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    'लालू यादव केंद्र में ताकतवर नेता थे...', BJP के विजय सिन्हा ने RJD चीफ के लिए कही बड़ी बात; महागठबंधन को दी ये सलाह

    By Arun AsheshEdited By: Rajat Mourya
    Updated: Tue, 07 Nov 2023 08:59 PM (IST)

    बिहार में विपक्ष के नेता विजय कुमार सिन्हा ने बिहार जातिगत जनगणना रिपोर्ट को लेकर लालू यादव का जिक्र किया है। उन्होंने कहा कि एक समय में लालू यादव केंद्र में ताकतवर नेता थे उस समय अति पिछड़ों को आरक्षण क्यों नहीं दिया गया। उन्होंने ये भी कहा कि महागठबंधन अगर गंभीर है तो वह अति पिछड़ा को मुख्यमंत्री बना दे।

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    'लालू यादव केंद्र में ताकतवर नेता थे...', BJP के विजय सिन्हा ने RJD चीफ के लिए कही बड़ी बात

    राज्य ब्यूरो, पटना। Bihar Caste Census विधानसभा में विपक्ष के नेता विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि भाजपा गरीबों पक्ष में है, लेकिन त्रुटिपूर्ण जाति आधारित गणना से गरीबों का भला नहीं होगा। उन्होंने मंगलवार को विधानसभा में कहा कि रिपोर्ट में बेरोजगारों और भूमिहीनों की चर्चा नहीं है। मल्लाहों की संख्या 2015-16 में 85 लाख थी। इस गणना में यह संख्या घट कर 65 लाख रह गई है।

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    उन्होंने राजद शासनकाल के बारे में पूछा कि उस समय अति पिछड़ों को आरक्षण क्यों नहीं दिया गया। एक समय में लालू प्रसाद केंद्र में ताकतवर नेता थे। कर्नाटक में जाति आधारित गणना हुई। मगर इसे जारी नहीं किया गया। उन्होंने जाति आधारित गणना कराने में रुचि नहीं दिखाई। भाजपा ओबीसी के पक्ष में है। महागठबंधन अगर गंभीर है तो वह अति पिछड़ा को मुख्यमंत्री बना दे। विपक्ष के नेता ने कहा कि सरकार अति पिछड़ों-वंचितों के विकास के लिए योजनाओं की घोषणा करे।

    कई जातियों की संख्या घटा दी गई: प्रेम कुमार

    भाजपा नेता प्रेम कुमार ने कहा कि गणना में कई जातियों की संख्या घटा दी गई। धानुक, कुशवाहा, चंद्रवंशी और सवर्णों की संख्या कम कर दी गई है।सामान्य प्रशासन विभाग ने 2016 में सर्वेक्षण कराया था। उस समय बहेलियों की संख्या 67 हजार थी। ताजा गणना में इनकी संख्या आठ हजार रह गई है।इसी तरह सवर्णों की संख्या भी 1931 की तुलना में कम हो गई है।

    आगे की पंक्ति में एक भी अति पिछड़ा नहीं: नंदकिशोर

    भाजपा के वरिष्ठ नेता नंदकिशोर यादव ने कहा कि महागठबंधन सरकार अति पिछड़ों की हिमायत कर रही है।लेकिन, सदन के भीतर मंत्रियों की जो पहली कतार है, उसमें एक भी अति पिछड़ा नहीं है। सरकारी सेवाओं में आरक्षण की बात होती है, लेकिन, अपने राज्य में शिक्षा की स्थिति ठीक नहीं है। चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों की नियुक्ति के लिए भी न्यूनतम योग्यता 12 वीं पास है। लेकिन, इंटर और स्नातक पास युवाओं की संख्या कम है। यादव ने कहा कि आवासविहीन गरीबों को वासगीत पर्चा देने के लिए सर्वेक्षण किया जा रहा है। यह सरजमीन पर नहीं हो रहा है। राज्य में लाखों लोग भूमिहीन हैं।

    डाटा टेबुल वर्क है: मांझी

    पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने कहा कि टेबुल पर बैठकर जाति आधारित गणना का आंकड़ा तैयार कर लिया गया है। मुसहर और भूंइया की 10 प्रतिशत आबादी को अमीर बताया गया है। उन्होंने संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी को चुनौती दी कि वह अपने गृह जिला समस्तीपुर में चलें। अगर यह आंकड़ा सही है तो हम राजनीति से संन्यास ले लेंगे। चौधरी ने उनकी चुनौती को स्वीकार किया।

    ये सब भी बोले

    एआइएमआइएम के अख्तरूल इमान ने कहा कि सरकार इस रिपोर्ट के आधार पर विकास की योजना बनाए।कांग्रेस के राजेश कुमार, माकपा के सत्येंद्र यादव, राजद के भरत मंडल, भाकपा के सूर्यकांत पासवान एवं जदयू के रामविलास कामत ने जाति आधारित गणना के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की प्रशंसा की।

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