पटना मेट्रो का मलाही पकड़ी से न्यू आईएसबीटी तक होगा ट्रायल, सितंबर तक सेवा शुरू करने का टारगेट
पटना में मेट्रो का इंतजार अब खत्म होने वाला है। पटना मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड के अनुसार 20 अगस्त के बाद मेट्रो का ट्रायल रन शुरू हो सकता है। सितंबर 2025 तक मेट्रो सेवाएं शुरू करने का लक्ष्य है। पहला ट्रायल रन मलाही पकड़ी से न्यू आईएसबीटी तक होगा। ट्रायल में सिग्नलिंग गति और सुरक्षा की जांच की जाएगी। मेट्रो से ट्रैफिक जाम और प्रदूषण से राहत मिलेगी।

जागरण संवाददाता, पटना। बिहार की राजधानी पटना में मेट्रो का इंतजार अब खत्म होने जा रहा है। पटना मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड (पीएमआरसीएल) के अनुसार, मेट्रो का ट्रायल रन 20 अगस्त के बाद किसी भी समय शुरू हो सकता है।
पीएमआरसीएल का लक्ष्य सितंबर 2025 के अंत तक मेट्रो सेवाएं जनता के लिए शुरू करने का है। पहले 15 अगस्त से ट्रायल शुरू होने वाला था, लेकिन डिपो और अन्य जरूरी कार्यों के पूरा न होने के कारण इसे स्थगित करना पड़ा। अब सभी तैयारियां अंतिम चरण में हैं।पहला ट्रायल रन कहां होगा?
पटना मेट्रो का पहला ट्रायल रन प्रायोरिटी कॉरिडोर पर होगा, जो मलाही पकड़ी से न्यू आईएसबीटी (पटलिपुत्र बस टर्मिनल) तक 6-6.5 किलोमीटर के एलिवेटेड खंड में होगा।
इस खंड में पांच स्टेशन शामिल हैं:
न्यू आईएसबीटी, मलाही पकड़ी, खेमनीचक, भूतनाथ रोड और जीरो माइल/बाईपास। इन स्टेशनों पर सिविल कार्य 90 प्रतिशत से अधिक पूरा हो चुका है और शेष कार्य तेजी से प्रगति पर है।
ट्रायल में क्या-क्या होगा?
ट्रायल रन के दौरान मेट्रो की सिग्नलिंग व्यवस्था, गति, ट्रैक की सुरक्षा और अन्य तकनीकी प्रणालियों की विश्वसनीयता की गहन जांच की जाएगी। ट्रायल की सफलता के बाद ही मेट्रो को यात्री सेवाओं के लिए शुरू करने की अनुमति दी जाएगी।
देरी का कारण और वर्तमान स्थिति
पीएमआरसीएल के अधिकारियों के मुताबिक, डिपो से संबंधित कुछ महत्वपूर्ण कार्य लंबित थे, जिन्हें अब पूरा कर लिया गया है। रेक को पटरी पर उतारने की तैयारियां भी पूरी हो चुकी हैं। नगर विकास मंत्री ने परियोजना की प्रगति की समीक्षा की थी और सभी सुविधाओं व सुरक्षा मानकों की बारीकी से जांच के निर्देश दिए थे।
कब शुरू होगी मेट्रो सेवा?
पीएमआरसीएल का लक्ष्य सितंबर 2025 के अंत तक मेट्रो सेवाएं शुरू करने का है, लेकिन यह ट्रायल की सफलता और नियामकीय अनुमतियों पर निर्भर करेगा। प्रारंभिक तौर पर मेट्रो सेवाएं प्रायोरिटी कॉरिडोर पर ही शुरू होंगी, जबकि ब्लू लाइन के शेष हिस्सों को चरणबद्ध तरीके से शुरू किया जाएगा।
किन्हें मिलेगा सबसे ज्यादा लाभ?
मलाही पकड़ी से न्यू आईएसबीटी के बीच नियमित यात्रा करने वालों को मेट्रो से सबसे अधिक लाभ होगा। इससे न केवल समय की बचत होगी, बल्कि ट्रैफिक जाम और प्रदूषण से भी राहत मिलेगी। मेट्रो के शुरू होने से शहर में सड़क जाम और वायु प्रदूषण में कमी की उम्मीद है।
ब्लू लाइन और भविष्य की योजना
पटना मेट्रो की ब्लू लाइन कुल 14.56 किलोमीटर लंबी है, जो पटना जंक्शन से न्यू आईएसबीटी तक जाएगी। इसमें लगभग 6.6 किलोमीटर का हिस्सा एलिवेटेड और शेष भूमिगत है। प्रायोरिटी कॉरिडोर के बाद अन्य खंडों को चरणबद्ध तरीके से शुरू किया जाएगा।
मलाही पकड़ी स्टेशन इस कॉरिडोर का प्रमुख केंद्र होगा। पहले 15 अगस्त 2025 तक परिचालन शुरू करने का लक्ष्य था, जिसे अब ट्रायल की समय-सारिणी के अनुसार समायोजित किया जा रहा है।
प्रमुख अपडेट्स:
पॉकेट कास्टिंग कार्य: मेट्रो वायडक्ट्स के लिए मजबूत सपोर्ट सुनिश्चित करने हेतु सेगमेंट्स की फार्मवर्क और कास्टिंग का काम सुचारू रूप से चल रहा है।
फेंसिंग कार्य: कार्यस्थलों को व्यवस्थित करने और जनता की सुरक्षा के लिए सुरक्षित फेंसिंग लगाई जा रही है।
पीईबी कालम फिक्सिंग: स्टेशनों और मेंटेनेंस बिल्डिंग्स जैसी प्रमुख संरचनाओं के लिए कालम्स को सटीकता और गति के साथ स्थापित किया जा रहा है।
केबल ट्रे फिटिंग: भविष्य में विद्युतीकरण और सिग्नलिंग के लिए केबल ट्रे की स्थापना का कार्य प्रगति पर है।
यहां से होगी बिजली की सप्लाई
- रिसीविंग सब स्टेशन (आरएसएस): मेट्रो के लिए मुख्य बिजली आपूर्ति केंद्र।
- सहायक सब स्टेशन (एएसएस): मेट्रो स्टेशनों और अन्य सुविधाओं के लिए बिजली वितरण।
- फीडर लाइन: मेट्रो ट्रेनों को निर्बाध बिजली आपूर्ति के लिए महत्वपूर्ण।
- डिपो लाइन: मेट्रो रेक की मरम्मत और रखरखाव के लिए डिपो में विद्युत कनेक्शन।
- साइट पर अन्य विद्युत कनेक्शन: परियोजना के विभिन्न हिस्सों में विद्युत प्रणालियों की जांच।
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