Bihar News: बिहार में अब डीजल-पेट्रोल की तरह बढ़ेगी-घटेगी बिजली की दर, उपभोक्ताओं की जेब पर पड़ सकता है असर
Bihar News बिहार में अब कोयले की कीमत से तय होगी कि बिजली की दर में इजाफा होगा या कटौती। कोयले की कीमत तय करेगी कि बिजली की दर किस महीने घटेगी और किस महीने बढ़ेगी। पेट्रोल व डीजल की कीमत की तरह अब बिजली की दर भी तय होगी।

राज्य ब्यूरो, पटना। अब कोयले की कीमत तय करेगी कि बिजली की दर किस महीने घटेगी और किस महीने बढ़ेगी। आयातित कोयले की दर मंहगी होने की वजह से बिजली उत्पादन करने वाली कंपनियों से मंहगी बिजली मिल रही। बिजली उत्पादन कंपनियों को दस प्रतिशत आयातित कोयले का इस्तेमाल किए जाने की अनिवार्यता है। इस वजह से बिहार की बिजली वितरण कंपनियों ने यह तय किया है कि बिजली क्रय पर जो अतिरिक्त राशि लग रही, वह बिजली का उपभोग कर रहे उपभोक्ताओं पर ट्रांसफर की जाएगी। पेट्रोल व डीजल की कीमत की तरह अब बिजली की दर भी तय होगी।
प्रति यूनिट 20 पैसे तक का अतिरिक्त बोझ संभावित
यानी बिजली के क्रय पर खर्च अधिक तो बिजली उपभोक्ताओं को प्रति यूनिट अधिक पैसा देना होगा। बिजली कम कीमत पर मिली तो बिजली सस्ता मिलेगा। मंगलवार को बिजली कंपनी ने नए वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए बिहार राज्य विद्युत विनियामक आयोग के पास टैरिफ प्रस्ताव दाखिल कर दिया। कोयले की कीमत के असर से मंहगी होने वाली बिजली से उपभोक्ताओं पर प्रति यूनिट 20 पैसे तक का अतिरिक्त बोझ संभावित है।
ग्रामीण उपभोक्ताओं के लिए राहत का प्रस्ताव
बिजली कंपनी ने ग्रामीण क्षेत्र के उपभोक्ताओं को राहत दिए जाने का प्रस्ताव दिया है। अगर वह लगातार समय से अपने बिजली बिल का भुगतान करते हैं तो उन्हें बिजली बिल पर एक प्रतिशत की रियायत मिलेगी। शहरी क्षेत्र व स्मार्ट प्रीपेड मीटर पर यह पहले से है। इसी तरह आनलाइन भुगतान पर उपभोक्ताओं को मिलने वाले तीन प्रतिशत की छूट को बरकरार रखे जाने का प्रस्ताव दिया गया है।
घरेलू उपभोक्ताओं के लिए अब दो ही स्लैब
घरेलू उपभोक्ताओं के लिए अब दो ही स्लैब रखे जाने का प्रस्ताव दिया गया है। वर्तमान में तीन स्लैब क्रमश: 0 से 100, 101 से 200 और फिर 200 प्लस हैं। इनमें 0 से 100 वाले स्लैब को हटाने का प्रस्ताव हैं। वहीं बिजली का कम उपभोग करने वाले लोगों की जो श्रेणी 0-51 यूनिट की है वह जारी रहेगी।
एचटी उपभोक्ताओं को लोड फैक्टर का राहत
एचटी उपभोक्ता यानी औद्योगिक उपभोक्ताओ को बिजली कंपनी ने लोड फैक्टर की वजह से लगने वाली अतिरिक्त राशि की रियायत दिए जाने का प्रस्ताव दिया है। अभी यह पांच पैसे प्रति यूनिट है जिसे बढ़ाकर 15 पैसे प्रति यूनिट किए जाने का प्रस्ताव है।
तीन महीने तक लगातार बढ़ने पर नए सिरे से तय होगा लोड
स्मार्ट प्रीपेड मीटर के उपभोक्ताओं को राहत देते हुए यह तय किया है कि अगर किसी उपभोक्ता द्वारा पूर्व से तय लोड से अधिक बिजली की खपत लगातार तीने महीने तक की जाती है तो उसके लोड फैक्टर को बढ़ा दिया जाएगा ताकि उसे दंड का भुगतान नहीं करना पड़े।

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