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    ब‍िहार की मधुबाला ने गजब कर डाला, केबीसी के बाद नगर निगम ने बनाया ब्रांड एंबेसडर

    By Dharmendra Kumar SinghEdited By:
    Updated: Sun, 17 Apr 2022 11:14 PM (IST)

    Sitamarhi News सीतामढ़ी नगर निगम ने मधुबाला को अपना ब्रांड एंबेसडर चुना है। शहर के होर्डिंग्स बैनर-पोस्टराें पर अब उनकी तस्‍वीर आएगी। जब वे केबीटी में ...और पढ़ें

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    सीतामढ़ी नगर न‍िगम ने मधुबाला को ब्रांड एंबेसडर चुना। फोटो-जागरण

    सीतामढ़ी, जासं। सीतामढ़ी की बिटिया मधुबाला सदी के महानायक अमिताभ बच्चन के सामने केबीसी में हॉट सीट पर आसीन होने के बाद सफलता की एक और उड़ान भरकर महिलाओं की प्रेरणास्रोत बन गई हैं। नगर निगम ने उन्हें अपना ब्रांड एंबेसडर चुन लिया है। अब शहर के होर्डिंग्स, बैनर-पोस्टराें पर उनकी फाेटो आएगी। मधुबाला ने केबीसी में बिग बी को भी अपनी प्रतिभा व साहस का कायल बना दिया था। बिग बी तो मधुबाला से इतने प्रभावित हुए कि उन्हें टार्जन लेडी तक कह डाला।

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    शहर के भवदेपुर में उनका घर है। परिवार में उनके पति पुरुषोत्तम कुमार चौधरी, तीन बच्चे दो बेटियां 15 साल की युक्ति, 12 साल की मिली तो इकलौता पुत्र छह साल का वात्सल्य कश्यप है। वह फिलहाल शिवहर सदर अस्पताल में एचआइवी डिपार्टमेंट में बतौर काउंसिलर व सुपरवाइजर के पद पर कार्यरत हैं। नगर निगम के आयुक्त मुमुक्षु चौधरी ने स्वच्छता सर्वेक्षण के तहत जागरूकता के लिए 35 वर्षीय मधुबाला को निगम का ब्रांड एंबेसडर बनाए जाने की बात कही। उन्होंने कहा कि वह सीतामढ़ी की हेल्थ एसटीडी काउंसलर रही हैं तथा साल 2014 में केबीसी के हाट सीट तक पहुंचकर एक जाना पहचाना चेहरा बन गई हैं। स्वच्छता के लिए निगम द्वारा लगातार कोशिशें की जा रही हैं, जिसमें इस बात की प्लानिंग पर फोकस किया जा रहा है कि आखिर कैसे अगली बार सीतामढ़ी का प्रदर्शन स्वच्छता रैंकिंग में बेहतर हो। इसी क्रम में ये निर्णय लिया गया है कि जाने माने चेहरे को ब्रांड एंबेसडर बनाया जाए जो लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरूक करें।

    केबीसी में अमिताभ बच्चन के सामने हाट सीट पर बैठकर सुर्खियों में आईं

    मेगा शो केबीसी में अमिताभ बच्चन के सामने हाट सीट पर बैठकर 3.20 लाख रुपये जीत कर सुर्खियों में आई सीतामढ़ी की मधुबाला ने छोटी सी उम्र में बड़ा कारनामा कर समाज को नई राह दी। अपने बुलंद इरादों की बदौलत मधुबाला न केवल नारी सशक्तिकरण की प्रतीक बनी बल्कि, परम्पराओं को भी तोड़ा। मधुबाला ने दहेज प्रथा जैसी कुरीतियों पर प्रहार किया है। उन्होंने बुलंद हौसलों की बदौलत सफलता की कहानी लिखकर इलाके की महिलाओं व बेटियों को भी कुछ कर गुजरने की सीख दी। व्यक्तिगत संघर्ष के बूते मधुबाला ने जो कुछ किया वह आज समाज के लिए अनुकरणीय बन गया है। यही वजह है कि केबीसी की हाट सीट पर बैठी मधुबाला को महानायक अमिताभ बच्चन ने लेडी टार्जन की उपाधि दी थी।