केरल में नेग्लेरिया फाउलेरी संक्रमण का कहर, बिहार के अस्पताल अलर्ट
केरल में मस्तिष्क खाने वाले अमीबा के बढ़ते मामलों को देखते हुए बिहार के अस्पतालों को सतर्क किया गया है। आईजीआईएमएस के डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि नेग्लेरिया फाउलेरी संक्रमण केंद्रीय तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करता है। बिहार की गर्म जलवायु के कारण यहां इसके फैलने की आशंका अधिक है। बुखार सिरदर्द जैसे लक्षणों को नजरअंदाज न करें खासकर तैराकी के इतिहास वाले रोगी।

जागरण संवाददाता, पटना। केरल में नेग्लेरिया फाउलेरी (मस्तिष्क खाने वाला अमीबा) संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रदेश के सभी अस्पताल व चिकित्सकों को सतर्कता बरतने का निर्देश दिया गया है।
आइजीआइएमएस के चिकित्साधिक्षक डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि नेग्लेरिया फाउलेरी संक्रमण को प्राइमरी एमिबिक मेनिंगोएंसेफेलाइटिस कहा जाता है। यह संक्रमण केंद्रीय तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करता है।
प्रदेश की गर्म जलवायु व तालाबों, नदियों व नहरों की अधिकता को देखते यहां इसके फैलने की आशंका अधिक है।
डॉ. मनीष मंडल ने कहा कि इस रोग को लेकर सतर्क रहना जरूरी है। डॉ. मनीष मंडल ने कहा कि इसके लक्षण मेनिनजाइटिस जैसे हैं।
इन लक्षणों को नजरअंदाज नहीं करें खासकर यदि रोगी को हाल में गर्म ताजे पानी में तैराकी, गोताखोरी या पानी संबंधी अन्य गतिविधि का इतिहास रहा हो।
बीमारी के मुख्य लक्षण
तेज बुखार- गंभीर सिरदर्द- मिचली-उल्टी- गर्दन में अकड़न- प्रकाश के प्रति संवेदनशीलता - भ्रम, दौरे और मतिभ्रम
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