Air India: रनवे विस्तार के बाद पटना में भी उतर सकेंगे ड्रीमलाइनर विमान, प्रशासन कर रहा जमीन का सर्वे
अहमदाबाद में विमान हादसे के बाद पटना एयरपोर्ट के रनवे विस्तार की प्रक्रिया तेज हो गई है। रनवे का विस्तार होने से यहां ड्रीमलाइनर विमान भी उतर सकेंगे। वर्तमान में रनवे की लंबाई 6792 फीट है। बड़े विमानों को इमरजेंसी लैंडिंग के लिए दूसरे एयरपोर्ट भेजा जाता है। डीजीसीए ने विमानन कंपनियों को जांच के बाद ही उड़ान भरने की अनुमति देने का आदेश दिया है।

जागरण संवाददाता, पटना। अहमदाबाद में विमान हादसे (Air India Plane Crash) के बाद पटना एयरपोर्ट के रनवे विस्तार की प्रशासनिक प्रक्रिया तेज कर दी गई है। जमीन सर्वे का कार्य जोरों पर चल रहा है। संभव है कि पैरलल टैक्सी ट्रैक (पीटीटी) का निर्माण पूरा होने के तुरंत बाद विस्तारीकरण भी शुरू हो जाएगा।
रनवे की लंबाई बढ़ने के बाद पटना एयरपोर्ट पर भी ड्रीमलाइनर एयरक्राफ्ट उतर सकेंगे। वर्तमान में रनवे की लंबाई 6,792 फीट है। इस पर बोइंग 737 और एयरबस 323 से बड़े एयरक्राफ्ट की सुरक्षित लैंडिंग संभव नहीं हो पाती है।
यही कारण है कि पटना से गुजर रहे बड़े एयरक्राफ्ट को इमरजेंसी लैंडिंग के लिए दूसरी नजदीकी एयरपोर्ट यथा वाराणसी और गयाजी भेजा जाता है। इधर, हादसे के बाद एयरपोर्ट के आसपास से बड़े पेड़ों की छंटाई का काम भी युद्धस्तर पर चल रहा है।
पटना एयरपोर्ट पर नहीं हो सकता मेजर मेंटेनेंस
पटना एयरपोर्ट पर फ्लाइट की ग्राउंडिंग टाइम (लैंडिंग के उपरांत दोबारा टेकआफ लेने का समय) लगभग 45 मिनट है। यहां बेस यानी रात्रि में विमान की परिचालन की सुविधा नहीं है। इस कारण पटना एयरपोर्ट पर मेजर मेंटेनेंस से संबंधित कार्य नहीं होता है। ग्राउंडिंग टाइम में लगभग 40 मिनट तक विमान की जांच की जाती है।
इस दौरान फ्यूल, लैंडिंग गियर, केबल, फ्लैप (डैना), वाइपर आदि जांचा जाता है। यदि जांच के दौरान कोई बड़ी गड़बड़ी मिली तो बेस एयरपोर्ट से अभियंता बुलाए जाते हैं।
सभी विमानन कंपनियों के अभियंताओं की अपनी टीम है। तकनीशियन एवं मैकेनिकल व इलेक्ट्रिकल अभियंता मिलाकर औसत 35 लोगों की टीम एक शिफ्ट में तैनात रहती है।
गहनता से जांच करने के मिले आदेश
एक अधिकारी के मुताबिक, डीजीसीए ने एअर इंडिया समेत सभी विमानन कंपनियों को उनके एयरक्राफ्ट की समुचित जांच कराने के बाद ही उड़ान भरने की अनुमति प्रदान करने का आदेश दिया है। सभी विमानन बेस एयरपोर्ट से पटना आने वाली फ्लाइटों की वहीं पर गहनता से जांच की जा रही है।
सात घंटे की सफल उड़ान के लिए आश्वस्त होने के बाद ही विमानों का परिचालन कराया जा रहा है। इलेक्ट्रिक और मैकेनिकल अभियंताओं की टीम को लैंडिंग बाद और टेकऑफ से पहले चेकलिस्ट पर हस्ताक्षर करना अनिवार्य है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।