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    मुंगेर का होगा औद्योगिक विकास, 124 करोड़ की लागत से 466 एकड़ जमीन का अधिग्रहण

    Updated: Tue, 09 Sep 2025 11:33 PM (IST)

    पटना मुंगेर में औद्योगिक विकास को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने 466.49 एकड़ जमीन के अधिग्रहण को मंजूरी दी है जिसके लिए 124.62 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं। इसके अतिरिक्त राज्य में खाद्यान्न भंडारण प्रबंधन एवं प्रशिक्षण संस्थान की स्थापना को भी स्वीकृति मिली है जिससे खाद्य आपूर्ति योजनाओं को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी और Patna City news में विकास को बढ़ावा मिलेगा।

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    मुंगेर के असरगंज में औद्योगिक क्षेत्र के लिए जमीन अधिग्रहण को स्वीकृति

    राज्य ब्यूरो, पटना। राज्य के विभिन्न क्षेत्रों की भांति अब मुंगेर का भी औद्योगिक विकास होगा। सरकार ने मुंगेर के औद्योगिक विकास और औद्योगिक क्षेत्र के विस्तार के लिए 466.49 एकड़ जमीन के अधिग्रहण का निर्णय लिया है।

    मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में इस प्रस्ताव को स्वीकृति दी गई। मंत्रिमंडल की बैठक के बाद कैबिनेट के अपर मुख्य सचिव अरविंद कुमार चौधरी ने जानकारी दी कि मुंगेर के औद्योगिक क्षेत्र के विस्तार के लिए काफी जमीन का अधिग्रहण होगा।

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    जिसके लिए 124.62 करोड़ से अधिक की राशि स्वीकृत की गई है। फैसले के तहत मुंगेर जिले के अंचल असरगंज में 24.99 एकड़, मौजा धुरिया अराजी में 81.18 एकड़, मौजा बेरांई 190.09 एकड़, मौजा खरभतुआ में 6.01 एकड़, मौजा जोरारी में 18.66 एकड़, और मौजा बदरखा में 30.39 एकड़ अर्थात समेकित रूप से 466.49 एकड़ जमीन का अधिग्रहण होगा।

    नए औद्योगिक क्षेत्र के विस्तार से मुंगेर जिला में विभिन्न क्षेत्रों में निवेश एवं रोजगार के अवसर बढ़ेंगे तथा आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।

    प्रदेश में खाद्यान्न भंडारण प्रबंधन एवं प्रशिक्षण संस्थान का गठन

    प्रदेश में अब खाद्यान्न भंडारण प्रबंधन एवं प्रशिक्षण संस्थान का गठन होगा। मंगलवार को मंत्रिमंडल ने इस आशय का प्रस्ताव स्वीकृत किया है।

    जानकारी के अनुसार संस्थान में खाद्य एवं असैनिक आपूर्ति निगम और खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग के पदाधिकारियों-कर्मियों को उच्च गुणवत्ता वाला प्रशिक्षण दिया जाएगा।

    उनकी दक्षता उन्मुखीकरण के लिए यहां विभिन्न प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इससे खाद्य आपूर्ति से जुड़ी विभिन्न सरकारी योजनाओं को लागू करने और उन्हें सफल बनाने में बड़ी मदद मिलेगी।

    मंत्रिमंडल ने इस संस्थान की स्थापना और प्रशासनिक संरचना के लिए 4.65 करोड़ के वार्षिक व्यय पर पदों की स्वीकृति दी गई। यह संस्थान बिहार राज्य खाद्य एवं असैनिक आपूर्ति निगम की एक इकाई के रूप में काम करेगा।