दानापुर में चमकी ऑटो चालक की ईमानदारी, पूर्व सैनिक को लौटाए छूटे हुए 10 लाख के गहने
दानापुर में एक ऑटो चालक ने ईमानदारी की मिसाल पेश की। एक पूर्व सैनिक का 10 लाख रुपये के गहनों से भरा बैग ऑटो में छूट गया था। ऑटो चालक पंकज गिरी ने बैग को रूपसपुर थाने में जमा कराया। पुलिस ने सैनिक से संपर्क किया और उन्हें उनका बैग वापस मिल गया। सैनिक ने ऑटो चालक की ईमानदारी के लिए आभार व्यक्त किया।

दानापुर में चमकी ऑटो चालक की ईमानदारी
संवाद सहयोगी, दानापुर। कहते हैं कि दूसरे का लाख मेरे लिए खाक है। इस कहावत को एक ऑटो चालक ने चरितार्थ किया है। एक पूर्व सैनिक के लाखों के जेवरात से भरा बैग ऑटो में छूट जाने के बाद, चालक ने उसे खोजकर लौटा दिया। पूर्व सैनिक, जो अपने जेवरात के खो जाने से परेशान थे, अब वापस मिलने पर राहत की सांस ली और चालक का आभार जताया।
शाहपुर के कोठिया निवासी ऑटो चालक पंकज गिरी ने बताया कि यह किसी की अमानत थी, जिसे वह कभी नहीं रख सकते थे। गुरुवार को एक दंपती, पूर्व सैनिक लाल जी ठाकुर बक्सर से मगध एक्सप्रेस से दानापुर स्टेशन पर उतरे।
पुलिस को बताई सारी बात
दानापुर स्टेशन पर उन्होंने सगुना मोड़ के लिए एक ऑटो पकड़ी। सगुना मोड़ के निकट वे एक छोटा बैग लेकर उतर गए, जबकि दूसरा बैग ऑटो में ही छूट गया। कुछ समय बाद, पंकज गिरी की नजर उस बैग पर पड़ी। जब काफी देर तक कोई नहीं आया, तो उन्होंने बैग लेकर रूपसपुर थाना पहुंच गए और सारी बात पुलिस को बताई।
थानाध्यक्ष ने बैग खोला, जिसमें एक नंबर मिला। बैग में जेवरात और अन्य सामान थे। नंबर से संपर्क कर पूर्व सैनिक लाल जी ठाकुर को बुलाया गया। बैग देखते ही लाल जी ठाकुर ने चालक को धन्यवाद देना शुरू कर दिया।
उन्होंने बताया कि बैग में करीब आठ-दस लाख के जेवरात और अन्य सामान थे। आज के समय में भी ऐसे ईमानदार लोग हैं, जिनकी वजह से यह बैग मिल गया। थानाध्यक्ष ने कहा कि ऑटो चालक की ईमानदारी के कारण पूर्व सैनिक को उनका सामान वापस मिल गया।

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