Bihar News: बिहार के इस जिले में बनेगा 2400 मेगावाट का नया थर्मल पावर प्लांट, टेंडर प्रक्रिया शुरू
भागलपुर के पीरपैंती में 400 मेगावाट की थर्मल पावर यूनिट की स्थापना को लेकर बिजली कंपनी ने अपनी सक्रियता बढ़ा दी है। बिहार स्टेट पावर जेनरेशन कंपनी लिमिटेड द्वारा प्रोजेक्ट के लिए कंसलटेंट की नियुक्ति के लिए टेंडर प्रकिया को आगे बढ़ाने की कवायद शुरू कर दी गई है। एक महीने के अंदर इसके लिए कंसलटेंट की नियुक्ति कर ली जाएगी।

राज्य ब्यूरो, पटना। भागलपुर के पीरपैंती में आठ सौ मेगावाट क्षमता की तीन यूनिट यानी 2400 मेगावाट की थर्मल पावर यूनिट की स्थापना को लेकर बिजली कंपनी ने अपनी सक्रियता बढ़ाई है। बिहार स्टेट पावर होल्डिंग कंपनी की अनुषंगी इकाई बिहार स्टेट पावर जेनरेशन कंपनी लिमिटेड को इसके लिए निविदा (टेंडर) करनी है।
टेंडर प्रकिया आगे बढ़ाने की कवायद शुरू
बिहार स्टेट पावर जेनरेशन कंपनी लिमिटेड ने इस प्रोजेक्ट के लिए कंसलटेंट की नियुक्ति को लेकर टेंडर प्रक्रिया को आगे बढ़ाने की कवायद आरंभ की है।
माह भर के भीतर प्रोजेक्ट के टेंडर के लिए कंसलटेंट की नियुक्ति
- बिजली कंपनी सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार माह भर के भीतर प्रोजेक्ट के टेंडर के लिए कंसलटेंट की नियुक्ति की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।
- देश में दो-तीन कंपनी ही इस श्रेणी की हैं, जो इस तरह के मेगा पावर प्रोजेक्ट की निविदा के लिए कंसलटेंसी उपलब्ध कराने का काम करते हैं।
- इनमें एक कंपनी सार्वजनिक क्षेत्र की है। बिजली कंपनी चाहती है कि सार्वजनिक क्षेत्र की बड़ी एजेंसी के माध्यम से ही इस प्रोजेक्ट के लिए कंसलटेंसी सेवा उपलब्ध हो।
टीबीसीबी मोड में इस मेगा प्रोजेक्ट के लिए टेंडर
हाल ही में राज्य कैबिनेट ने पीरपैंती मे मेगा थर्मल पावर प्रोजेक्ट की स्थापना को अपनी मंजूरी प्रदान की थी। उसी समय यह तय हुआ था कि इस प्रोजेक्ट का क्रियान्वयन टैरिफ आधारित प्रतिस्पर्धी निविदा (टीबीसीबी) के माध्यम से होगा।
ढाई दशक के लिए बतानी होगी बिजली दर
इसके तहत संबंधित कंपनी को इस प्रोजेक्ट के निर्माण होने के अगले ढाई दशक तक के लिए यह बताना होगा कि किस दर पर वह बिहार की बिजली कंपनी को बिजली उपलब्ध कराएगी।
कोयले की उपलब्धता को लेकर ईस्टर्न कोल फील्ड की सहमति है। जिस जगह मेगा थर्मल पावर यूनिट की स्थापना होनी है वहां से कोयले की खदान की दूरी कम है।
पीरपैंती थर्मल पावर यूनिट को ले जमीन अधिग्रहण की बाधा नहीं
पीरपैंती थर्मल पावर यूनिट को ले जमीन अधिग्रहण की कोई बाधा नहीं है। इस संबंध में बताया गया कि जिस स्थल पर थर्मल पावर यूनिट की स्थापना होनी है वहां पहले सौर ऊर्जा प्रोजेक्ट स्थापित किया जाना था।
पर बाद में यह निष्कर्ष आया कि वहां सौर ऊर्जा प्रोजेक्ट की स्थापना सही नहीं होगा। ताप विद्युत परियोजना के लिए वह उपयुक्त होगा।
इसलिए सौर ऊर्जा प्रोजेक्ट स्थापित करने के लिए जो जमीन उपरलब्ध कराई गई थी, वह आसानी से थर्मल पावर यूनिट के लिए उपलब्ध हो जाएगी। ऐसे में अब जल्द ही इसका काम शुरू हो सकता है।
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