लालू समधी मुलायम तो नीतीश भतीजे अखिलेश के साथ : सुशील मोदी
पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी के अनुसार यूपी की तरह बिहार में भी लालू के कुनबे में घमासान तय है। उन्होंने बिहार में कानून-व्यवस्था को लेकर राज्य सरकार को कटघरे में खड़ा किया।
पटना [जेएनएन]। यूपी में समाजवादी पार्टी के सिर फुटौव्वल के बीच बिहार में महागठबंधन का एक घटक जहां चाचा-भतीजा (शिवपाल व अखिलेश) की एका चाह रहा है, वहीं दूसरा घटक अखिलेश को मुलायम से तोड़कर एक नए महागठबंधन का सपना देख रहा है। लालूजी समधी मुलायम के साथ हैं तो नीतीश कुमार भतीजे अखिलेश के साथ। ऐसा मानना है बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री व भाजपा नेता सुशील मोदी (सुमो) का।
यूपी के समाजवादी कुनबे में छिड़े संग्राम पर पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने ट्वीट किया है। उन्होंने लिखा है कि यूपी में मुलायम सिंह यादव की पारिवारिक पार्टी सपा में जो घमासान मचा है, वह बिहार में लालू प्रसाद की पार्टी में भी दोहराया जाएगा। सुमो ने एक अन्य ट्वीट में बिहार में दिल्ली के व्यवसायी पुत्रों के अपहरण को लेकर राज्य सरकार को कटघरे में खड़ा किया है।
कुनबे में घमासान का किया बीजारोपण
सुमो ने लिखा है कि लालू प्रसाद ने बड़े बेटे को केवल मंत्री और छोटे को डिप्टी सीएम बनवा कर कुनबे में घमासान का बीजारोपण कर दिया है। डिप्टी सीएम भी ऐसा कि जो अपने विभाग के अलावा किसी दूसरे विभाग की समीक्षा नहीं कर सकता। लालू परिवार में छोटे भाई के विवाह की चर्चा है और बड़ा भाई कुंवारा रह जाएगा।
सिपाही-किरानी को भी तलब नहीं कर सकते डिप्टी सीएम
सुमो ने कहा, ''राजद का उप मुख्यमंत्री जरूर है, परंतु वह दूसरे विभाग के प्रधान सचिव को तो दूर, एक सिपाही या किरानी को भी तलब नहीं कर सकता है। वह अपने विभाग की बैठक के अलावा न तो किसी अन्य विभाग की समीक्षा कर सकता है और न ही किसी अन्य विभाग को कोई निर्देश दे सकता है।''
सुमो आगे लिखते हैं, ''सरकारी विज्ञापनों में केवल मुख्यमंत्री का फोटो छपता है परंतु सबसे बड़े घटक दल के उप मुख्यमंत्री का छोटा फोटो भी नहीं लगता है। प्रतिक्रिया में उपमुख्यमंत्री ने अपने विभाग के विज्ञापनों में मुख्यमंत्री का फोटो देना बंद कर दिया है।
लालू कब तक कब तक दबाएंगे परिवार का घमासान?
सुमो के अनुसार कायदे से बड़ी बहन या बड़ा भाई होने के नाते मीसा भारती या तेज प्रताप को उपमुख्यमंत्री बनना चाहिए था, परंतु लालू ने मान्य परम्परा को दरकिनार कर छोटे बेटे को उत्तराधिकारी बना दिया है। अब बड़ा भाई कुंवारा रहेगा और छोटे भाई की शादी पहले होगी। लालू-राबड़ी परिवार में मुलायम सिंह के परिवार के समान मचे घमासान को आखिर लालू कब तक दबा पायेंगे?
यूपी में मुलायम सिंह यादव की पारिवारिक पार्टी सपा में जो घमासान मचा है, वह बिहार में लालू प्रसाद की पार्टी में... pic.twitter.com/cfftQrZeD0
— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) October 24, 2016
बेटों को अपनी छाया में रख रहे लालू
सुमो ने आगे लिखा है, जिस तरह से यूपी में मुलायम की छाया से अखिलेश बाहर नहीं निकल पा रहे हैं, उसी तरह बिहार में लालूजी अपने दोनों बेटों को अपनी छाया से बाहर नहीं निकलने दे रहे हैं। यूपी में अखिलेश ने मुख्तार अंसारी जैसे अपराधी का विरोध करने की हिम्मत तो दिखायी, परंतु बिहार में दोनों बेटों ने शहाबुद्दीन के सामने आत्मसमर्पण कर दिया।
बिहार में महागठबंधन में शीत युद्ध जारी, सिर फुटौव्वल में देर नहीं
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— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) October 24, 2016
दो साल से अधिक साथ नहीं रहते लोहिया के शिष्य
लोहिया जी के शिष्यों के बारे में कहावत प्रचलित है कि वे दो साल से ज्यादा साथ नहीं रह सकते और 5-10 साल से ज्यादा अलग नहीं रह सकते। यूपी को दुहराने के बिहार को बहुत समय नहीं लगेगा।
बिहार में लौट आया दहशत का माहौल
उन्होंने एक अन्य ट्वीट में लिखा है कि 4 करोड़ की रंगदारी वसूलने के लिए पटना एयरपोर्ट से दिल्ली के व्यवसायी-पुत्रों का अगवा होना, मुजफ्फरपुर के स्वर्ण व्यवसायी का अपहरण करने के बाद उसके पिता की पिटाई और शहर के होटल मालिक पर जानलेवा हमले की घटनाएं बताती हैं कि हाईकोर्ट से जमानत दिलवा कर अपराधियों को बचाने की नीतीश सरकार की करनी से बिहार में दहशत का माहौल लौट आया है।
4 करोड़ की रंगदारी वसूलने के लिए पटना एयरपोर्ट से दिल्ली के व्यवसायी-पुत्रों का अगवा होना, मुजफ्फरपुर के स्वर्ण... pic.twitter.com/lJbjsrzjwR
— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) October 24, 2016
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