पटना में प्लास्टिक कचरा पर लगेगी लगाम! इस मशीन में बोतल डालने पर लोगों को मिलेगा पैसा
पटना नगर निगम प्लास्टिक कचरे की समस्या से निपटने के लिए एक नई योजना शुरू करने जा रहा है। इस योजना के तहत, प्लास्टिक की बोतलें जमा करने पर लोगों को पैसे मिलेंगे। इसका उद्देश्य शहर को स्वच्छ रखना और प्लास्टिक प्रदूषण को कम करना है। यह योजना लोगों को कचरा जमा करने के लिए प्रोत्साहित करेगी।

पटना में लगी रिवर्स वेंडिंग मशीन
जागरण संवाददाता, पटना। नगर निगम ने शहर को स्वच्छ और प्लास्टिक मुक्त बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। पहली बार शहर में रिवर्स वेंडिंग मशीन (RVM) लगाई गई हैं, जो खाली प्लास्टिक पीईटी बोतलों को कुचलकर पुनर्चक्रण के लिए तैयार करती हैं।
इससे न केवल पर्यावरण संरक्षण होगा, बल्कि नागरिकों को प्रोत्साहन राशि या ग्रीन पाइंट्स भी मिलेंगे। नगर आयुक्त यशपाल मीणा ने कहा कि यह पहल शहर को स्वच्छ बनाने के साथ-साथ लोगों में पर्यावरणीय जिम्मेदारी जगाएगी। सभी नागरिक इसमें शामिल हों और पटना को प्लास्टिक मुक्त बनाने में योगदान दें।
मशीनों का संचालन और रखरखाव मेसर्स बायोक्रक्स प्राइवेट लिमिटेड के जिम्मे है, जो अगले तीन साल तक मुफ्त मेंटेनेंस देगी। निगम का लक्ष्य है कि पर्यटक और स्थानीय लोग बोतलें फेंकने की बजाय मशीन में डालें।
यह अभियान पटना को हरा-भरा और कचरा-मुक्त बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा। नागरिकों से अपील है कि इस पहल का हिस्सा बनें।
कहां लगीं मशीनें (Reverse Vending Machine)
- जेपी गंगा पथ : दो मशीन
- मौर्य लोक काम्प्लेक्स: एक मशीन
- मीनार घाट: दो मशीन
कैसे काम करती है मशीन
यह आइओटी और वाई-फाई से लैस मशीन बोतल डालते ही मोबाइल नंबर मांगती है। बोतल कुचलकर (इनबिल्ट क्रशर से) ग्रीन पाइंट्स या रिफंड मोबाइल से लिंक कर देती है। हर ट्रांजेक्शन का डेटा ऑनलाइन ट्रैक होता है, जो पारदर्शिता सुनिश्चित करता है।
पर्यावरण को क्या फायदा?
- 100 प्रतिशत पुनर्चक्रण
- कुशल संग्रह और प्रसंस्करण।
- सालाना 42 टन CO₂ उत्सर्जन कम
- सलाना 700 लीटर ईंधन बचत
- सलाना 52,000 लीटर पानी की बचत

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