Bihar Elections 2025: NDA में सीट बंटवारे के बाद सियासी हलचल तेज, BJP-JDU कार्यालय में कार्यकर्ताओं का जमावड़ा
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के लिए एनडीए में सीट बंटवारे के बाद भाजपा और जदयू कार्यालयों में कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ रही। कार्यकर्ता सीटों की सूची पर चर्चा करते रहे। भाजपा कार्यालय में कुछ उत्साहित तो कुछ निराश दिखे। जदयू कार्यालय में विपक्षी उम्मीदवारों पर चर्चा हुई। मीनापुर के कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन किया। अब बागियों को साधने की चुनौती है।

एनडीए में सीट बंटवारे के बाद भाजपा और जदयू कार्यालय में सीट सूची पर दिनभर चर्चा। फोटो जागरण
जागरण संवाददाता, पटना। बिहार विधानसभा चुनाव के लिए एनडीए गठबंधन में सीट बंटवारे की औपचारिक घोषणा के बाद रविवार को भाजपा और जदयू के प्रदेश कार्यालयों में कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ रही।
दोनों दलों के कार्यकर्ता और पदाधिकारी रविवार शाम में सीटों की संख्या की आधिकारिक घोषणा के बाद सीटों की सूची पर चर्चा करते रहे और यह जानने की कोशिश करते रहे कि किस विधानसभा क्षेत्र से किस दल को मौका मिला है।
भाजपा प्रदेश कार्यालय में सुबह से ही पार्टी समर्थकों का जमावड़ा शुरू हो गया था। कई कार्यकर्ता सीटों के बंटवारे को लेकर उत्साहित तो कुछ निराश नजर आए।
इससे पूर्व दोपहर में कार्यकर्ता अपने नेता को टिकट मिलने या कटने की पुष्टि करने में व्यस्त थे। एक विधायक जी के कार्यकर्ता कभी प्रदेश के नेता से फोन कर पूछ रहे थे कभी दिल्ली के नेता से।
उनकी चिंता सीट भाजपा से गठबंधन के दूसरे दल को जाने को लेकर थी। कभी खुश होते कभी चिंतित हो जाते थे। कार्यकर्ताओं की एक टोली कार्यालय के परिसर से बाहर चाय की दुकान पर अपने-अपने क्षेत्र से जीत हार के अंतर पर चर्चा कर रहे थे।
पिछली बार इतने वोट से ही जीत पाए थे जब सहनी साथ थे। इस सीट पर सहनी वोट प्रभावी है। उनकी चिंता अपने नेता की जीत को लेकर थी।
इसी बीच एक कार्यकर्ता ने कहा महाराज एतना टेंसल काहे लेले हैं चाय पीजिए आउ जाइए नेता जी के प्रचार में। बाकि फोन पर हाल चाल अब बताईएगा। प्याली से चाय खत्म होते ही बैठकी भी खत्म हो जाती है।
वहीं, जदयू कार्यालय में कार्यकर्ताओं की भीड़ भी अच्छी थी। यहां चर्चा विपक्षी उम्मीदवारों के टिकट को लेकर एक कोने में चल रही थी। एक कार्यकर्ता ने कहा का जी इ बार विधायक जी के टिकट मिलित हई उ पर्टिया से। दूसरे ने कहा लगित त न हव लेकिन अपन तो तय हो गेलव।
इसी बीच मीनापुर विधानसभा से आए एक दर्जन कार्यकर्ताओं ने बाहरी हटाओ मीनापुर बचाओ का तख्ती लिए पहुंचते हैं। कार्यालय परिसर के बीच में जमीन पर बैठ जाते हैं और नारेबाजी शुरू कर देते हैं।
नारेबाजी की जानकारी कार्यालय के अंदर जाती है। अंदर से एक नेता बाहर आते हैं नारेबाजी करने वाले कुछ कार्यकर्ताओं को अंदर ले जाते हैं और बाहर नारेबाजी खत्म हो जाती है।
शाम में सीट की घोषणा के बाद कार्यकर्ता सीट की सूची पर चर्चा शुरू कर देते हैं। कार्यकर्ताओं का मानना है कि अब असली चुनौती टिकट बंटवारे के बाद बागियों को साधने की होगी।
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