जेपी के मसले पर नीतीश कुमार को भाजपा ने दी चुनौती, जदयू बोला- कांग्रेस के विरोधी नहीं थे लोकनायक
Bihar Politics लोकनायक जय प्रकाश नारायण के मसले पर भाजपा और जदयू में जंग खत्म होने का नाम नहीं ले रही है। भाजपा का कहना है कि जेपी ने कांग्रेस के खिलाफ आंदोलन किया तो जदयू का कहना है कि जेपी आज के हालात में भाजपा का विरोध करते।

पटना, जागरण टीम। Bihar News: जय प्रकाश नारायण का असली चेला आज कौन है? जेपी आज होते तो वे कांग्रेस के साथ जाते या भाजपा के साथ? भाजपा और कांग्रेस के प्रति जेपी की सोच क्या थी? इन्हीं मसलों पर आजकल बिहार की राजनीति में घमासान छिड़ा है। जेपी के बयान को दोहराते हुए भाजपा ने नीतीश कुमार को घेरा, तो जदयू की ओर से क्या कहा गया, यह जानना-सुनना दिलचस्प है।
अमित शाह के दौरे से जेपी पर ठनी रार
लोकनायक जयप्रकाश नारायण की जयंती पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह उनके पैतृक गांव सिताब दियारा पहुंचे। जेपी के गांव में मंच सजाकर भाजपा ने यह जताने की कोशिश की कि लोकनाय के चेलों ने उनके साथ धोखा किया और उसी कांग्रेस के साथ मिल गए, जिसके खिलाफ संपूर्ण क्रांति आंदोलन हुआ था।
जेपी के बारे में हम लोगों को कहेगा... सुनिए नीतीश कुमार को pic.twitter.com/pUlRw5dbBF
— Shubh Narayan Pathak (@PathakSNarayan) October 12, 2022
नीतीश कुमार को संजय जायसवाल ने ललकारा
नीतीश कुमार ने भाजपा और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को सांप्रदायिक साबित करने की कोशिश की और जेपी की विरासत पर दावे को हास्यास्पद बताया तो संजय जायसवाल ने मोर्चा संभाला। संजय जायसवाल ने कहा कि जेपी आरएसएस से गहरे तक प्रभावित थे। उन्होंने यहां तक कहा था कि 'अगर आरएसएस फासीवादी संगठन है तो जेपी भी फासीवादी है'। संजय जायसवाल ने यहां तक कह दिया कि अगर नीतीश कुमार में हिम्मत है, तो कहें कि जयप्रकाश नारायण ने ये बात नहीं कही थी।
कांग्रेस की गोद में बैठने का लगाया आरोप
अमित शाह ने कहा कि खुद को जेपी का चेला कहने वाले लालू प्रसाद यादव और नीतीश कुमार खुद कांग्रेस की गोद में जाकर बैठ गए। अमित शाह के मंच से भाजपा के नेताओं ने दावा किया कि उनकी पार्टी और केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार ही जेपी के सपनों को पूरा कर रही है।
अमित शाह के आते ही जदयू भी हुआ सक्रिय
जेपी के मसले पर जदयू रक्षात्मक मुद्रा में है। सिताब दियारा में अमित शाह का कार्यक्रम तय होते ही जदयू ने इस विषय पर अपनी सक्रियता बढ़ाई। अमित शाह से पहले ही नीतीश कुमार सिताब दियारा पहुंच गए। पटना और नगालैंड की राजधानी कोहिमा में भी जेपी पर आयोजनों में नीतीश कुमार शरीक हुए। जदयू की ओर से कुछ कार्यक्रम पहले से तय थे, लेकिन बाद में गतिविधियां बढ़ा दी गईं।
कांग्रेस नहीं, तानाशाही के खिलाफ थे जेपी: चौधरी
वित्त एवं संसदीय कार्य मंत्री मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा है कि गृह मंत्री अमित शाह लोकनायक जयप्रकाश नारायण के नाम पर भ्रम फैला रहे हैं। उन्होंने कहा कि जेपी कांग्रेस नहीं, उसकी तानाशाही एवं सत्ता के दुरुपयोग करने वाली नीति के खिलाफ थे।
जेपी ने कई मसलों पर कांग्रेस को दिया साथ
विजय चौधरी ने कहा कि जेपी ने कई अवसरों पर इंदिरा गांधी की नीतियों की सराहना की थी। यहां तक कि 1971 में भारत-पाक युद्ध के बाद बांगलादेश की आजादी के समय उसे विभिन्न देशों से मान्यता दिलाने में अंतर्राष्ट्रीय जनमत बनाने के लिए उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी। मूल रूप से आपातकाल एवं उससे जुड़े विरोध का दमन करने वाली नीतियों के विरुद्ध आंदोलन खड़ा किया था।
तब की कांग्रेस की तरह आज भाजपा का आचरण
चौधरी ने कहा कि जेपी ने कांग्रेसी हुकूमत की जिन नीतियों का विरोध किया था, आज वैसी नीतियां अघोषित रूप में अधिक प्रबलता के साथ केंद्र सरकार लागू कर रही है। उन्होंने कहा कि राज्यों के अधिकारों का अतिक्रमण कर संवैधानिक-संघीय व्यवस्था पर प्रहार किया जा रहा है।
जांच एजेंसियों का दुरुपयोग करने का आरोप
विजय चौधरी ने कहा कि केंद्रीय जांच एजेंसियों सीबीआइ, इडी और आयकर विभाग का दुरुपयोग अपने राजनीतिक विरोधियों पर किया जा रहा है। यहां तक कि देश का इतिहास बदलने की घृणित कोशिश हो रही है। इस समय आपातकाल से भी खराब स्थिति है।
भाजपा पर लगाया जेपी का अवमूल्यन का आरोप
चौधरी ने कहा कि आज जेपी के मूल्यों और आदर्शों को रौंदने वाले उन्हें कांग्रेस विरोधी कह कर और लोकनायक को राजनीतिक व्यक्ति बनाकर उनका कद छोटा कर रहे हैं। यह जेपी का अवमूल्यन है। आज जेपी जीवित होते तो 1974 से बड़े आंदोलन की तैयारी कर रहे होते।
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