Bihar Election 2025: करगहर में रितेश पांडेय बिगाड़ेंगे NDA-महागठबंधन का खेल, JDU उम्मीदवार पर सस्पेंस बरकरार
बिहार में 2025 के विधानसभा चुनाव की तैयारी ज़ोरों पर है। करगहर क्षेत्र में रितेश पांडेय की उम्मीदवारी से एनडीए और महागठबंधन के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं, जिससे मुकाबला दिलचस्प होने के आसार हैं। जदयू के उम्मीदवार पर अभी भी सस्पेंस बरकरार है, और दोनों गठबंधन अपनी रणनीति बनाने में लगे हैं।

सुरेन्द्र तिवारी, करगहर (रोहतास)। चुनाव आयोग द्वारा मतदान की तिथि घोषित होते ही सभी दलों द्वारा अपना-अपना प्रत्याशी घोषित करने की कवायद तेज हो गई है। दूसरे चरण के 11 नवंबर को होने वाले चुनाव के लिए करगहर विधानसभा क्षेत्र से जन सुराज ने फिल्म अभिनेता सह भोजपुरी गायक रितेश पांडेय पर विश्वास जताते हुए मैदान में उतारा है।
रितेश पांडेय मूल रूप से करगहर गांव के निवासी हैं। महागठबंधन की ओर से वर्तमान विधायक संतोष कुमार मिश्रा पर एक बार फिर विश्वास जताते हुए कांग्रेस ने दूसरी बार मैदान में उतारा है। बहुजन समाज पार्टी की ओर से दूसरी बार मैदान में उतरे बिहार सरकार के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री स्व रामधनी सिंह के पुत्र उदय प्रताप सिंह का टिकट फाइनल माना जा रहा है।
जदयू प्रत्याशी के तौर पर सस्पेंस
एनडीए गठबंधन की ओर से जदयू प्रत्याशी के तौर पर सस्पेंस अभी भी बरकरार है। जदयू के संभावित उम्मीदवारों में दो महिला समेत नौ लोग शामिल हैं। जिसमें मुख्य दावेदारी पूर्व विधायक वशिष्ठ सिंह एवं पूर्व आईएएस दिनेश कुमार राय की मानी जा रही है।
अन्य संभावित उम्मीदवारों में महिला प्रकोष्ठ की जिला उपाध्यक्ष सह जिला पार्षद नीलम पटेल, प्रदेश सचिव बद्री भगत, पप्पू पटेल, संजय पटेल, पूर्व जिला पार्षद उषा पटेल सहित अन्य शामिल हैं। सभी की निगाहें जनता दल यू द्वारा दिए जाने वाले उम्मीदवार पर है।
संभावित उम्मीदवार पटना में डेरा जमाए हुए
जनता दल यू के सभी संभावित उम्मीदवार पटना में डेरा जमाए हुए हैं। एनडीए गठबंधन द्वारा प्रत्याशी घोषित होने के बाद मतदाताओं के बीच समीकरण का खेल शुरू हो जाएगा। मतदाता दलीय, क्षेत्रीय, उम्मीदवार के व्यक्तित्व, विकास के आधार पर अपने मतों का प्रयोग करते आ रहे हैं।
पूर्व में महागठबंधन एवं एनडीए गठबंधन के बीच मुकाबला होते आ रहा है। 2020 के चुनाव की बात करें तो करगहर विधानसभा चुनाव में एनडीए एवं महागठबंधन के बीच हुए मुकाबले में कांग्रेस प्रत्याशी संतोष कुमार मिश्रा ने एनडीए प्रत्याशी वशिष्ठ सिंह को लगभग 5000 मतों से पराजित किया था।
तीसरे नंबर पर बसपा प्रत्याशी उदय प्रताप सिंह थे। लेकिन 2025 के चुनाव में जन सुराज उम्मीदवार के आने से समीकरण कुछ अलग ही दिखाई दे रहे हैं। जन सुराज ने दोनों गठबंधनों के परंपरागत मतों में सेंधमारी करना शुरू कर दिया है। अधिकांश मतदाताओं की चुप्पी से कई प्रत्याशियों की बेचैनी बढ़ गई है।
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