अश्लील गीत नहीं गाया तो सड़क पर सीनियर ने उतरवाई टीशर्ट, शिक्षिका पर गंदे कमेंट्स का बनाते दबाव
एमआईटी कॉलेज में रैगिंग का मामला सामने आया है। कनिष्ठ छात्रों को अश्लील गाने गाने के लिए मजबूर किया जा रहा है और इनकार करने पर दुर्व्यवहार किया जा रहा है। यूजीसी के एंटी रैगिंग सेल के निर्देश पर कॉलेज प्रशासन ने कार्रवाई शुरू कर दी है और संदिग्ध छात्रों के अभिभावकों को बुलाया गया है। पुलिस 11 साल पुराने मारपीट के मामले की भी जांच कर रही है।

जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। एमआईटी में जूनियर छात्रों से रैगिंग में अजग-गजब कारनामे सामने आ रहे हैं। जूनियर छात्रों पर भोजपुरी के अश्लील गीतों को गाने का दबाव बनाया जाता है। एक छात्र ने जब इनकार किया तो सीनियर ने सड़क पर ही उसकी टीशर्ट उतरवा दी। साथ ही शिक्षिका पर अश्लील कमेंट करने के लिए धमकी दी जाती है।
इस वर्ष बीटेक में नवनामांकित छात्र ने इसकी शिकायत यूजीसी के एंटी रैगिंग सेल से की। इस आधार पर सेल की ओर से कॉलेज को पत्र भेजकर कार्रवाई का निर्देश दिया गया है। संस्थान स्तर पर करीब आधा दर्जन छात्रों को संदेह के घेरे में रखा गया है। अब इनके अभिभावकों को बुलाकर अनुशासन समिति के समक्ष सुनवाई होगी। आरोप साबित होने पर कार्रवाई होगी।
उल्लेखनीय है कि छात्र ने 18 अगस्त को घटना की शिकायत आयोग के एंटी रैगिंग सेल में की थी। शुक्रवार को एमआईटी के प्राचार्य ने संस्थान स्तर पर एंटी रैगिंग सेल की बैठक बुलाई। इसमें छात्र की शिकायत के आधार पर दोषियों की पहचान के लिए शिक्षकों से राय ली गई।
प्राचार्य डॉ. एमके झा ने बताया छात्र के साथ रैगिंग की घटना की जानकारी होने के बाद काउंसलिंग की गई। आधा दर्जन छात्र संदेह के घेरे में हैं। एंटी रैगिंग कमेटी व अन्य समिति के सदस्य अपना कार्य कर रहे हैं। ब्रह्मपुरा थाने को भी मामले से अवगत कराया गया है।
बताते हैं कि एक्सचेंज गेट के पास चाय की दुकान पर एंटी रैगिंग सेल के सदस्य पहुंचेंगे। साथ ही दुकानदार को ऐसे छात्रों को नहीं बैठाने व किसी तरह की घटना होने पर इसकी जानकारी कालेज को देने के लिए कहा जाएगा।
दूसरी ओर, छात्र ने रैगिंग की घटना की शिकायत करते हुए लिखा है कि सीनियर बदसलूकी व जबरदस्ती करते हैं। इसके बाद भयभीत होने या रोने पर कहते है ये सब इंजीनियरिंग में चलता है। इसमें रोने जैसी कोई बात नहीं है।
11 वर्ष पहले हुए बवाल में शामिल छात्रों को खोज रही पुलिस
एमआईटी के छात्रों के मारपीट व बवाल से संबंधित पुराने मामलों की फाइल खुलने लगी है। 11 वर्ष पहले लक्ष्मी चौक पर हुई मारपीट की घटना को लेकर एसएसपी कार्यालय ने 2011 व 2012 सत्र के विद्यार्थियों से जुड़ा रिकॉर्ड मांगा है। इसको लेकर शुक्रवार को एसएसपी कार्यालय से एमआईटी प्रशासन को पत्र भेजा गया है।
इसमें छह फरवरी 2014 की घटना का वर्णन करते हुए इसमें शामिल 2011 व 2012 बैच के छात्रों का विवरण मांगा गया है।
प्राचार्य डॉ. एमके झा ने बताया एसएसपी कार्यालय का पत्र प्राप्त हुआ है। इसमें मांगी गई जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी।
बताते हैं कि 20214 में एमआईटी के छात्रों व स्थानीय लोगों में झड़प हुई थी। इसमें जमकर मारपीट व तोड़फोड़ के बाद प्राथमिकी कराई गई थी।
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