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    Bihar News: बिहार के सभी सरकारी स्कूलों में होने जा रहा नया काम, ACS डॉ. एस. सिद्धार्थ ने दिया निर्देश

    Updated: Sun, 15 Jun 2025 07:52 AM (IST)

    बिहार के सरकारी स्कूलों में अब छात्रों की बायोमीट्रिक हाजिरी लगेगी। सभी प्रखंडों में आवासीय करियर सेंटर खुलेंगे जहां शिक्षक प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए छात्रों को तैयार करेंगे। सृजनात्मक लेखन कौशल के लिए मासिक पत्रिका का प्रकाशन होगा। शिक्षा विभाग ने कहा कि हर स्कूल में सभी विषयों के शिक्षक होंगे और कोचिंग पढ़ाने वाले शिक्षकों पर कार्रवाई होगी।

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    प्रस्तुति के लिए इस्तेमाल की गई तस्वीर। (जागरण)

    राज्य ब्यूरो, पटना। राज्य के तमाम सरकारी विद्यालयों में छात्र-छात्राओं की बायोमीट्रिक हाजिरी लगेगी। इससे छात्र-छात्राओं की कक्षाओं में उपस्थिति बढ़ाने में मदद मिलेगी। जबकि शिक्षकों की पहले से बायोमीट्रिक हाजिरी लग रही है।

    राज्य के सभी 538 प्रखंडों में छात्र-छात्राओं के लिए आवासीय करियर सेंटर खुलेंगे। उनमें सरकारी स्कूलों के शिक्षक छात्रों को प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयार करेंगे।

    इसी तरह सृजनात्मक लेखन कौशल विकसित करने हेतु सरकारी विद्यालयों में पहली से पांचवीं, छठी से आठवीं एवं नौवीं से गरहवीं कक्षा के छात्र-छात्राओं के लिए मासिक पत्रिका का प्रकाशन होगा।

    शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस. सिद्धार्थ ने यह जानकारी दी। वे 'शिक्षा की बात: हर शनिवार' लाइव कार्यक्रम में राजकीय पुरस्कार से सम्मानित शिक्षकों के प्रश्नों का उत्तर दे रहे थे।

    कोचिंग में पढ़ाते सरकारी शिक्षक दिखे, होगी कार्रवाई

    उन्होंने कहा कि राज्य में ऐसा कोई सरकारी विद्यालय नहीं होगा, जहां उसमें पढ़ाए जाने वाले हर विषय और भाषा के शिक्षक नहीं होंगे। अगर किसी विद्यालय में किसी विषय के शिक्षक, नहीं होंगे, तो वहां उस विषय को पढ़ाने के लिए पड़ोस के विद्यालय के शिक्षक जाएंगे।

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    अगर सरकारी शिक्षक कोचिंग में पढ़ाते दिखे, तो उन पर कार्रवाई होगी। उन्होंने कहा कि पहली से पांचवीं, छठी से आठवीं एवं नौवीं से बारहवीं कक्षा के छात्र-छात्राओं के लिए प्रकाशित की जाने वाली मासिक पत्रिका, नियमित रूप से हर माह प्रत्येक विद्यालय की लाइब्रेरी में रहेगी।

    उसे छात्र-छात्रा तो पढ़ेंगे ही, शिक्षक भी उसे पढ़ कर छात्र-छात्राओं को प्रेरित करेंगे। नौवीं से बारहवीं कक्षा के लिए प्रकाशित होने वाली पत्रिका में छात्र-छात्राओं के लिए करियर गाइडेंस भी होगा।

    नवाचार और आविष्कार में रुचि रखने वाले छात्रों की हर संभव मदद की जाएगी। बच्चों को शिक्षक मानचित्र भी पढ़ाएंगे। इसके लिए हर स्कूल के एटलस उपलब्ध कराए जाएंगे।

    पंजीकरण से लेकर सेंटअप परीक्षा तक का होगा कैलेंडर

    उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग और बिहार विद्यालय परीक्षा समिति एक साथ बैठ कर पंजीकरण से लेकर सेंटअप परीक्षा तक कैलेंडर बनाएगा।

    कैलेंडर ऐसा होगा कि विद्यालयों में छात्र-छात्राओं की पढ़ाई में व्यवधान नहीं हो। दसवीं पास करने पर छात्र-छात्राओं की ग्यारहवी एवं बारहवीं की पढ़ाई उसी स्कूल में होगी। लेकिन, जो दूसरे स्कूल में दाखिला लेना चाहेंगे, उन्हें टी.सी. (ट्रांसफर सर्टिफिकेट) मिलेगा।