Bihar DA Hike: बिहार में सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी, जुलाई में एक बार फिर बढ़ेगा डीए
बिहार में सरकारी कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में फिर वृद्धि की संभावना है जो जुलाई से प्रभावी हो सकती है। यह वृद्धि दो से तीन प्रतिशत तक होने की उम्मीद है और सातवें वेतन आयोग के तहत अंतिम मानी जा रही है क्योंकि अगले वर्ष आठवां वेतन आयोग लागू होने की संभावना है। राज्य सरकार वित्तीय स्थिति को देखते हुए निर्णय लेगी लेकिन केंद्र के अनुसार चलने की उम्मीद है।

राज्य ब्यूरो, पटना। सरकारी कर्मियों के महंगाई भत्ता (डीए) में इस वर्ष एक बार फिर वृद्धि होनी है। यह वृद्धि पहली जुलाई के प्रभाव से होगी, जिसके दो से तीन प्रतिशत के बीच रहने की चर्चा है। बहरहाल माना जा रहा कि डीए में यह वृद्धि सातवें वेतन आयोग के अंतर्गत अंतिम वृद्धि होगी, क्योंकि अगले वर्ष की शुरुआत से आठवें वेतन आयोग की अनुशंसाएं प्रभावी होनी हैं।
बिहार में सरकारी सेवकों को अभी सातवें वेतन आयोग का लाभ मिल रहा और केंद्रीय कर्मियों की तरह वे भी आठवें वेतन आयोग की आस लगाए हुए हैं।
16 जनवरी को ही केंद्र सरकार आठवें वेतन आयोग की स्वीकृति दे चुकी है, लेकिन अभी तक आयोग का गठन नहीं हुआ है। हालांकि, इसकी अनुशंसाएं अगले वर्ष पहली जनवरी से प्रभावी होनी हैं। केंद्रीय स्तर पर नया वेतनमान प्रभावी हो जाने के बाद राज्यों से भी उसे अपनाने का आग्रह होगा। राज्य अपनी वित्तीय स्थिति और बजट के अनुसार निर्णय लेंगे।
वित्तीय व्यवस्था और राजकोषीय अनुशासन में बिहार प्राय: केंद्र का अनुसरण करता रहा है। ऐसे में देर-सबेर यहां भी सरकारी सेवकों को आठवें वेतन आयोग का लाभ मिलना लगभग तय है। 01 अप्रैल, 2017 से बिहार के सरकारी सेवकों को थोड़ा कतर-ब्योंत के साथ सातवें वेतन आयोग का लाभ मिल रहा है।
महंगाई के आंकड़ों से डीए:
पिछली बार डीए मेंं दो प्रतिशत की वृद्धि हुई थी। इस कारण जनवरी, 2025 से डीए की दर बढ़कर 55 प्रतिशत पर पहुंच गई। तब तीन प्रतिशत वृद्धि का पूर्वानुमान था, लेकिन अखिल भारतीय उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (औद्योगिक श्रमिक) के आंकड़ों ने इसकी अनुमति नहीं दी।
इसके आधार पर ही डीए में वृद्धि होती है। अभी इस परिदृश्य मेंं कोई बहुत परिवर्तन नहीं आया है। इसलिए डीए में वृद्धि की दर पिछली बार के ही आस-पास रहने की आशा है।

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