन हुए। देश की आजादी के समय रघुराज बहादुर चेयरमैन बने। वर्ष 2002 से चैयरमैन पद का नाम बदल कर मुख्य पार्षद हो गया। इस वर्ष शशि पांडे पहली महिला मुख्य पार्षद बनी। इसके बाद गुलशन अफरोज ,नाजिया बेगम, नजमा बेगम व कंचन देवी मुख्य पार्षद बनी।

    1869 से लेकर अब तक के चैयरमैन :एसएस लॉरेंस, ई स्टूव्रट, सी.फैलोलर, बृज पुडेर मालडे आईसीएस, सीपी केशपेस्ज, आर. अनारर्दयान सिंह, डी. जे मैक्फैरशन, डी. कैमरसन, एच. ई रैनसन, ए. सी .मैकेट्रिक, ई. जे. मैकेट्रिक, ई

    वी प्रेक्ब्रोकमन, केदार नाथ दत्त, सी. पी. बीच आईसीएस, मुंशी बजलुल, जे. ई. रैंनकीन,ए. ए. कम्मींग, ए. ए. मोबेरली आईसीएस, मोहित चंद्र घोष, एल. एस. ए. ओमस्ले, जे. टी. व्हीटटी आईसीएस, सी. मिलरिक आईसीएस, अंबिका प्रसाद सेन, डी वष्जवासी सहाय, एच. डी. क्रिसटीन ,जे. ए. स्वीने आईसीएस, डब्लू जे . सी लौरी आईसीएस , श्याम नारायण सिंह, डब्लू ज्होम स्टोन आईसीएस ,वी. ए .एल गुप्ता, ए. वी पीटर, वाई. ए गोडबोले आईसीएस, आर चंद्रा, प्रथम निर्वाचित चेयरमैन रामबहादुर , खान साहेब ए. डब्लू अहमद आनरेरी मजिस्ट्रेट, अखौरी हरसू दयाल जमींदार, आर वी देवेन्स नाथ बोस, बीएल, ब्रजराज बहादुर जमींदार, वी लालजी सहाय प्लीडर, ए. शाह मोईजुद्दीन अहमद आनरेरी मजिस्ट्रेट, राजाराम साहू जमींदार, मुंशी ठाकुर प्रसाद, केदारनाथ मुखर्जी, अहमद अली खान जमींदार, राय बहादुर गणेश प्रसाद जमींदार , सैयद अतहर हुसैन एलएलबी , ए. शाह मोईजुद्दीन अहमद, रघुराज बहादुर, राजाराम साहू, ब्रज राज बहादुर, जगदीश चंद्र अग्रवाल , शशि पांडे , गुलशन अफरोज, नाजिया बेगम, नजमा बेगम और वर्तमान में मुख्य पार्षद की कुर्सी पर कंचन देवी आसीन है। वहीं इओ से नगर निगम आयुक्त के गठित हुए नए पद पर वर्तमान ई. अभिषेक आनंद पदभार संभाल रहे है।