Updated: Tue, 01 Jul 2025 05:08 PM (IST)
मुजफ्फरपुर में तत्काल टिकटों की दलाली रोकने के लिए रेलवे ने 1 जुलाई से आधार नंबर अनिवार्य कर दिया है। अब टिकट लेते समय आधार कार्ड दिखाना होगा और 15 जुलाई से ओटीपी सत्यापन भी जरूरी होगा। विदेशी सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करने वाले दलालों पर सख्ती की जा रही है और रेलवे ने लाखों संदिग्ध खातों को निष्क्रिय कर दिया है।
जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। तत्काल टिकट को लेकर देश भर में चल रही दलाली पर लगाम लगाने और आम यात्रियों को इसका लाभ दिलाने के लिए एक जुलाई से आधार नंबर अनिवार्य कर दिया गया है।
मंगलवार से तत्काल के समय यात्रियों को आधार कार्ड दिखाने के बाद ही टिकट मिलेगी। 15 जुलाई से तत्काल टिकट लेने वाले यात्रियों को एंड्रायड मोबाइल लेकर आना पड़ेगा। उनके मोबाइल पर ओटीपी कंफर्म होने के बाद ही टिकट निकलेगी।
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बता दें कि विदेशी सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल कर टिकट दलाल काली कमाई कर रहे थे। इससे आम यात्रियों को तत्काल टिकट लेने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था।
केवल आधार प्रमाणित यात्रियों को ही आईआरसीटीसी वेबसाइट और मोबाइल एप पर तत्काल टिकट लेने की अनुमति होगी। रेलवे की ओर से विकसित किए गए विशेष सॉफ्टवेयर के माध्यम से पिछले छह महीने में 2.4 करोड़ से अधिक यूजर्स को डिएक्टिवेट कर ब्लॉक कर दिया गया।
20 लाख से अधिक दूसरे अकाउंट को भी संदिग्ध पाया गया है, जिसकी जांच चल रही। आईआरसीटीसी की वेबसाइट पर अभी 13 करोड़ से ज्यादा एक्टिव खाता हैं, जिनमें आधार प्रमाणित अकाउंट की संख्या 1.2 करोड़ ही है। अब धीरे-धीरे सारे खाते अपडेट हो रहे हैं।
आईआरसीटीसी ने उन सभी अकाउंट की विशेष जांच का फैसला लिया है, जो आधार से सत्यापित नहीं हैं। आईआरसीटीसी के अधिकृत एजेंटों को भी तत्काल टिकट के लिए काउंटर शुरू होने के पहले 10 मिनट में सिस्टम पर टिकट बुकिंग की इजाजत नहीं है।
केवल आधार प्रमाणित लोगों को ही आईआरसीटीसी वेबसाइट और मोबाइल एप से तत्काल ट्रेन टिकट बुक करने की अनुमति मिलेगी।
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