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    नीतीश कुमार की PM उम्‍मीदवारी पर ये क्या बोल गए असम CM, कहा- हमने 4 घंटे चर्चा की और मैं सब समझ गया

    By Jagran NewsEdited By: Deepti Mishra
    Updated: Fri, 15 Sep 2023 08:13 PM (IST)

    असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा ने शुक्रवार को अपने बिहार के दौरे पर आईएनडीआईए गठबंधन और राहुल गांधी पर हमला बोला। उन्‍होंने आईएनडीआईए के नेताओं को सलाह देते हुए कहा कि आप जाइए भोपाल को देखिए खूबसूरती को देखिए लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ही होंगे। अगर राहुल गांधी को प्रधानमंत्री बनना ही है। इसके साथ ही नीतीश के पीएम बनने पर भी दी प्रतिक्रिया।

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    नीतीश कुमार के प्रधानमंत्री बनने के सवाल हिमंत बिस्वा सरमा ने दी प्रतिक्रिया। फाइल फोटो

     जागरण संवाददाता, पटना:  बिहार यात्रा पर पहुंचे असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने शुक्रवार को आईएनडीआईए गठबंधन पर हमला बोला। इसके साथ ही बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के प्रधानमंत्री बनने पर भी खास प्रतिक्रिया दी।

    असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा नालंदा जिले के राजगीर स्थित नालंदा विश्वविद्यालय में आयोजित वैशाली उत्सव में भाग लेने पहुंचे। इस दौरान उन्होंने आईएनडीआईए गठबंधन की भोपाल में होने जा रही रैली को लेकर पूछे गए सवाल पर कहा कि रैली तो होगी, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की होगी। रैली करने में तो कोई तकलीफ नहीं है।

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    उन्होंने आईएनडीआईए के नेताओं को सलाह देते हुए कहा कि आप जाइए भोपाल को देखिए, खूबसूरती को देखिए, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ही होंगे। अगर राहुल गांधी को प्रधानमंत्री बनना ही है। राहुल गांधी को सूर्य से चंद्रमा तक जाना पड़ेगा, तभी प्रधानमंत्री वह बन सकते हैं।

    नीतीश के पीएम बनने पर कही ये बात

    नीतीश कुमार के प्रधानमंत्री बनने के सवाल हिमंत बिस्वा सरमा ने जवाब दिया, ''मैं नीतीश कुमार के साथ एक टेबल पर बैठा। करीब चार घंटे तक हम साथ बैठे। नीतीश कुमार ने प्रधानमंत्री से भी बातचीत की, हम सबसे बात की, लेकिन एक बात मैं बोल सकता हूं कि सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है।''

    उन्‍होंने कहा,  ''शायद कई लोगों का मन था कि प्रधानमंत्री का उम्मीदवार बन जाऊंगा, लेकिन वो प्रधानमंत्री के उम्मीदवार भी नहीं बन पाएंगे; प्रधानमंत्री बनना तो दूर की बात है।''

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    असम सीएम ने क्यों किया जयराम रमेश का जिक्र?

    आईएनडीआईए को लेकर हिमंता बिस्वा शर्मा ने कहा कि आप 'इंडिया अलायंस' तो बोलिए, लेकिन 'इंडिया ए अलायंस' बोलने के लिए जयराम रमेश से ही पूछना पड़ेगा कि दोबारा 'ए' लगाने की बात आप लोग क्यों भूल गए।

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    देश में कहां है आपकी जगह?

    उन्होंने कहा, ''पहली बात तो यह है कि उन लोगों (आईएनडीआईए के नेताओं) ने मीडिया को बायकॉट किया। मेरा तो मानना है कि आपको तो देश ने ही बॉयकॉट करके रखा है। उन्होंने सवाल करते हुए कहा कि आपकी जगह कहां है देश में?''

    I.N.D.I.A में अंदरूनी कलह

    हिमंता ने कहा, 'मुझे लगता है कि आईएनडीआईए में अंदरूनी कलह चल रही है। मुझे नहीं लगता कि उनके आपसी रिश्ते अच्छे हैं। गठबंधन की बैठक में जो कुछ हुआ, उससे जुड़ी कई बातें मुझे मालूम हैं पर मैं उन्हें साझा नहीं करूंगा। मुझे नहीं लगता कि नीतीश कुमार जी को कभी संयोजक भी बनाया जाएगा।'

    उन्‍होंने कहा,  ''मुझे लगता है यह खत्म हो गया है। उन्होंने कहा कि 2024 में हम और ज्यादा सीटें हासिल करेंगे। इस बार हमें 2019 से भी बड़ा जनादेश मिलेगा। मुझे इससे काफी सकारात्मक संकेत भी मिले हैं।''

    रोहिंग्या और एनआरसी पर कही ये बात

    हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि रोहिंग्या हमारे देश में रोज घुसपैठ की कोशिश कर रहे हैं। हमने असम, पश्चिम बंगाल और बिहार में इसका असर देखा है। आज के दौर में जनसांख्यिकीय स्थिति (आबादी में इजाफा) भी बदल रही है। हम भी इससे जूझ रहे हैं। इस समस्या पर हमें गंभीरता से विचार करना होगा।

    उन्होंने कहा, "मुझे व्यक्तिगत तौर पर लगता है कि राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (NRC ) कुछ हद तक सही है, लेकिन यह देश की सरकार का विचार नहीं है। मेरी पार्टी का विचार नहीं है, यह मेरा व्यक्तिगत विचार है। हम लोग असम में हमेशा डेमोग्राफिक इन्वेंशन का शिकार होते रहे हैं। इसलिए असम का होने कारण मुझे लगता है कि असम, बिहार और पश्चिम बंगाल जैसे प्रदेशों में एनआरसी लागू किया जाना सही है।"

    इसके साथ ही अवैध घुसपैठ करने वालों की पहचान करना सही है। हालांकि, बाद में आप उनको भारत में ही कैसे रख सकते हैं, ये सोचना अलग बात है।

    उनको नॉन स्टेट सिटीजनशिप दे सकते हैं या और कुछ कर सकते हैं। उससे मुझे कोई समस्या नहीं है, लेकिन अवैध घुसपैठ करने वालों की पहचान करना बहुत जरूरी है। ऐसा नहीं हुआ तो हमारे भारत की डेमोग्राफी पूरी बदल जाएगी।

    बहुविवाह पर कब आए विधेयक?

    असम के मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि देश की सरकर बहुविवाह के बारे में क्या सोच रही है, यह मुझे नहीं पता है। परंतु असम में सरकार इस पर काम कर रही है। दिसंबर तक इस पर विधानसभा में विधेयक लाया जाएगा ताकि बहुविवाह पर रोक लगाई जा सके। इस पर प्रदेश के लोगों से राय भी ली जा चुकी है। हमने कानूनी मसलों पर भी चर्चा कर ली है।