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कई किरदारों से होकर गुजरती है छात्र राजनीति

पटना। छात्र राजनीति पर केंद्रित बेस्ट सेलर जनता स्टोर के लेखक नवीन चौधरी शनिवार को होटल चाणक्य में मुखातिब थे।

By JagranEdited By: Published: Sun, 24 Jan 2021 02:03 AM (IST)Updated: Sun, 24 Jan 2021 02:03 AM (IST)
कई किरदारों से होकर गुजरती है छात्र राजनीति
कई किरदारों से होकर गुजरती है छात्र राजनीति

पटना। छात्र राजनीति पर केंद्रित बेस्ट सेलर 'जनता स्टोर' के लेखक नवीन चौधरी शनिवार को होटल चाणक्य में पाठकों से मुखातिब थे। पुस्तक के जरिए उनसे कॉलेज की छात्र राजनीति, साहित्य लेखन, जातिवाद, क्षेत्रवाद आदि कई बिंदुओं पर खूब चर्चा हुई। युवा रंगकर्मी अनीश अंकुर ने पुस्तक के संदर्भ में लेखक से बातचीत की। प्रभा खेतान फाउंडेशन व नवरस स्कूल ऑफ परफॉर्मिग आ‌र्ट्स की ओर से आयोजित 'कलम' कार्यक्रम के प्रस्तुतिकर्ता श्रीसीमेंट व मीडिया पार्टनर दैनिक जागरण था।

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यूं तो युवा लेखक नवीन चौधरी का पहला उपन्यास 'जनता स्टोर' काफी लोकप्रिय रहा। लेखक मूलरूप से बिहार के मधुबनी जिले के रुद्रपुर के रहने वाले हैं। पिताजी की नौकरी राजस्थान में होने के कारण उन्होंने राजस्थान विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में एमए किया। लेखक ने बताया, वर्ष 2009-10 के दौरान ब्लॉग लेखन से शुरुआत हुई। वह पहले व्यंग्य लिखते थे। ब्लॉग पर व्यंग्य की प्रतिक्रिया ने साहित्य की ओर रूझान पैदा किया। छात्र राजनीति को लेकर लेखक ने बताया कि साहित्य में इस प्रकार की बातें नई थीं। राजनीति को ठीक से समझने की जरूरत :

बातचीत में लेखक नवीन चौधरी ने कहा, राजनीति के प्रति लोगों की विचारधारा भले ही भिन्न हो सकती है, लेकिन इससे जनमानस अछूता नहीं रह सकता है। राजनीति कोई बुरी चीज नहीं है, जैसा कि लोगों ने बना दिया है। राजनीति पर अगर सवाल उठाने वाले आगे नहीं आएंगे तो इसका मूल उद्देश्य पूरा नहीं हो सकता। कॉलेज की राजनीति भी इसी तरह की है। जातिवाद, क्षेत्रवाद, भाषा, नाम आदि सभी एक-दूसरे से जुड़े हैं। जातिवाद का असर देश के हर कोने में है। सभी अपने अस्तित्व को बचाए रखने को लेकर लड़ाई लड़ रहे हैं। छात्र राजनीति के पीछे भी देश और राज्य की राजनीति शामिल होती है। छात्र राजनीति में कई किरदार होते हैं जो अपनी भूमिका निभाते हैं। कोई हनुमान होता है तो कोई कुछ और।

साहित्य रचना पर लेखक ने कहा, लिखते समय लेखक को अपने अंदर के किरदार को गढ़ना पड़ता है। स्थिति, परिस्थितियों को महसूस करना होता है। पाठकों के सवाल पर नवीन ने कहा, छात्र राजनीति पर केंद्रित पुस्तक देश की राजनीति को थोड़ा-बहुत समझने में मदद कर सकती है। उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में वे राज्य की राजनीति पर केंद्रित पुस्तक लिखेंगे। धन्यवाद ज्ञापन अन्विता प्रधान ने किया। वहीं, अतिथियों को उपहारस्वरूप भेंट आइएएस व्यासजी व डॉ. अजीत प्रधान ने अतिथियों का स्वागत किया।


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