Bihar Muzaffarpur Shelter Home Case: ब्रजेश ठाकुर के होटल समेत 12 अचल संपत्तियां जब्त
Bihar Muzaffarpur Shelter Home Case मुजफ्फरपुर शेल्टर यौन शोषण मामले में मुख्य अारोपी ब्रजेश ठाकुर पर शिंकजा कसा। इडी की टीम ने जब्त कीं 12 अचल संपत्तियां।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। Bihar Muzaffarpur Shelter Home Case बिहार के मुजफ्फरपुर शेल्टर होम यौन हिंसा मामले के मुख्य अारोपी ब्रजेश ठाकुर (Brajesh Thakur) पर शिकंजा कसना शुरू हो गया है। मुजफ्फरपुर शेल्टर होम मामले ने बिहार को पूरे देश में शर्मसार कर दिया था। इस मामले की जांच केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) कर रही है। साथ प्रवर्तन निदेशालय भी कार्रवाई कर रही है। ताजा घटनाक्रम में मंगलवार की शाम प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम ने कार्रवाई करते हुए मुख्य आरोपी ब्रजेश ठाकुर के होटल समेत 12 अचल संपत्तियों को जब्त किया है। जब्त भवनों को राजसात किए जाने का पर्चा भी ईडी ने चिपका दिया है। ईडी की दस सदस्यीय टीम ने मंगलवार को यह कार्रवाई की। कार्रवाई करीब चार घंटे चली। फिलहाल ब्रजेश ठाकुर अभी जेल में बंद है।
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निदेशालय के निर्देश पर की जा रही कार्रवाई
जिन स्थानों पर ईडी ने कार्रवाई की उनमें साहू रोड स्थित बालिका गृह का भवन, ब्रजेश का घर, होटल, दीपक सिनेमा के समीप एक भवन में सेवा संकल्प एवं विकास समिति के बंद दफ्तर, सिकंदरपुर स्थित विवाह भवन, कन्हौली के प्लॉट समेत अन्य कुछ स्थान हैं। टीम में शामिल अधिकारियों ने सिर्फ इतना ही कहा कि निदेशालय के निर्देश पर कार्रवाई की जा रही है।
बताया गया कि ब्रजेश की संपत्ति को जब्त करने को लेकर सोमवार की रात प्रवर्तन निदेशालय के पटना जोन के सहायक निदेशक संतोष कुमार मंडल ने एसएसपी मनोज कुमार को पत्र भेजा था, जिसमें सुरक्षा मुहैया कराने का अनुरोध किया था।
चिपकाए गए नोटिस...
बता दें कि ब्रजेश और उसकी संस्था की संपत्तियों का आकलन कर ईडी की टीम पहले से रिपोर्ट तैयार कर चुकी थी। मुख्यालय से हरी झंडी मिलने के बाद देर शाम तक यह कार्रवाई चली। अधिकारियों ने बताया कि प्रवर्तन निदेशालय दिल्ली के आदेश पर तीन सितंबर को प्रोविजनल अटैचमेंट ऑर्डर का निर्देश मिला था। चिपकाए गए नोटिस पर प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉड्रिंग एक्ट 2012 के साथ और बातें लिखी गई हैं।
गौरतलब है कि गत साल बालिका गृह में किशोरियों के साथ यौन हिंसा का मामला प्रकाश में आया था। इसके बाद महिला थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी। बाद में सरकार के हस्तक्षेप पर मामला सीबीआइ के पास गया। फिलहाल पूरे मामले की जांच सीबीआइ कर रही है। इसमें ब्रजेश ठाकुर समेत 20 लोग न्यायिक हिरासत में हैं।
कार्रवाई के दौरान हंगामा की थी आशंका
ईडी की इस कार्रवाई की चर्चा पूरे मुजफ्फरपुर शहर में रही। ईडी का आशंका थी के कार्रवाई के दौरान ब्रजेश के परिवार के लोग हंगामा कर सकते हैं, लेकिन तमाम आशंकाएं निर्मूल साबित हुई। कार्रवाई के दौरान ब्रजेश ठाकुर के परिवार को कोई सदस्य विरोध करने तक नहीं आया।
ब्रजेश ठाकुर के पैतृक गांव पचदही में भी संपत्ति जब्ती को लेकर दंडाधिकारी व पुलिस पदाधिकारियों की तैनाती की गई थी, लेकिन सुबह से लेकर समाचार लिखे जाने तक ईडी की टीम का कोई सदस्य सकरा गांव नहीं पहुंचा था। बता दें कि इसके लिए ED पटना जोनल ऑफिस के सहायक निदेशक संतोष कुमार मंडल ने एसएसपी मनोज कुमार को पत्र भेजा था। पत्र को अत्यंत जरूरी बताते हुए सोमवार की रात ही उन्हें इससे अवगत करा दिया गया। ED की टीम ब्रजेश व उसकी संस्था की सभी संपत्तियों का आकलन कर रिपोर्ट पहले ही ले ली है। इसे लेकर ED मुख्यालय के आदेश पर तीन सितंबर को प्रोविजनल अटैचमेंट ऑर्डर का निर्देश दिया गया था। रिपोर्ट में कहा गया था कि ब्रजेश ठाकुर व उसके परिवार के सदस्यों के एनजीओ सेवा संकल्प एवं विकास समिति की सभी संपत्तियों को कब्जे में लिया जाए।