PM Awas Yojana Bihar: दिसंबर तक पूरे हो जाएंगे दो लाख शहरी आवास, फेज दो की गाइडलाइन पर चल रहा काम
प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बिहार में पहले चरण में दो लाख शहरी आवासों का निर्माण इस साल दिसंबर तक पूरा हो जाएगा। नगर विकास एवं आवास विभाग ने इस बाबत लंबित योजनाओं को जल्द पूरा करने का निर्देश जारी किया है। विभाग के अनुसार वित्तीय वर्ष 2024-25 में सबके लिए आवास मद में कुल 2103 करोड़ की राशि का प्रविधान किया गया है।
राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार में प्रधानमंत्री शहरी आवास योजना (PM Awas Yojana) के अंतर्गत पहले चरण में दो लाख आवासों का निर्माण इस साल दिसंबर तक पूरा हो जाएगा। नगर विकास एवं आवास विभाग ने इस बाबत लंबित योजनाओं को जल्द पूरा करने का निर्देश जारी किया है।
विभाग के अनुसार, वित्तीय वर्ष 2024-25 में सबके लिए आवास मद में कुल 2103 करोड़ की राशि का प्रविधान किया गया है।
विभाग के सचिव अभय कुमार सिंह के अनुसार, पीएम शहरी आवास योजना के अंतर्गत वर्तमान में दो लाख 87 हजार आवास स्वीकृत हुए हैं। इनमें से एक लाख 23 हजार आवास पूर्ण हो चुके हैं। वहीं, करीब 71 हजार 915 शहरी आवास तीसरे और चौथे चरण में हैं। इन आवास को अगले दो माह में पूरा करने की योजना है। इसके अलावा शेष शहरी आवास प्रक्रियाधीन हैं।
क्या है आवास योजना?
योजना के अंतर्गत नए आवास के निर्माण के लिए ऐसे लाभार्थी जिनके पास निजी जमीन है, उन्हें दो लाख रुपये अनुदान दिया जाता है। इसमें केंद्र के द्वारा डेढ़ लाख, जबकि राज्य सरकार के द्वारा 50 हजार की राशि मिलती है। आवास का निर्माण लाभुक के द्वारा स्वयं किया जाता है।
फेज दो की गाइडलाइन पर चल रहा काम:
नगर विकास मंत्री नितिन नवीन के अनुसार, जल्द ही प्रधानमंत्री आवास योजना के दूसरे फेज पर काम शुरू होगा। इसके लिए गाइडलाइन को अंतिम रूप दिया जा रहा है। अगले तीन से चार माह में यह काम पूरा हो जाएगा। इस नए फेज में शहरी आवास योजना को व्यापक रूप देने की तैयारी है।
इसके लिए कई राज्यों के मॉडल का भी अध्ययन किया जा रहा है। इसमें गरीबों के लिए आवास बनाने का काम बिल्डरों के जरिए पूरा करने का भी प्रस्ताव है। इन सारे प्रस्तावों पर अंतिम निर्णय के बाद काम शुरू होगा।
37 शहरी निकायों में आश्रय स्थल को 19.67 करोड़ आवंटित:
राज्य के शहरी निकायों में मुख्यमंत्री वृद्धजन आश्रय स्थल योजना की भी शुरुआत की गई है। विभागीय जानकारी के अनुसार, योजना के तहत पटना को छोड़कर प्रत्येक जिला मुख्यालय के 37 नगर निकायों में 50 बेड का वृद्ध आश्रय स्थल का संचालन किया जाना है। इसके लिए कुल 19.67 करोड़ की राशि आवंटित की गई है। जिला मुख्यालय के बाद दूसरे चरण में अनुमंडल मुख्यालय में वृद्धाश्रम आश्रय स्थल खोलने पर विचार किया जाएगा।
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