Gopal Khemka Murder: गंगा किनारे फेंकी थी पिस्तौल, सुपारी किलर ने लिए 3.5 लाख रुपये... खेमका हत्याकांड में खुले कई राज
पटना में उद्योगपति गोपाल खेमका हत्याकांड में कांट्रैक्ट किलर की गिरफ्तारी हुई है। पुलिस ने उसकी निशानदेही पर गंगा किनारे से पिस्टल और स्कूटी बरामद की है। शूटर को साढ़े तीन लाख की सुपारी मिली थी जिसमें से तीन लाख रुपये बरामद हुए। पूछताछ में मास्टरमाइंड का नाम सामने आया है और पुलिस उसकी तलाश कर रही है। शूटर ने घटना से पहले कई बार रेकी की थी।

जागरण संवाददाता, पटना। चर्चित उद्योगपति गोपाल खेमका हत्याकांड में कांट्रैक्ट किलर की गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने उसकी निशानदेही पर पटना सिटी से गंगा किनारे से प्रयुक्त पिस्टल और स्कूटी बरामद कर ली है। वारदात के वक्त शूटर के पहने कपड़े भी बरामद कर लिए गए हैं।
शूटर को मिले साढ़े तीन लाख की सुपारी
शूटर को साढ़े तीन लाख रुपये की सुपारी दी गई थी, जिसमें से उसके पास से तीन लाख रुपये नकद भी बरामद कर लिए गए। उसकी निशानदेही पर पुलिस देर रात कोतवाली थाना क्षेत्र के उदयगिरी अपार्टमेंट के एक फ्लैट में पहुंची। वहां से दो लोगों को हिरासत में लिया गया।
कयास लगाया जा रहा है कि लाइनर में इनकी भूमिका हो सकती है। फ्लैट के एक कमरे में ताला लगा था। देर रात उसे खोलने का प्रयास किया जा रहा था, जिसमें कुछ महत्वपूर्ण दस्तावेज होने की संभावना है। छापेमारी के दौरान एसआईटी के साथ एसटीएफ की टीम और कोतवाली थाने की पुलिस भी मौजूद थी।
मास्टरमाइंड का नाम भी उजागर
उधर, शूटर के साथ हिरासत में लिए गए चार संदिग्धों से पूछताछ में पूरी घटना की साजिश रचने वाले का नाम भी उजागर हुआ है। सूत्रों की मानें तो शूटर से पूछताछ के बाद मास्टरमाइंड का नाम भी उजागर हो गया है। वह किसी धंधे में भी संलिप्त है।
उसकी तलाश में पुलिस अलग-अलग इलाकों में छापेमारी कर रही है। उसकी गिरफ्तारी के बाद हत्या के पीछे की असली वजह का भी खुलासा हो जाएगा। उसकी तलाश में चार टीमें पटना और आसपास के जिलों में छापेमारी कर रही हैं।
मोबाइल नंबर से पुलिस को मिला अहम सुराग
गिरफ्तार शूटर उमेश उर्फ विजय मूल रूप से नदी थाना क्षेत्र का रहने वाला है, लेकिन उसने पटना शहर में अपना ठिकाना बना रखा था। शुक्रवार की रात गोपाल खेमका की हत्या के बाद वह जेपी गोलंबर से जेपी सेतु की ओर बढ़ा। सीसीटीवी फुटेज में एक जगह उसके मोबाइल की लाइट जलती दिखी।
पुलिस ने इलाके का डंप निकाला। इधर, बेउर जेल से भी कुछ संदिग्ध मोबाइल नंबर मिले। तकनीकी जांच के बाद पुलिस को एक नंबर मिला, जिसके जरिए शूटर तक पहुंचने का रास्ता साफ हो गया। उसका लोकेशन भी हाजीपुर में मिला। उसके बाद पटना शहर के बेगमपुर में मिला। पुलिस का शक यकीन में बदल गया कि शूटर चौक, मालसलामी या बाइपास में छिपा है।
दो दिनों तक पटना शहर में घूम रही थी एसआईटी
शूटर का लोकेशन मिलने के बाद पुलिस ने दो दिनों तक पटना शहर के तीन थाना क्षेत्रों में फुटेज में दिख रहे शूटर से मिलते-जुलते हुलिए वाले व्यक्ति की तलाश तेज कर दी। पांच संदिग्धों को उठाया गया, जिसमें एक उमेश भी था। उसके हुलिए और घटना के दौरान उसकी हरकतों से संकेत मिल रहा था कि शूटर यहीं हो सकता है।
कड़ाई से पूछताछ में उसने वह सब उगल दिया, जिसका जवाब पुलिस चाहती थी। पुलिस ने उसके पास से बाइक बरामद की। इसके बाद घटना में इस्तेमाल की गई स्कूटी भी उसके पास से बरामद की गई। उसके ठिकाने पर छापेमारी की गई, जहां से तीन लाख रुपये बरामद किए गए। जिस पिस्तौल से उसने गोली मारी थी, उसे भी गंगा किनारे से बरामद कर लिया गया।
घटना से पहले उसने कई बार की थी रेकी
इस घटना में वह अकेला नहीं था। उसके साथ दो लाइनर भी थे। घटना को अंजाम देने के लिए शूटर ने खेमका के आवास से लेकर बांकीपुर क्लब तक कई बार रेकी की थी। रेकी के बाद उसे कहां रुकना था? गोली चलाने के बाद उसने पहले ही तय कर लिया था कि उसे किस दिशा में भागना है। सूत्रों की मानें तो उसने सुपारी के कुछ पैसे पहले ही खर्च कर दिए थे।

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