Bihar Police New Portal: पुलिस अगस्त में लॉन्च करेगी सिटीजन सर्विस पोर्टल, ऑनलाइन मिलेंगी 12 सुविधाएं
बिहार पुलिस अगस्त में सिटीजन सर्विस पोर्टल लॉन्च करेगी जिससे ई-शिकायत किरायेदार सत्यापन समेत 12 सुविधाएं ऑनलाइन मिलेंगी। वरिष्ठ नागरिक पंजीकरण कराकर पुलिस से मदद ले सकेंगे। एडीजी अमित लोढ़ा ने बताया कि 20 अगस्त तक पोर्टल लॉन्च होगा। प्राथमिकी कॉपी गोपनीय सूचना बिना लॉग-इन मिलेगी जबकि अन्य सेवाओं के लिए लॉग-इन करना होगा। यह पोर्टल नागरिकों के लिए कई सुविधाएं प्रदान करेगा।

राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार पुलिस अगले माह अगस्त में सिटीजन सर्विस पोर्टल लॉन्च करेगी। इस पोर्टल के जरिये ई-शिकायत दर्ज कराने, किरायेदार का सत्यापन समेत 12 तरह की सुविधाएं आमलोगों को आनलाइन मिलेंगी। इस पोर्टल पर वरिष्ठ नागरिक अपना पंजीकरण करा थाना पुलिस से आवश्यकतानुसार मदद मांग सकेंगे।
पुलिस मुख्यालय में सोमवार को राज्य अपराध अभिलेख ब्यूरो (एससीआरबी) के एडीजी अमित लोढ़ा ने इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 20 अगस्त तक पोर्टल लांच कर दिया जाएगा।
एडीजी लोढ़ा ने बताया कि सिटीजन सर्विस पोर्टल पर प्राथमिकी की प्रति प्राप्त करने, गोपनीय सूचना देने और कुख्यात व इनामी अपराधियों की जानकारी प्राप्त करने के लिए लॉग-इन की जरूरत नहीं होगी। वहीं, ई-शिकायत दर्ज कराने, गुम व्यक्ति या संपत्ति की रिपोर्ट दर्ज कराने, किरायेदार, घरेलू सहायक आदि के सत्यापन, वरिष्ठ नागरिक पंजीकरण, अज्ञात शव की रिपोर्ट और गिरफ्तार-वांछित की जानकारी के लिए लॉग-इन करना होगा।
इसमें अपनी जानकारी शेयर करनी होगी। अगर कोई बुजुर्ग अकेले रहते हैं और घर से बाहर जा रहे हैं तो वह इसकी सूचना भी पोर्टल के जरिए आनलाइन पुलिस को दे सकेंगे।
सिटीजन सर्विस पोर्टल में मिलेंगी यह सुविधाएं:
प्राथमिकी की प्रति प्राप्त करना, गोपनीय सूचना देना, अपराधियों की जानकारी प्राप्त करना, ई-शिकायत दर्ज करना, गुम संपत्ति की रिपोर्ट, गुमशुदा व्यक्ति की रिपोर्ट, किरायेदार, घरेलू सहायक व ड्राइवर का सत्यापन, वरिष्ठ नागरिक पंजीकरण, अज्ञात व्यक्ति की जानकारी, बरामद संपत्ति संबंधी सूचना, अज्ञात शव की रिपोर्ट, गिरफ्तार की जानकारी।
सीसीटीएनएस में जुड़ेंगे 373 थाना-ओपी, 176 में लगेंगे कैमरे:
राज्य में 968 पुलिस थानों को सीसीटीएनएस (क्राइम एंड क्रिमिनल नेटवर्क ट्रैकिंग एंड सिस्टम) से जोड़ दिया गया है, जिसके बाद थाना, कोर्ट आदि ऑनलाइन जुड़ गए हैं। मेडिकल और इंज्यूरी रिपोर्ट भी जल्द ही ऑनलाइन मिलेगी।
एडीजी अमित लोढ़ा ने बताया कि जल्द ही शेष 373 नवसृजित थाना-ओपी व अन्य पुलिस प्रतिष्ठानों को भी जल्द सीसीटीएनएस से जोड़ा जाएगा। सीसीटीएनएस में पिछले साल जुलाई से अभी तक 1378 जीरो एफआईआर दर्ज किया जा चुका है। सीसीटीएनएस के मामले में बिहार देश के शीर्ष दस राज्यों में शामिल है। इसके अलावा, राज्य के 1212 पुलिस थाना-ओपी में सीसीटीवी कैमरे लगाए जा चुके हैं, शेष 176 थाना-ओपी में कैमरा लगाने की प्रक्रिया जारी है।
ई-साक्ष्य पर 27 हजार से अधिक सबूत अपलोड:
एडीजी ने बताया कि ई-साक्ष्य ऐप पर अभी तक 27 हजार 883 साक्ष्य अपलोड किए जा चुके हैं। इनमें दस हजार 880 साक्ष्यों को प्राथमिकी से लिंक किया जा चुका है। प्रगति डैशबोर्ड की सफलता दर भी बिहार में 87 प्रतिशत से अधिक है। इस मामले में बिहार की राष्ट्रीय रैंकिंग 11वीं है।
ऑनलाइन कामकाज को प्रगति देने के लिए पुलिस पदाधिकारियों के ई-साइन प्रणाली भी विकसित की जा रही है, जिसका काम अंतिम चरण में है। ई-समन को गति देने के लिए एसपी से लेकर अभियोजन प्रभारी तक को प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
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