खतरे को आमंत्रण, राजधानी पटना में 10 प्रतिशत मधुमेह पीड़ित ही करा रहे इलाज
मधुमेह यानी डायबिटीज की अनदेखी किडनी फेल्योर अचानक हृदयाघात या हार्ट स्ट्रोक आंखों की रोशनी स्थायी रूप से जाना या पैरों में सुन्नता व घावों का नहीं भरना जैसे गंभीर रोगों का कारण है। इसके राजधानी पटना में अनुमानित मधुमेह रोगियों में से करीब 10 प्रतिशत ही उपचार करा रहे हैं।

पवन कुमार मिश्र, पटना। मधुमेह यानी डायबिटीज की अनदेखी किडनी फेल्योर, अचानक हृदयाघात या हार्ट स्ट्रोक, आंखों की रोशनी स्थायी रूप से जाना या पैरों में सुन्नता व घावों का नहीं भरना जैसे गंभीर रोगों का कारण है। डब्ल्यूएचओ के अनुसार भारत में डेढ़ लाख लोगों की मृत्यु अनियंत्रित मधुमेह के दुष्प्रभावों के कारण होती है। बावजूद इसके राजधानी पटना में अनुमानित मधुमेह रोगियों में से करीब 10 प्रतिशत ही उपचार करा रहे हैं।
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार जिले की अनुमानित जनसंख्या 73 लाख 15 हजार 13 है। हर वर्ष 27 लाख 6 हजार 555 यानी प्रति माह दो लाख 25 हजार 546 लोगों की स्क्रीनिंग का लक्ष्य है। फिलहाल 79 हजार 616 यानी 35 प्रतिशत लोगों की ही स्क्रीनिंग हो रही है। इसके विपरीत 1 लाख 64 हजार 965 लोगों का उपचार शुरू करना है लेकिन 8 जून तक 15 हजार 849 लोग ही इलाज करा रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग द्वारा जिलाधिकारी की समीक्षा बैठक में प्रस्तुत आंकड़ों के आधार पर रिपोर्ट।
नौ प्रखंडों में 10 प्रतिशत या उससे अधिक लोग करा रहे इलाज :
- प्रखंड
-- -- -- इलाज करने का लक्ष्य, उपलब्धि प्रतिशत में - दानापुर
-- -- -- 11240-- -- -- -- - 21 - पटना रूरल
-- -- - 4499-- -- -- -- -- 21 - बख्तियारपुर
-- -- 2570-- -- -- -- 20 - अथमलगोला
-- - 2570-- -- -- - 20 - बाढ़
-- -- -- -- -- - 6113-- -- -- -- - 11 - बेलछी
-- -- - 1869-- -- -- -- -- - 11 - बिक्रम
-- -- -- 4789-- -- -- -- 11 - पालीगंज
-- -- 7202-- -- - 10 - दुल्हिनबाजार
-- - 3531-- -- -10
10 प्रखंडों जहां सबसे कम मरीज करा रहे
- प्रखंड
-- -- -- इलाज करने का लक्ष्य, उपलब्धि - खुशरूपुर
-- -- 3094-- -- -- -- -- -- 01 - मनेर
-- -- -- -- -- 7600-- -- -- -- -- 02 - फतुहा
-- -- -- -- 5595-- -- -- -- -- 03 - नौबतपुर
-- -- - 5753-- -- -- -- -- 03 - बिहटा
-- -- - 7387-- -- -- -- -- - 04 - पंडारक
-- -- -- 4369-- -- -- -- -- 05 - घोसवरी
-- -- -- 2116-- -- -- -- -06 - संपतचक
-- -- -3019-- -- -- -- - 06 - फुलवारीशरीफ
-- -- 7717-- -- - 07
मधुमेह का इलाज न कराने के गंभीर परिणाम
- किडनी फेल होने का सबसे बड़ा कारण मधुमेह, आइसीएमआर की रिपोर्ट के अनुसार।
- 40 प्रतिशत किडनी रोगियों को होता मधुमेह आइजीआइएमएस के अनुसार। वहीं एम्स के अनुसार डायलिसिस कराने वाले हर 10 में से 3 मरीज मधुमेह रोगी।
- 20 प्रतिशत की नजर कमजोर हो रही 45 वर्ष से अधिक मधुमेह रोगियों की।
- 4 गुना तक हार्ट अटैक का खतरा बढ़ जाता है मधुमेह से क्योंकि धमनियों को कर देती संकरा।
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