Bihar Chunav 2025: विधानसभा चुनाव से पहले मतदाता सूची पुनरीक्षण में तेजी, कर्मियों के तबादले पर लगी रोक
विधानसभा चुनाव से पहले मतदाता सूची पुनरीक्षण अभियान तेज हो गया है। एक करोड़ से अधिक मतदाताओं को प्रपत्र बांटे गए हैं। मुख्य सचिव ने पुनरीक्षण कार्य में लगे कर्मियों के तबादले पर रोक लगा दी है। मतदाताओं को एसएमएस भेजे जा रहे हैं और ऑनलाइन प्रपत्र भरने की सुविधा भी है। 18 वर्ष से अधिक आयु के नागरिक मतदाता बनने के पात्र हैं।

राज्य ब्यूरो, पटना। विधानसभा चुनाव से पहले मतदाता सूची के विशेष सघन पुनरीक्षण अभियान ने जोर पकड़ लिया है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय के अनुसार अब तक एक करोड़ से अधिक मतदाताओं के बीच मतगणना प्रपत्र वितरित किए जा चुके हैं।
इस बीच मुख्य सचिव अमृत लाल मीना ने इस संबंध में सभी जिलाधिकारियों को पत्र लिखकर विशेष सघन पुनरीक्षण अभियान (एसआईआर) में लगे कर्मियों के स्थानांतरण पर रोक लगा दी है।
मुख्य सचिव ने जिलाधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया है कि एसआईआर को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाए। इसको लेकर संसाधनों की कमी नहीं होनी चाहिए।
उल्लेखनीय है कि आयोग के पास राज्य के कुल 7.89 करोड़ मतदाताओं में से 5.74 करोड़ के मोबाइल नंबर हैं। ऐसे में इन नंबरों पर तत्काल एसआईआर से संबंधित एसएमएस भेजे जा रहे हैं, ताकि मतदाता अपने विवरण की पुष्टि कर सकें और जरूरत पड़ने पर बदलाव कर सकें।
साथ ही 7.89 करोड़ से अधिक मतदाताओं के लिए नए मतगणना प्रपत्रों की छपाई और घर-घर वितरण का काम शुरू हो गया है। मतदाता अब इन प्रपत्रों को ऑनलाइन भी भर सकते हैं, जिससे प्रक्रिया आसान हो गई है।
इधर, चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया है कि यह पूरी प्रक्रिया संविधान के अनुच्छेद 326 के तहत की जा रही है, जिसमें कहा गया है कि 18 वर्ष या उससे अधिक आयु के भारतीय नागरिक जो सामान्य रूप से किसी क्षेत्र में निवास करते हैं, वे ही मतदाता बनने के पात्र हैं।
आयोग का मानना है कि इस बार सभी राष्ट्रीय एवं राज्य स्तरीय मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों की भागीदारी सुनिश्चित की गई है। अब तक 1,54,977 बूथ स्तरीय एजेंट (बीएलए) नियुक्त किए जा चुके हैं तथा और भी एजेंट नियुक्त करने की प्रक्रिया जारी है। इतना ही नहीं, राज्य में 77,895 बूथ स्तरीय अधिकारी (बीएलओ) पहले से ही काम कर रहे हैं। जबकि नए मतदान केंद्रों के मद्देनजर 20,603 नए बीएलओ नियुक्त किए जा रहे हैं।
इस बार एक लाख से अधिक स्वयंसेवक भी अभियान से जुड़ रहे हैं जो बुजुर्ग, बीमार, विकलांग, गरीब और वंचित समूहों के मतदाताओं की मदद करेंगे। वर्तमान कुल मतदाताओं में से करीब 4.96 करोड़ मतदाता ऐसे हैं, जिनके नाम एक जनवरी 2003 की अंतिम गहन संशोधित सूची में पहले से ही दर्ज हैं। ऐसे मतदाताओं को सिर्फ अपने विवरण की पुष्टि करनी होगी और मतगणना फार्म भरकर जमा करना होगा।
निर्वाचक निबंधन पदाधिकारी, सहायक निर्वाचक निबंधन पदाधिकारी के अलावा एसआईआर में बीएलओ पर्यवेक्षक और बीएलओ की सीधी भूमिका आयोग द्वारा निर्धारित की गई है।
शिक्षक, विकास मित्र, आंगनबाड़ी सेविका, ग्राम कचहरी सचिव, पंचायत सचिव, टोला सेवक को बीएलओ पर्यवेक्षक और बीएलओ के रूप में नियुक्त किया गया है। ऐसी स्थिति में इन कर्मियों में से किसी का भी तबादला नहीं किया जाएगा। मुख्य सचिव ने इन कर्मियों के विभागीय कार्य के लिए वैकल्पिक व्यवस्था करने का निर्देश दिया है। मतदाता ऑनलाइन https://voters.eci.gov.in पोर्टल के माध्यम से स्वयं भी मतगणना प्रपत्र भर सकते हैं।
मुख्य गतिविधियां
- डोर-टू-डोर सर्वेक्षण: 25 जून से 26 जुलाई-2025
- ड्राफ्ट मतदाता सूची का प्रकाशन: 1 अगस्त 2025
- दावा और आपत्ति की अवधि: 1 अगस्त से 1 सितंबर 2025
- अंतिम मतदाता सूची का प्रकाशन: 30 सितंबर 2025
प्रत्येक मतदाता से अपील है कि वे लोकतांत्रिक प्रक्रिया को मजबूत बनाने में सक्रिय भूमिका निभाएं। समय पर अपना मतगणना फॉर्म भरें, ऑनलाइन या ऑफलाइन माध्यम से सत्यापन सुनिश्चित करें और इस ऐतिहासिक पुनरीक्षण प्रक्रिया का हिस्सा बनें। किसी भी प्रकार की जानकारी या सहायता के लिए आप टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर 1950 पर संपर्क कर सकते हैं।
-विनोद सिंह गुंजियाल, मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी, बिहार
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