एक नवंबर से शहर में नहीं दिखेगा कूड़े का ढेर
पटना में एक नवंबर से कूड़े-कचरे का ढेर सड़क पर नहीं दिखेगा। इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए नगर निगम ने कमर कस ली है।
पटना । पटना में एक नवंबर से कूड़े-कचरे का ढेर सड़क पर नहीं दिखेगा। इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए नगर निगम ने कमर कस ली है। नगर आयुक्त अनुपम कुमार सुमन ने बताया कि राजधानी के सभी 75 वार्डो को पांच भागों में बांट दिया गया है। प्रत्येक भाग में वाहन, चालक और सफाई मजदूर के साथ एक-एक सफाई पर्यवेक्षक तैनात रहेगा। ऑटो टिपर पटना के लिए रवाना हो रहे हैं।
नगर आयुक्त के अनुसार एक वार्ड में पांच वाहनों की जरूरत नहीं है। लेकिन, सफाई के मामले में बेहतर प्रदर्शन के लिए ऐसी व्यवस्था की गई है। सफाई व्यवस्था को पटरी पर लाना मुख्य लक्ष्य है। पहले लोग वाहन में कचरा डालने लगें। उसके बाद घर से ही सूखे और गीले कचरे को अलग- अलग ऑटो टिपर में डलवाने के लिए लोगों में जागरूकता फैलाई जाएगी। सड़कों पर रखे गए डस्टबिन हटा लिए जाएंगे। कचरा घर-घर से उठेगा तो डस्टबिन की जरूरत ही नहीं होगी। तीसरे चरण में कूड़ा बाहर फेंकने वालों पर सख्ती बरती जाएगी। दंड लगाया जाएगा। इसके पहले सभी प्रकार की व्यवस्था में सुधार लाना है।
व्यावसायिक क्षेत्रों का कूड़ा रात में उठाया जाएगा। इसकी योजना बन गई है। वाहन रात में घूमेगा और कूड़ा उठा लेगा। दिन में कूड़ा व्यावसायिक प्रतिष्ठानों को अपने पास रखना होगा। सब्जी मार्केट में अलग व्यवस्था रहेगी। यहां कूड़ा स्थल रहेगा। सब्जीवाले यहां कूड़ा डालेंगे। राजधानी में कूड़ा डालने के लिए 2 हजार स्टील के डिब्बे लगाने की योजना बनी है।
: म्यूजिक सुनते ही कूड़ा लेकर आ जाइए :
निगम ने अपने ऑटो टिपर में म्यूजिक लगा दिया है। म्यूजिक की ध्वनि से ही शहरवासी जान जाएंगे कि कूड़ा उठाव वाहन आ गया है। बिना विलंब किए वे पहुंच जाएंगे।
: टाटा मोटर्स देश के विभिन्न हिस्सों से ऑटो टिपर भेज रहा पटना :
नगर आयुक्त का कहना है कि टाटा मोटर देश के विभिन्न हिस्सों से ऑटो टिपर पटना भेज रहा है। एक अधिकारी इस कार्य के लिए मुंबई में कैंप किए हुए हैं। माह के अंत तक सभी गाड़ियां आ जाएंगी। डोर टू डोर कूड़ा सामान्य हो जाएगा।