बिहार में भूमि सर्वे में जनता की बढ़ेगी सक्रिय भागीदारी, विधेयक पारित
विधानसभा की दूसरी पाली में बिहार विशेष सर्वेक्षण एवं बंदोबस्त (संशोधन) विधेयक 2025 समेत आज छह विधेयक को पारित किया गया। इसमें किए गए संशोधन से अब नगर क्षेत्रों के राजस्व ग्रामों के भूमि सर्वेक्षण कार्य में सुविधा होगी। राजस्व ग्रामों के लिए अलग-अलग खानापूरी दलों का गठन किया जाएगा।

राज्य ब्यूरो,पटना। राज्य में भूमि सर्वेक्षण एवं बंदोबस्ती कार्य में जनता की सक्रिय भागीदारी बढ़ेगी। नगर क्षेत्र के सर्वेक्षण में शुद्धता, पारदर्शिका सुनिश्चित करने के लिए मंगलवार को विधानसभा की दूसरी पाली में बिहार विशेष सर्वेक्षण एवं बंदोबस्त (संशोधन) विधेयक, 2025 समेत छह विधेयक को पारित किया गया। इसमें किए गए संशोधन से अब नगर क्षेत्रों के राजस्व ग्रामों के भूमि सर्वेक्षण कार्य में सुविधा होगी। राजस्व ग्रामों के लिए अलग-अलग खानापूरी दलों का गठन किया जाएगा।
अधिकार अभिलेख के संबंध में दावे एवं आपत्तियां एवं उनके अंतिम प्रकाशन के तीन माह के अंदर भूमि सुधार उप समाहर्ता के स्तर के एक या एक से अधिक पदाधिकारी के समक्ष दायर किया जा सकेगा। साथ ही अधिकार अभिलेख के अंतिम प्रकाशन के बाद पारित आदेश के खिलाफ तीन माह के अंदर अपील किया जा सकेगा। एक या एक से अधिक भूमि सुधार उपसमाहर्ता स्तर के पदाधिकारी को राज्य सरकार द्वारा अपील की सुनवाई के लिए अधिसूचित किया जाएगा। सदन में राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री संजय सरावगी ने इस विधेयक प्रस्तुत किया था।
इससे पहले विधानसभा में उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने बिहार माल और सेवा कर (संशोधन) विधेयक, 2025, प्रभारी मंत्री मंगल पाण्डेय ने बिहार हिंदू धार्मिक न्यास (संशोधन) विधेयक, 2025, नगर विकास एव आवास मंत्री जिवेश कुमार ने बिहार नगरपालिका (संशोधन) विधेयक, 2025, राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री संजय सरावगी ने बिहार कृषि भूमि (गैर कृषि प्रयोजनों के लिए समपरिर्वतन) (संशोधन) विधेयक, 2025 और बिहार भूमिगत पाइप लाइन (भूमि में उपयोग-कर्ता के अधिकार का अर्जन) (संशोधन) विधेयक, 2025 को पेश किया, जिसे सदन में पारित किया गया।
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