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    Bihar: कृषि मंत्रालय की फर्जी वेबसाइट बना साइबर ठगी करने वाले 8 ठग गिरफ्तार, 26 किसानों को बना चुके हैं शिकार

    By rajeev kumarEdited By: Mohit Tripathi
    Updated: Wed, 09 Aug 2023 05:46 PM (IST)

    पुलिस ने कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय की फर्जी बेवसाइट बनाकर ठगी करने वाले छह किशोर समेत आठ साइबर ठगों को पटना से गिरफ्तार किया है। एसपी अशोक मिश्रा ने बताया कि साइबर अपराधियों ने agriculture.in के नाम से एक फर्जी वेबसाइट बनाई थी। इस फर्जी वेबसाइट से अबतक 26 लोगों से ठगी किये जाने का मामला सामने आया है। इस मामले को साइबर थाने में दर्ज किया गया था।

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    पटना से गिरफ्तार किये गये साइबर ठगों के साथ पुलिस टीम। (जागरण फोटो)

    जागरण संवाददाता, बिहारशरीफ: पुलिस ने कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय की फर्जी बेवसाइट बनाकर ठगी करने वाले छह किशोर समेत आठ साइबर ठगों को पटना से पकड़ा है।

    इन साइबर ठगों के पास से सात लाख 25 हजार रुपये कैश, 24 मोबाइल, तीन लैपटॉप और 62 सिम कार्ड, फिंगर क्लोन मशीन, रबर जैसे मटेरियल पर बनाया गया 713 फिंगरप्रिंट, तीन फिंगरप्रिंट डिवाइस, 11 एटीएम कार्ड, 10 फेनो पेमेंट बैंक किट, एक पेनड्राइव, तीन प्रिंटर, दो इंटरनेट राउटर, 26 नोटबुक एवं दो मोटरसाइकिल के अलावे कई दस्तावेज बरामद हुए हैं।

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    किसानों ने दर्ज कराई थी साइबर ठगी की शिकायत

    एसपी अशोक मिश्रा ने बताया कि बीते 29 जुलाई को नगरनौसा थाने के अकैर गांव से आठ किसानों द्वारा बैंक खाता से अवैध निकासी की शिकायत नालंदा साइबर थाने में की गई थी।

    साइबर अपराधियों ने agriculture.in के नाम से एक फर्जी वेबसाइट बनाई थी। इस फर्जी वेबसाइट से अभी तक कुल 26 लोगों से ठगी किये जाने का मामला सामने आया है।

    एसआईटी कर रही मामले की जांच

    एसपी मिश्रा ने बताया कि इस मामले को साइबर थाने में दर्ज किया गया था। इस केस में एफआईआर दर्ज करके साइबर थाना प्रभारी डीएसपी ज्योति शंकर के नेतृत्व में एसआईटी गठित की गई है।

    एसआईटी के द्वारा केस के विभिन्न पहलुओं की गहनता से जांच की गई और सबूत संकलित किए गए। इसके बाद कृषि और कल्याण मंत्रालय का फर्जी बेवसाइट बनाकर ठगी करने वाले आठ साइबर ठगों को पुलिस ने पटना के गर्दनीबाग थाना क्षेत्र के न्यू अलकापुरी स्थित किराए के एक फ्लैट में छापेमारी कर पकड़ा।

    एसपी ने बताया कि इन लोगों ने नालंदा के नगरनौसा, चंडी सहित अन्य जगहों के आठ लोगों को अपना शिकार बनाया था। बताया कि सभी साइबर ठग ग्रामीण क्षेत्रों में जाकर किसानों से भारत सरकार कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के वेबसाइट को क्लोन कर ई केवाईसी कराने के नाम पर फिंगरप्रिंट का क्लोन तैयार कर उनके बैंक अकाउंट में सेंधमारी किया करते थे।

    ये आरोपी गिरफ्तार

    गिरफ्तार साइबर ठगों में हिलसा थाना क्षेत्र के चंदूबिगहा गांव निवासी दुर्गेश प्रसाद का पुत्र सुजीत कुमार, सूरतबिगहा निवासी जनार्दन प्रसाद का पुत्र धर्मवीर कुमार व छह अन्य शामिल हैं।

    छापेमारी टीम साइबर डीएसपी ज्योति शंकर, डीआईओ प्रभारी आलोक कुमार, इंस्पेक्टर वीरेंद्र यादव , दारोगा सत्यम तिवारी के अलावा पुलिस बल के जवान शामिल थे।

    इस तरह ठगी की घटना को देते थे अंजाम

    एसपी ने बताया कि साइबर अपराधियों ने भारत सरकार की कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय वेबसाइट का क्लोन कर उसमें बायोमेट्रिक चोरी करने के लिए ई केवाईसी का एक नया फीचर जोड़ा। वेबसाइट में किसान काल सेंटर का संपर्क गिरोह के पास से बरामद एक मोबाइल नंबर था।

    साइबर अपराधी संबंधित क्षेत्रों के जन प्रतिनिधियों एवं एईपीएस से निकासी करने वाले केंद्र संचालकों को झांसा देकर अपने-अपने क्षेत्रों में सरकार की कृषि योजनाओं का लाभ उठाने के लिए किसानों को प्रेरित करने को कहता था। साइबर अपराधियों का मकसद सिर्फ़ आधार बायोमेट्रिक की चोरी, क्लोन करना एवं लिंक्ड बैंक खाता से राशि की अवैध निकासी करना था।

    कौन-कौन हुए शिकार

    रवींद्र प्रसाद की पत्नी सरोज कुमारी के खाते से 26, 27 एवं 28 जुलाई को प्रत्येक दिन दस हजार रुपये के हिसाब से कुल 30 हजार रुपये उड़ा लिए गए। साकेत रंजन के खाते से 27 जुलाई को दस हजार रुपये उड़ाए गएं। खाते में अधिक राशि नहीं थी।

    अखिलेश कुमार के खाते से 26, 27 एवं 28 जुलाई को दस-दस हजार रुपये के हिसाब से 30 हजार निकाला गया। सत्येंद्र प्रसाद की पत्नी के खाते से 27 जुलाई को दस हजार और 28 जुलाई को 2050 रुपये निकाल कर खाता खाली कर दिया।

    गीता देवी के खाते से 26 और 27 जुलाई को दस - दस हजार रुपये निकाल कर खाता खाली कर दिया। निवास कुमार के बैंक खाते से 26 जुलाई को 10 हजार रुपये की निकासी की गई।

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