सारण में 500 हिंदू बन गए ईसाई, बिहार में मिशनरियों का खेल तेज; गया में भी सामने आया था मामला
बिहार के सारण में मतांतरण करा रही ईसाई मिशनरी ग्रामीणों में साजिश के खिलाफ आक्रोश इसुआपुर व मढ़ौरा में प्रलोभन के फेर में मतांतरण कर रहीं महिलाएं एक साल में पांच सौ लोगों के मतांतरण का अनुमान गया में भी सामने आ चुका है ऐसा मामला
पटना/गया/बक्सर, जागरण टीम। बिहार में हिंदुओं को प्रलोभन देकर ईसाई बनाने का खेल तेज होता दिख रहा है। गया में कई परिवारों के उपासना पद्धति बदलने के बाद के बाद सारण जिले से ऐसी ही खबर आई है। सूत्रों की मानें तो ऐसी कवायद बिहार के कमोवेश हर जिले में हो रही है। विश्वसनीय सूत्रों ने बताया कि बक्सर जिले में भी ऐसी एक संस्था काम कर रही है। सारण जिले के इसुआपुर प्रखंड के सुम्हां रामचौड़ा गांव और मढ़ौरा में ईसाई मिशनरी प्रलोभन देकर पिछले एक साल से ग्रामीणों का मतांतरण करा रही है। ग्रामीणों की मानें तो एक साल में पांच सौ से अधिक लोग मतांतरण कर चुके हैं इसुआपुर में बड़ी संख्या में महिलाओं ने मतांतरण किया है।
जो ग्रामीण इस साजिश को समझ पा रहे हैं, उनमें इसे लेकर आक्रोश व्याप्त है। इसुआपुर थानाध्यक्ष विजय कुमार चौधरी ने कहा कि लोगों को समझाकर शांत कराया गया है। आक्रोशित ग्रामीणों का कहना है कि पास के बंगरा गांव में प्रत्येक रविवार को ईसाई धर्मगुरुओं द्वारा सभा का आयोजन कर प्रलोभन देकर आठ-दस लोगों का मतांतरण कराया जा रहा है। गरीब तथा विधवा महिलाएं उनके झांसे में आ जाती हैं।
मतांतरण करने वाली महिलाओं का कहना है कि वह अपनी जाति नहीं बदल रही हैं। मतांतरण कर चुकी सोया का कहना है कि गांव की अन्य महिलाएं रंजू देवी, संगीता देवी, आरती देवी, सरिता देवी, धनावती देवी, संगीता देवी ने भी मतांतरण किया है। उनके गुरु सोनू मास्टर हैं जिनके सानिध्य में छपरा, मढ़ौरा, इसुआपुर तथा अन्य जगहों पर साल भर में 500 लोगों ने मतांतरण किया है।
ग्रामीणों ने महिला से की मारपीट
मतांतरण से आक्रोशित ग्रामीणों द्वारा मारपीट किए जाने का आरोप सोया ने लगाया गया है। वहीं ग्रामीणों का कहना है कि इससे समाज दूषित हो रहा है, जिसका विरोध किया जाएगाा। इसके पहले भी इसुआपुर बाजार लोकेशन में ईसाई धर्म गुरुओं द्वारा पहुंच कर लोगों को मतांतरण के लिए प्रेरित किया जा रहा था। इसका लोगों ने विरोध किया था। इसुआपुर थानाध्यक्ष विजय कुमार चौधरी ने कहा कि मामला उनके संज्ञान में आया है। गांव में जाकर लोगों को समझाकर शांत करा दिया गया है।