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    अत्याधुनिक तकनीकी से जल्द लैस होगा बिहार रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर, आएंगे बड़े बदलाव

    By Vyas ChandraEdited By:
    Updated: Tue, 08 Mar 2022 08:15 AM (IST)

    विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के सचिव लोकेश कुमार सिंह ने बताया कि बिहार रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर जल्‍द अत्‍याधुनिक तकनीक से लैस हो जाएगा। इसको लेकर कवायद शुरू कर दी गई है। छह करोड़ की लागत से हार्डवेयर खरीदे जाएंगे।

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    बिहार रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर में होंगी नई तकनीक। सांकेतिक तस्‍वीर

    पटना, राज्य ब्यूरो। बिहार रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर (Bihar Remote Sensing Application Center) की कार्य क्षमता को बढ़ाने के लिए उद्देश्य से इसे जल्द ही अत्याधुनिक तकनीकी से अपग्रेड किया जाएगा। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के सचिव लोकेश कुमार सिंह (Secretary Lokesh Kumar Singh) ने सोमवार को बताया कि इस सेंटर की तकनीकी रूप से कार्य क्षमता बढ़ने से विद्यार्थियों को प्रशिक्षण और एप्रेटिंसशिप प्रदान करने में और सुविधा होगी, वहीं शोध कार्य के लिए प्रोजेक्ट बनाने सहूलियत होगी।

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    छह करोड़ रुपये की लागत से हार्डवेयर की खरीद का आदेश 

    उन्होंने बताया कि जेम पोर्टल पर निविदा के माध्यम से करीब छह करोड़ रुपये की राशि से हार्डवेयर की खरीद संबंधी आदेश दिया गया है। इस हार्डवेयर के तहत ग्यारह हाई-एंड वर्क स्टेशन, मुख्य और बैकअप सर्वर, शोधार्थी और विद्यार्थियों को उच्च तकनीकी प्रशिक्षण देने हेतु 35 वर्क स्टेशन एवं साफ्टवेयर की क्रय होगी। इसके अतिरिक्त आधुनिकीकरण प्रक्रिया में बिहार रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर के पुराने संस्करण को भी अपग्रेड किया जाएगा। साथ ही, इस प्रयोगशाला को स्टेट आफ आर्ट (State of Art) बनाए जाने हेतु अत्याधुनिक तरीके से इसे सुसज्जित किया जा रहा है।

    सैटेलाइट इमेज से हाई रिजोलुशन से कृषि उत्पादन का पूर्वानुमान

    बिहार रिमोट सेसिंग एप्लीकेशन सेंटर की तकनीकी कार्य क्षमता बढ़ाये जाने शोध कार्य में और तेजी से प्रगति आएगी। सैटेलाइट इमेज से हाई रिजोलुशन द्वारा कृषि उत्पादन का पूर्वानुमान, आम, लीची आदि फलों हेतु क्षेत्रवार आकलन, राज्य के वन क्षेत्र और वृक्षों से अच्छादित क्षेत्र, मत्स्य संसाधनों, बिहार में पराली जलाने, बालू एवं पत्थर के खनन का मानचित्र एवं इनके जमाव, नदियों एवं नहरों और शहरी क्षेत्रों का मानचित्रण तथा उसके भू उपयोग, प्राकृतिक संसाधनों का आकलन ,प्राकृतिक आपदा, परिवहन के संबंध में सूचना संबंधित विभागों को उपलब्ध कराने में और तेजी आएगी। इससे आमूल चूल बदलाव आएगा। उन्‍होंने कहा कि इसको लेकर सरकार काफी गंभीर है।इसी दिशा में ये सारे कार्य किए जा रहे हैं।