मुजफ्फरपुर के दियारा इलाके में रेल और फोरलेन से विकास की रोशनी पहुंच रही है। पारू में औद्योगिक क्षेत्र बनने से क्षेत्र में बदलाव आएगा। यहाँ कृषि आधारित उद्योगों चावल मिलों और फूड पार्कों की संभावनाएँ हैं। पटना-बेतिया फोरलेन के पास 700 एकड़ में क्षेत्र विकसित होगा जिसके लिए सरकार ने 2.97 अरब रुपये मंजूर किए हैं। बियाडा द्वारा विकसित यह पार्क रोजगार देगा और बुनियादी सुविधाएं प्रदान करेगा।
जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। दियारा इलाके में विकास की रोशनी रेल और फोरलेन के साथ पहुंच रही है। पारू में औद्योगिक क्षेत्र की स्थापना से इलाके की तस्वीर बदल जाएगी। धान, गेहूं, मक्का के साथ इलाके में सब्जी की अच्छी खेती होती है। इससे यहां एग्रो बेस्ड उद्योग की अधिक संभावना है। चावल मिल के अलावा फूड पार्क की संभावना है।
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प टना-बेतिया फोरलेन के पास पांच गांवों में सात सौ एकड़ जमीन में यह क्षेत्र विकसित हो रहा है। जमीन अधिग्रहण के लिए 2.97 अरब रुपये राज्य सरकार ने मंजूर किया है। जिले में बेला व मोतीपुर में पूर्व से औद्योगिक केंद्र विकसित है। पारू तीसरा बड़ा औद्योगिक पार्क होगा। इस परियोजना का विकास बिहार औद्योगिक क्षेत्र विकास प्राधिकरण (बियाडा) के माध्यम से किया जाएगा।
चिह्नित भूमि अंचल के चतुरपट्टी, चिउटाहा व भोजपट्टी मौजा में स्थित है। अंचल के चैनपुर चिहुंटाहा में 250 एकड़, भोजपट्टी में 95 एकड़, चतुरपट्टी में 150 एकड़, हरपुर में 120 एकड़ और विशनपुर सरिया में 85 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा।
बियाडा के उपमहाप्रबंधक नीरज मिश्रा ने बताया कि नया औद्योगिक पार्क बनने से उद्यमियों को लाभ मिलेगा तो बड़ी संख्या में रोजगार के अवसर भी सृजित होंगे। जमीन अधिग्रहण का काम चल रहा हैं। औद्योगिक क्षेत्र में सड़क, जल आपूर्ति, बिजली, संचार नेटवर्क और सुरक्षा जैसी बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी।
यह क्षेत्र पटना-बेतिया हाईवे और हाजीपुर-सुगौली रेललाइन से जुड़ने के कारण परिवहन व कच्चे माल की आपूर्ति के लिए उपयुक्त होगा।
इस तरह हो रहा जिले का औद्योगिक विकास
मोतीपुर में 800 एकड़ जमीन पर मेगा फूड पार्क विकसित किया जा रहा है। यहां 10,000 टन क्षमता के दो वेयरहाउस बन रहे हैं। साथ ही स्नैक्स, मिठाई, नमकीन, आटा, सीड प्रोसेसिंग और फ्लावर मिल जैसी इकाइयां स्थापित होंगी।
बेला औद्योगिक क्षेत्र 450 एकड़ क्षेत्रफल में फैला है। इसके फेज-1 और फेज-2 में 427 छोटे-बड़े औद्योगिक इकाइयां संचालित हो रही हैं। इनमें खाद्य प्रसंस्करण, पेय पदार्थ, प्लास्टिक, स्टील और मैन्युफैक्चरिंग यूनिट प्रमुख हैं। बेला में लेदर क्लस्टर और रेडीमेड गारमेंट क्लस्टर भी विकसित किया जा रहा।
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